GWALIOR. नगर निगम ग्वालियर के सभापति और अपर आयुक्त की गांधीगिरी के सामने भारतीय स्टेट बैंक को झुकना पड़ा। भारतीय स्टेट बैंक ने प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना के आवेदन वापस कर दिए थे। कुछ के आवेदन स्वीकार किए तो लोन की राशि उनके खाते में जमा नहीं करवाई। इतना ही नहीं कई तो लाभ लेने के लिए पिछले डेढ़ माह से बैंक के चक्कर लगा रहे थे। जब नगर निगम ग्वालियर के सभापति और अपर आयुक्त को पता चला तो दोनों बैंक पहुंचकर धरने पर बैठ गए। सभापति तो बैंक की साफ-सफाई तक करने लगे। दोनों ने खातों में राशि जमा नहीं होने तक धरने पर बैठे रहने का ऐलान कर दिया, जिसके बाद वरिष्ठ अधिकारियों के हस्तक्षेप के बाद तत्काल राशि खातों में डालने का कार्य प्रारंभ किया गया।
310 हितग्राहियों के आवेदन वापस किए
प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना के तहक गरीबों को 10 हजार रुपए का लोन दिया जाता है। यदि 10 हजार का लोन समय पर वापस कर देता है तो उसे 20 हजार का लोन की पात्रता होती है। 20 हजार का लोन भी समय पर चुकता कर देने पर 50 हजार रुपए का लोन दिया जाता है। ग्वालियर नगर निगम द्वारा 310 हितग्राहियों के आवेदन भारतीय स्टेट बैंक की कंपू शाखा ने वापस कर दिए। सभापति मनोज तोमर का आरोप है कि बैंक अधिकारियों ने आवेदन बिना देखे लौटाएं हैं।
पिछले डेढ़ माह से लगा रहे चक्कर
हितग्राही मंगल प्राजापति का कहना है कि वो पिछले डेढ़ माह से बैंक के चक्कर लगा रहा है। हर बार कोई न कोई कारण बताकर लौटा दिया जाता है। पिछले पांच छह दिन से लगातार आ रहा हूं। शनिवार को लोन अकाउंट तो खोल लिया पर अभी तक रुपया नहीं आया है। परेशानी यह है कि लोन अकाउंट खुलते ही ईएमआई भी चालू हो जाती है। ऐसे में राशि आई नहीं है और ईएमआई आ जाए तो हम कहां से भरेंगे।
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बिना कारण बताए वापस कर रहे
पूरे मामले पर सभापति नगर निगम मनोज तोमर ने कहा कि प्रधानमंत्री स्वनिधि के अंतर्गत हितग्राहियों को लोन दिया जाता है। छह माह में 310 हितग्राहियों को वापस किया है। हितग्राही चक्कर काट रहे हैं। उन्हें कारण तक नहीं बताया जा रहा है। नगर निगम से प्राप्त आवेदन को उसी दिन बिना देखे वापस कर दिया गया। आज जानकारी मिलने पर आए हैं। जब तक हितग्राहियों को लोन की राशि जारी नहीं होगी हम बैठे रहेंगे।
बैंक अनावश्यक परेशान कर रही
इस मामले में नगर निगम के अपर आयुक्त मुकुल गुप्ता ने बताया कि एसबीआई में 310 मामले लंबित हैं। बैंक द्वारा अनावश्यक परेशान किया जा रहा है। गांधीगिरी कहो या नगर निगम का स्वच्छता सर्वेक्षण अभियान। जिस प्रकार नगर निगम का कार्य साफ-सफाई रखना है उसी प्रकार बैंक भी अपने प्रधानमंत्री स्वनिधि के हितग्राहियों को शीघ्र अतिशीघ्र बिना किसी परेशानी के लोन जारी करे। जब तक सभी हितग्राहियों के खातों में लोन की राशि जमा नहीं करेंगे हम नहीं जाएंगे। आश्वासन दिया है। छह कैसे अभी तत्काल 50-50 हजार वाले डिस्बर्स करवा रहे हैं।
खाते की लिमिट के कारण दिक्कत
एसबीआई के शाखा प्रबंधक नरेश झालवान ने कहा कि खातों में 10 हजार की लिमिट है। इनमें 10 हजार से अधिक की राशि ट्रांसफर नहीं हो सकती है। इसी कारण दिक्कत आ रही है। ऐसे खातों को बंद करके दूसरा खाता खोलकर राशि जमा करवा रहे हैं।