जबलपुर. 9 अक्टूबर को हिमाचल प्रदेश के कार्यवाहक चीफ जस्टिस आर.वी मलीमथ (R.V. Malimath) मध्यप्रदेश हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस (MP Highcourt CJ) के पद पर नियुक्त किए गए हैं। सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) कॉलेजियम की सिफारिश पर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद (Ramnath Kovind) ने जस्टिस मलिमाथ के नाम पर मंजूरी दी। साथ ही मध्यप्रदेश हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश मोहम्मद रफीक (Mohammad Rafiq) का तबादला (Transfer) हिमाचल प्रदेश किया गया है। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम की सिफारिश पर आठ हाईकोर्ट में नए मुख्य न्यायाधीशों की नियुक्ति की है। इसके अलावा चार हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीशों का तबादला भी किया है।
इन जजों को मिली नई नियुक्तियां
- मेघालय हाईकोर्ट के न्यायाधीश रंजीत वी मोरे को इसी हाईकोर्ट का मुख्य न्यायाधीश नियुक्त किया गया है।
इन जजों का ट्रांसफर
- मध्यप्रदेश हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश मो. रफीक का हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट में तबादला।
क्या होती है कॉलेजियम की सिफारिश
यह न्यायाधीशों की नियुक्ति और ट्रांसफर की व्यवस्था है। कॉलेजियम सिस्टम (Collegium System) का भारत के संविधान में कोई जिक्र नही है। यह सिस्टम 28 अक्टूबर 1998 को 3 जजों के मामले में आए सुप्रीम कोर्ट के फैसलों के जरिए प्रभाव में आया था। कॉलेजियम सिस्टम में सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस और सुप्रीम कोर्ट के 4 वरिष्ठ जजों का एक पैनल जजों की नियुक्ति और तबादले की सिफारिश करता है। इस सिफारिश पर राष्ट्रपति अपनी मंजूरी देते हैं, जिसके बाद जजों की नियुक्त और ट्रांसफर की प्रक्रिया होती है।