BHOPAL. अयोध्या में 22 जनवरी को रामलला की प्राण प्रतिष्ठा होनी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मुख्य यजमान के तौर पर प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम में शामिल होंगे। अयोध्या के नए राम मंदिर की तमाम बातें अनोखी हैं। बता दें कि इस मंदिर में 2000 फीट नीचे टाइम कैप्सूल (Time Capsule) भी लगाया जाएगा। जिसमें राम मंदिर (Ram Temple) के इतिहास, राम जन्मभूमि से जुड़ी तमाम जानकारियां शामिल होंगी।
टाइम कैप्सूल बनने में अभी देरी
ट्रस्ट (Trust) के सदस्यों का कहना है कि इस क्षेत्र को लेकर भविष्य में किसी भी विवाद से बचने के लिए और पुरात्तत्वविदों या इतिहासकारों की सहयता के लिए ये कैप्सूल (Capsule) लगाया जा रहा है। बता दें कि इस कैप्सूल को प्राण प्रतिष्ठा के दिन नहीं लगाया जाएगा। क्योंकि इसे बनने में अभी समय लगेगा। जानकारी के मुताबिक टाइम कैप्सूल (Time Capsule) में अयोध्या, भगवान राम और उनके जन्म स्थान के बारे में संस्कृत में एक संदेश होगा। टाइम कैप्सूल को साइट के नीचे रखने से पहले एक तांबे की प्लेट (Plate) या 'ताम्र पत्र' के अंदर रखा जाएगा। ट्रस्ट का कहना है कि संस्कृत (Sanskrit) भाषा को इसलिए चुना गया, क्योंकि इसमें कुछ शब्दों में लंबे वाक्य लिखा जा सकता है।
Q & A
प्रश्न 1: अयोध्या में राम मंदिर के नीचे टाइम कैप्सूल क्यों रखा जा रहा है?
उत्तर: अयोध्या में राम मंदिर के नीचे टाइम कैप्सूल इसलिए रखा जा रहा है, ताकि भविष्य में इस क्षेत्र को लेकर किसी भी विवाद से बचा जा सके। टाइम कैप्सूल में राम मंदिर के इतिहास, राम जन्मभूमि से जुड़ी तमाम जानकारियां शामिल होंगी। इससे पुरात्तत्वविदों या इतिहासकारों को इस क्षेत्र के बारे में अधिक जानकारी प्राप्त करने में मदद मिलेगी।
प्रश्न 2: टाइम कैप्सूल में क्या शामिल होगा?
उत्तर: टाइम कैप्सूल में अयोध्या, भगवान राम और उनके जन्म स्थान के बारे में संस्कृत में एक संदेश होगा। इसके अलावा, इसमें राम मंदिर के निर्माण से जुड़ी जानकारी, मंदिर के डिजाइन और निर्माण सामग्री आदि शामिल होंगी। इसके अलावा, इसमें उस समय के भारत और दुनिया के बारे में जानकारी भी शामिल हो सकती है।
प्रश्न 3: टाइम कैप्सूल कब लगाया जाएगा?
उत्तर: टाइम कैप्सूल को प्राण प्रतिष्ठा के दिन नहीं लगाया जाएगा। क्योंकि इसे बनने में अभी समय लगेगा। ट्रस्ट का कहना है कि टाइम कैप्सूल को इस साल के अंत तक या अगले साल की शुरुआत में लगाया जाएगा।
प्रश्न 4: टाइम कैप्सूल को किस तरह से बनाया जाएगा?
उत्तर: टाइम कैप्सूल को तांबे की प्लेट या 'ताम्र पत्र' के अंदर रखा जाएगा। तांबे की प्लेट को विशेष रसायनों से उपचारित किया जाएगा ताकि यह लंबे समय तक सुरक्षित रहे। टाइम कैप्सूल को मंदिर के गर्भगृह में 2000 फीट नीचे रखा जाएगा। टाइम कैप्सूल एक महत्वपूर्ण ऐतिहासिक दस्तावेज होगा। यह भविष्य की पीढ़ियों के लिए एक अमूल्य संपत्ति होगी। यह उन लोगों के लिए एक यादगार स्मारक होगा जिन्होंने राम मंदिर के निर्माण में योगदान दिया है।