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संजय गुप्ता, INDORE
मालवा-निमाड़ की हाईप्रोफाइल सीटों की बात करें तो इंदौर विधानसभा एक, खातेगांव, धार, मनावर, महू, बड़नगर, बदनावर ऐसी सीट है जिसमें बीते चुनाव 2018 की तुलना में वोटिंग प्रतिशत में काफी उतार-चढ़ाव आया है। ऐसे में इन सीटों से लड़ रहे हाईप्रोफाइल दावेदार कैलाश विजयवर्गीय, दीपक जोशी, राजवर्धन दत्तीगांव, भैरोसिंह शेखावत, संजय शुक्ला, ऊषा ठाकुर, अंतरसिंह दरबार, प्रभा गौतम, नीना वर्मा, डॉ. हीरालाल के अलावा इन सभी का भाग्य इन मतदाताओं के कम-अधिक वोटिंग पर निर्भर होगा।
प्रमुख सीटों पर इस तरह के बदलाव
धार सीट पर वोटिंग प्रतिशत बीते चुनाव से 5 फीसदी कम हुआ है। यहां मुकाबला चतुष्कोणीय है क्योंकि बीजेपी और कांग्रेस दोनों के बागी मैदान में हैं, जिससे नीना वर्मा और प्रभा गौतम उलझ गए हैं। इंदौर एक में तीन फीसदी वोटिंग अधिक हुई है, यहां से कैलाश विजयवर्गीय और संजय शुक्ला मैदान में हैं। खातेगांव में चार फीसदी कम वोटिंग हुई है यहां बीजेपी से कांग्रेस में गए दीपक जोशी मैदान में हैं। ध्रुवीकरण के लिए इस बार चर्चित सीट खरगोन में वोटिंग प्रतिशत बीते चुनाव से करीब ढाई फीसदी कम हो गई है। जयस के राष्ट्रीय संरक्षक डॉ. हीरालाला अलावा वाली मनावर सीट पर भी ढाई फीसदी वोटिंग कम हुई है। बीजेपी से कांग्रेस में गए शेखावत और कांग्रेस से बीजेपी में गए दत्तीगांव वाली बदनावर सीट पर भी दो फीसदी कम वोटिंग हुई है। बड़नगर में जहां कांग्रेस के बागी राजेंद्र सोलंकी मैदान में है, वहां छह फीसदी तक वोटिंग कम हो गई है। उधर जावद में दो फीसदी करीब वोटिंग अधिक हुई है जहां से कांग्रेस में शामिल हुए समंदर पटेल का मुकाबला मंत्री सखेलचा से है।
आगर-मालवा में सबसे ज्यादा, अलीराजपुर में सबसे कम वोटिंग
मालवा-निमाड़ की 66 सीटों में इस बार भी सबसे कम वोटिंग जोबट (अलीराजपुर) विधानसभा में दर्ज हुई और केवल 54.04 फीसदी वोटिंग हुई। वहीं रतलाम जिले की सैलाना सीट पर सबसे ज्यादा 90 फीसदी वोटिंग दर्ज की गई। वहीं इस बार आगर-मालवा जिले में सबसे ज्यादा 85.03 फीसदी वोटिंग दर्ज की गई, इसके बाद रतलाम में 83.40 फीसदी, नीमच में 83.30 फीसदी, मंदसौर में 83.28 फीसदी वोटिंग हुई। यह जिले मप्र में टॉप-10 जिले में है। वहीं देवास में 81.22 फीसदी वोटिंग हुई। सबसे कम वोटिंग अलीराजपुर में 60.10 फीसदी दर्ज की गई।
अंचल की प्रमुख सीटों पर इस तरह रहा बीते साल से तुलना
(चुनाव प्रतिशत आंकड़े आयोग से जारी की गई सूची अनुसार)
- 170 सोनकच्छ एससी - कांग्रेस से सज्जनसिंह वर्मा, बीजेपी से डॉ. राजेश सोनकर (मौजूदा विधायक कांग्रेस के वर्मा) - 84.93 फीसदी (साल 2018 में 83.92 फीसदी)
- 171 देवास से कांग्रेस के प्रदीप चौधरी, बीजेपी से मौजूदा विधायक गायत्री पंवार (मौजूदा विधायक बीजेपी की पंवार) -74.66 फीसदी (साल 2018 में 75.81 फीसदी)
- 173 खातेगांव- कांग्रेस से दीपक जोशी, बीजेपी से आशीष गोविंद शर्मा (मौजूदा विधायक बीजेपी के शर्मा) - 81.28 फीसदी (2018 में 85.57 फीसदी)
- 176 हरसूद- कांग्रेस से सुखराम साल्वे, बीजेपी से मंत्री विजय शाह बीजेपी से (अभी विधायक बीजेपी के शाह) -79.46 फीसदी (साल 2018 में 78.98 फीसदी)
- 180 बुरहानपुर- कांग्रेस से सुरेंद्र सिंह शेरा, अर्चना चिटनीस (मौजूदा विधायक शेरा) - 76 फीसदी (साल 2018 में 76.94 फीसदी)
- 183 महेशवर एससी- कांग्रेस से डॉ. विजयलक्ष्मी साधौ, बीजेपी से राजकुमार मेव (अभी विधायक कांग्रेस की साधौ) -81.50 फीसदी (साल 2018 में 81.28 फीसदी)
- 185 खरगोन से मौजूदा विधायक रवि जोशी फिर, बीजेपी से बालकृष्ण पाटीदार (मौजूदा विधायक कांग्रेस के जोशी) -77.83 फीसदी (साल 2018 मे 80.41 फीसदी)
- 193 झाबुआ एसटी- कांग्रेस से डॉ.विक्रांत भूरिया को टिकट, बीजेपी से भानू भूरिया (मौजूदा विधायक कांग्रेस के कांतिलाल भूरिया) - 65.61 फीसदी (साल 2018 में 65.17 फीसदी)
- 199 मनावर एसटी- कांग्रेस से विधायक डॉ. हीरालाल अलावा, बीजेपी से शिवराम कन्नौज (कांग्रेस के अलावा मौजूदा विधायक ) - 77 फीसदी (2018 में 79.45 फीसदी)
- 201 धार से कांग्रेस से प्रभा गौतम, बीजेपी से नीना वर्मा (बीजेप की नीना वर्मा अभी विधायक) - 78.88 फीसदी (साल 2018 में 73.54 फीसदी)
- 202 बदनावर से कांग्रेस से भंवर सिंह शेखावत, बीजेपी से राजवर्धन दत्तीगांव (बीजेपी के दत्तीगांव विधायक है) - 84.41 (बीते चुनाव में 86.11 फीसदी)
- 204 इंदौर एक- कांग्रेस विधायक संजय शुक्ला, बीजेपी से कैलाश विजयवर्गीय (कांग्रेस के शुक्ला अभी विधायक) - 72.28 (साल 2018 में 69.11 फीसदी)
- 209 महू- कांग्रेस से रामकिशोर शुक्ला, बीजेपी से उषा ठाकुर (मौजूदा विधायक बीजेपी की ठाकुर) - 77.39 फीसदी (साल 2018 में 79.30 फीसदी)
- 210 राउ इंदौर - कांग्रेस से जीतू पटवारी, बीजेपी से मधु वर्मा (मौजूदा विधायक कांग्रेस के पटवारी) – 75.94 फीसदी (साल 2018 में 74.53 फीसदी)
- 217 उज्जैन दक्षिण- कांग्रेस से चेतन प्रेमानारायण यादव, बीजेपी से मोहन यादव (बीजेपी के यादव अभी विधायक)-69.90 फीसदी (साल 2018 में 68.67 फीसदी)
- 218 बड़नगर- कांग्रेस से मुरली मोरवाल, बीजेपी से जितेंद्र पंडया (कांग्रेस के मुरली मोरवाल अभी विधायक)-83.10 फीसदी (साल 2018 में 89 फीसदी)
- 220 रतलाम शहर- पारस सकलेचा कांग्रेस से, बीजेपी से चैतन्य कश्यप (बीजेपी के चैतन्य कश्यप अभी विधायक) – 72.94 फीसदी (साल 2018 में 73.03 फीसदी)
- 223 आलोट एससी सीट- यहां से विधायक मनोज चावला को टिकट, बीजेपी से चिंतामणि मालवीय (कांग्रेस के चावला विधायक है)-82.79 फीसदी (साल 2018 में 82.62 फीसदी)
- 225 मल्हारगढ़ एससी- कांग्रेस से परशुराम सिसोदिया, बीजेपी से मंत्री जगदीश देवड़ा (बीजेपी के देवड़ा अभी विधायक)-87.08 फीसदी (साल 2018 में 86.50 फीसदी)
- 230 जावद- कांग्रेस से समंदर पटेल, बीजेपी से मंत्री ओमप्रकाश सखलेचा (बीजेपी के सखलेचा अभी विधायक)-86.19 फीसदी (साल 2018 में 84.46 फीसदी)