संजय गुप्ता, INDORE. इंदौर में हुआ अधूरा सूरत 2 ऑपरेशन और बमकांड के बाद बीजेपी बैकफुट पर दिखने लगी है। खासकर पूर्व स्पीकर व सांसद सुमित्रा महाजन द्वारा नाराजगी व्यक्त करने के बाद बीजेपी इसमें सफाई देने के लिए मैदान में आ गई है। रविवार ( 5 मई ) को नगरीय प्रशासन मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ( Kailash Vijayvargiya ) के साथ अक्षय बम ( Akshay Bam ) बीजेपी दफ्तर पहुंचे और अक्षय ने खुद को लेकर आधे घंटे तक सफाई दी। लेकिन सफाई अधूरी थी और इसमें तीखे सवालों का घुमाकर जवाब दिया। कुल मिलाकर गगरी कांग्रेस पर फोड़ी।
अक्षय बम ने यह बताया कांग्रेस छोड़ने का कारण
अक्षय बम ने कांग्रेस छोड़ने का कारण कांग्रेस पार्टी को ही बताया। उन्होंने किसी का नाम नहीं लिया, लेकिन यह कहा कि कांग्रेस में अनुशासन नहीं है। मैं लगातार प्रचार कार्यक्रम की मांग करता रहा, लेकिन 23 मार्च को जब नाम घोषित हुआ इसके बाद 29 अप्रैल को नाम वापसी तक किसी ने भी मेरा सपोर्ट नहीं किया। मैं रोज कार्यक्रम बनाता था लेकिन पार्टी के लोग टाल देते थे। सचिन पायलट ने आसपास सभा की, वह इंदौर मे दो घंटे एयरपोर्ट पर रहे लेकिन मेरे लिए सभा का कोई कार्यक्रम नहीं बनाया गया। इन सभी के कारण मैं आहत हुआ और पार्टी छोड़ी।
बीजेपी में इस तरह से गया मैं
बम ने कहा कि 29 को नाम वापसी तक मैंने सुबह प्रचार किया, लेकिन घर आकर मैंने पापा (कांति बम) से बात की। मेरे कैलाशजी से 20 साल पुराने और पिता के 40 साल पुराने संबंध है। मैंने पापा से बात करने के बाद कैलाशजी को फोन लगाया, उन्होंने मदद की और कहा कि आ जाओ स्वागत है और मैं खुद चलता हूं आपके साथ। फिर मैंन नाम वापस लिया।
धारा 307 बढ़ने को लेकर यह दी सफाई
बम ने इस मामले में कहा कि धारा 307 को लेकर गलत बात कही जा रही है। यह अभी विवेचना में आया है और 10 मई को इसमें आगे फैसला होगा। मैं इतने लंबे समय से सक्रिय हूं लेकिन केवल एक पुराना जमीन का केस है। पूरी तरह से मैं क्लीयर हूं। इसलिए दबाव वाली कोई बात ही नहीं है।
कांग्रेस को धोखा देने पर दी अजीब सफाई
वहीं कांग्रेस को धोखा देने की बात पर बम ने अजीब सफाई दी और कहा कि विधानसभा चुनाव में भी सब्सटीट्यूट कैंडीडेट बनाने की बात मैंने कही थी कि राजा मंधवानी का यदि फार्म निरस्त हो गया तो मुझे सब्सीट्यूट में रख लीजिए, लेकिन नहीं रखा गया। लेकिन लोकसभा चुनाव में मेरे सात मोती सिंह को सब्सीट्यूट कैंडीडेट रखा गया। यानी पार्टी को पहले से लग रहा था की मैं नाम वापस ले लूंगा। यह तो फिर कांग्रेस को तैयारी करना थी कि वह अपने सब्सीड्यूट कैंडीडेट के लिए बेहतर व्यवस्था करती। मुझे तो समाजसेवा करना है।
ताई की नाराजगी पर यह बोले
ताई इस पूरे कांड से नाराज है। इस सवाल के जवाब में बम ने कहा कि ताई इस देश की बड़ी नेता है मैं इउनकी बातों पर बात करूं मेरी औकात नहीं। उधर नोटा को लेकर कहा कि वह मिल भी जाएंगे तो इससे कांग्रेस को क्या फायदा होगा। कांग्रेस के पास नीति, नेता और नियत नहीं है।
मोदी, कैलाश हीरो, कांग्रेस का विलेन कौन?
अक्षय बम ने कहा कि हीरो होते हैं, मोदी जी हीरो है, प्रदेश में कैलाश जी हीरो है और इंदौर में नगराध्यक्ष गौरव रणदिवे जी हीरो है। लेकिन बम इस सवाल को टाल गए कि फिर कांग्रेस में कौन विलेन था, क्या आपने किसी से पार्टी छोडने से बात की। इन सभी बातों को वह घुमा गए। जनता में उन्हें द्रुयोधन जैसा देखा जा रहा है? इस पर बम ने कहा कि कोई द्रुयोधन बोल रहा है और कोई अभिमन्यु।
कैलाश विजयवर्गीय ने भी बम के समर्थन में कही यह बात
बम अच्छा काम करना चाहता है। वह इसलिए बीजेपी में आया है। बीजेपी में आने वाले हर अच्छे व्यक्ति का स्वागत है। हम सभी ने लालवानी का पांच साल का कार्यकाल देखा है। उन्हें वोट देकर पीएम को मजबूत बनाना है। वह देश को लगातार विकास के पथ पर ले रहे हैं।
ताई का आदर करते हैं
ताई द्वारा नाराजगी जाहिर करने पर विजयवर्गीय ने केवल इतना ही कहा हम उनका आदर करते हैं।
निगम घोटाले में कोई नहीं बचेगा
उन्होंने यह भी कहा कि निगम घोटाले में पूरी जांच होगी और कोई भी बड़ी हो नहीं बचेगा। नगर निगम और शहर को बदनाम करने वालों को छोड़ेंगे नहीं।
29 को बात हुई, नाम वापस लेने की, संदेश देने खुद गए बम
बम से मेरी 29 को बात हुई, मैंने कहा कि नाम वापस लेना है, किसी प्रस्तावक को भेज दें हो जाएगा। लेकिन मैं संदेश देना चाहता हूं कि मैं इच्छा से नाम वापस लेना चाहता हूं। मैं अक्षय की तारीफ करना चाहता हूं। हिम्म्त से काम लिया। फिर मैंने रमेश जी को बोला और वह उनके साथ गए., जबकि वह खुद अकेले जाकर फार्म विड्रा करना चाहते थे।
कमलनाथ जी अच्छे आदमी, अकेले आते तो ले लेते
कमलनाथ को लेकर कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि वह अच्छे आदमी है, वह अकेले आते तो उन्हें ले लेते, लेकिन बीजेपी कोई डस्टबिन नहीं कि सभी कचरे को ले ले।