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उज्जैन में सरकारी गेहूं की हेराफेरी का एक बड़ा मामला सामने आया है। यहां किसानों से समर्थन मूल्य पर खरीदी गई गेहूं को प्रशासन ने कांग्रेस नेता विजय सिंह गौतम के वेयर हाउस में रखा था, जिसकी कीमत तीन करोड़ रुपए से ज्यादा बताई जा रही है। अब खबर आई है कि इस वेयर हाउस से 16 हजार 168 बोरियां (प्रत्येक 50 किलो की) गायब हैं। वहीं, करीब 12 हजार बोरियों में गेहूं की बजाय डस्ट, भूसा और छानन भरा हुआ मिला है।
प्रशासन ने 2020-21 में रखा था गेहूं
यह वेयर हाउस घट्टिया तहसील के पानबिहार क्षेत्र के ग्राम बच्चूखेड़ी में मौजूद है, और इसकी प्रोपाइटर लक्ष्मीबाई और संचालक विजय सिंह गौतम हैं। प्रशासन ने 2020-21 में गेहूं को यहां रखा था, ताकि उसे कंट्रोल दुकानों में वितरित किया जा सके या जरूरत के मुताबिक अन्य सरकारी योजनाओं में इस्तेमाल किया जा सके। यह वेयर हाउस घट्टिया की खिलचीपुर शाखा के तहत आता है।
ऐसे खुला राज
इस मामले का खुलासा तब हुआ जब शाखा प्रबंधक भगवान पटेल ने गेहूं की गुणवत्ता की जांच करने के लिए जिला अधिकारियों से अनुरोध किया। जब एक टीम जांच के लिए मौके पर पहुंची, तो उन्हें गड़बड़ी का शक हुआ। इसके बाद एसडीएम राजाराम करजरे के नेतृत्व में 8-10 अधिकारियों की एक टीम ने वेयर हाउस का निरीक्षण किया। टीम ने मौके पर पंचनामा किया और वेयर हाउस को सील कर दिया। रिपोर्ट शुक्रवार तक कलेक्टर को सौंपे जाने की संभावना है।
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गेहूं की कीमत तीन करोड़
रिकॉर्ड के मुताबिक, वेयर हाउस में 28 हजार 174 बोरियां गेहूं की होनी चाहिए थीं, लेकिन मौके पर केवल 12 हजार 6 बोरियां मिलीं, यानी 16 हजार168 बोरियां गायब हैं। इन 12 हजार 6 बोरियों में भी गेहूं की बजाय डस्ट, भूसा और छानन भरा हुआ था, और वे भी 50 किलो की नहीं, बल्कि कम मात्रा में थे। इस हिसाब से गायब हुई और जो बोरियां मिलीं, उनमें कुल गेहूं 14 हजार 87 क्विंटल के करीब था, जिसकी कीमत लगभग तीन करोड़ रुपए बताई जा रही है।
संचालक ने क्या कहा?
जब इस मामले में विजय सिंह गौतम से पूछा गया, तो उन्होंने बताया कि उन्हें पिछले तीन महीनों से वेयर हाउस की चाबी नहीं दी गई थी। चाबी वेयर हाउस कॉर्पोरेशन वालों ने ले ली थी, और उनका डेढ़ करोड़ रुपए का बकाया भी नहीं दिया गया। उन्होंने कहा कि पांच साल पहले गेहूं वेयर हाउस में रखा था, और कई बार अधिकारियों से अनुरोध किया कि गेहूं उठा लिया जाए, लेकिन उन्होंने ध्यान नहीं दिया। अब गेहूं की हालत यह हो गई है कि वह सड़ चुका है, और उन्होंने कोई गलत काम नहीं किया है।
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कार्रवाई करने की तैयारी
इस मामले पर घट्टिया के एसडीएम राजाराम करजरे ने कहा कि जांच की गई है, और तीन करोड़ रुपए से अधिक की कीमत के गेहूं गायब पाए गए हैं। अब रिपोर्ट कलेक्टर को सौंप दी जाएगी। वहीं, जिला कलेक्टर नीरज कुमार सिंह ने कहा कि यह मामला गंभीर है और जांच रिपोर्ट के आधार पर उचित कार्रवाई की जाएगी।
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