ग्वालियर कॉलेज फर्जीवाड़ा : 750 निजी कॉलेजों की होगी जांच, रिपोर्ट तलब
ग्वालियर के शिवशक्ति कॉलेज में हुए फर्जीवाड़े का मामला उजागर होने के बाद उच्च शिक्षा विभाग ने प्रदेश के 750 निजी कॉलेजों की जांच शुरू कर दी है। इस मामले में 17 लोगों पर एफआईआर दर्ज की गई है।
ग्वालियर के झुंडपुरा में स्थित शिवशक्ति कॉलेज का मामला उजागर होने के बाद शिक्षा क्षेत्र में हड़कंप मच गया है। जीवाजी यूनिवर्सिटी से एफिलिएट इस फर्जी कॉलेज का संचालन केवल कागजों पर किया जा रहा था। आर्थिक अपराध अन्वेषण ब्यूरो (ईओडब्ल्यू) ने जांच में पाया कि यह कॉलेज न केवल वास्तविकता में मौजूद नहीं था, बल्कि इसके नाम पर हर साल एफिलिएशन दी जा रही थी। इस मामले में 17 लोगों पर एफआईआर दर्ज की गई है, जिनमें जीवाजी विश्वविद्यालय के कुलपति अविनाश तिवारी और राजस्थान के बांसवाड़ा विश्वविद्यालय के कुलपति केएस ठाकुर सहित कई प्रोफेसर शामिल हैं।
750 निजी कॉलेजों पर मंडरा रहा संकट
इस खुलासे के बाद, उच्च शिक्षा विभाग ने प्रदेशभर के 750 निजी कॉलेजों की जांच के निर्देश जारी किए हैं। ग्वालियर-चंबल संभाग के 373 कॉलेज भी इस जांच के दायरे में हैं। उच्च शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव अनुपम राजन ने सभी जिलों के कलेक्टरों को दो सप्ताह में इन कॉलेजों का भौतिक सत्यापन कराने और रिपोर्ट सौंपने के निर्देश दिए हैं। इस जांच से ऐसे फर्जी कॉलेजों का पर्दाफाश होगा, जो केवल कागजों पर संचालित हो रहे हैं।
नर्सिंग कॉलेजों में पहले भी हुआ था फर्जीवाड़ा
यह मामला नर्सिंग कॉलेजों में हुए बड़े घोटाले की याद दिलाता है, जहां कई संस्थानों ने बिना आधारभूत संरचना के संचालन किया। विशेषज्ञों का मानना है कि इस बार भी बड़े पैमाने पर फर्जीवाड़ा सामने आ सकता है।
जांच का उद्देश्य और उम्मीदें
जांच का मुख्य उद्देश्य निजी कॉलेजों की प्रामाणिकता को सुनिश्चित करना और शिक्षा क्षेत्र में पारदर्शिता लाना है। यह कदम राज्य में शिक्षा की गुणवत्ता सुधारने और फर्जी संस्थानों को जड़ से खत्म करने की दिशा में महत्वपूर्ण साबित हो सकता है।
FAQ
1. शिवशक्ति कॉलेज मामले में कितने लोगों पर एफआईआर दर्ज हुई?
कुल 17 लोगों पर एफआईआर दर्ज हुई है, जिनमें दो विश्वविद्यालयों के कुलपति भी शामिल हैं।
2. यह जांच किन कॉलेजों को प्रभावित करेगी?
प्रदेशभर के 750 निजी कॉलेज, जिनमें ग्वालियर-चंबल संभाग के 373 कॉलेज शामिल हैं, इस जांच के दायरे में हैं।
3. जांच के आदेश किसने दिए हैं?
उच्च शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव अनुपम राजन ने जांच के निर्देश दिए हैं।
4. शिवशक्ति कॉलेज में किस तरह का फर्जीवाड़ा हुआ?
कॉलेज का अस्तित्व केवल कागजों पर था, लेकिन हर साल इसे संबद्धता दी जा रही थी।
5. जांच का उद्देश्य क्या है?
निजी कॉलेजों की प्रामाणिकता सुनिश्चित करना और फर्जी संस्थानों को समाप्त करना।