INDORE. सफाई में लगातार सात बार नंबर वन इंदौर नगर निगम इन दिनों घोटालों को लेकर चर्चित है, लेकिन अब इन घोटालों की राशि गबनवीरों से वसूलने की जगह आमजन पर टैक्स बढ़ाने की तैयारी हो रही है। पहले ही रेटजोन में कॉलोनियां बदलकर संपत्ति कर को बढ़ा दिया गया है और अब जलकर व कचरा शुल्क बढाने की तैयारी हो रही है, लेकिन महापौर पुष्यमित्र भार्गव के इस रूख का बीजेपी की कोर कमेटी में ही जमकर विरोध हो गया।
क्या प्रस्ताव रखा और क्या हुआ बीजेपी बैठक में
बीजेपी कोर कमेटी की बैठक में महापौर के साथ ही मंत्री तुलसी सिलावट, विधायक गोलू शुक्ला, मधु वर्मा, मनोज पटेल, नगराध्यक्ष गौरव रणदिवे व अन्य जनप्रतिनिधि थे। फोन पर विधायक रमेश मेंदोला और मालिनी गौड़ से राय ली गई। जब महापौर ने बताया कि जलकर को जोन वार करके 200 से 300 व 400 रुपए किया जाएगा। इस पर विधायक भड़क गए और कहा कि हवा और जलकर क्या पॉश और पिछड़े एरिया देखकर लगेगा। यह तो युक्तियुक्त, होना चाहिए। वहीं मेंदोला ने तो फोन पर यहां तक कह दिया कि पहले पानी तो दो, फिर जलकर बढ़ाना, अभी तो वहीं नहीं दे पा रहे हैं। इसी तरह अन्य विधायकों ने भी इसमें सुझाव दिए और मोटे तौर पर यही था कि बोझ डालने की जरूरत नहीं है।
मालिनी गौड़ तो भड़क गई
वहीं नाराज मालिनी गौड़ तो बैठक में ही नहीं पहुंची। उन्हें भी फोन लगाया गया और मुद्दों पर राय ली तो वह बोली कि पहले सड़कों के गड्ढे तो सुधारो, पूरी शहर हालाकान हुआ है, विकास काम पूरी तरह से ठप पड़े हुए हैं। इन मुद्दों को तो पहले सुलझाओ, टैक्स अकेले बढाने से क्या होगा?
यह हुआ तय
इसके बाद सभी ने तय किया कि सभी विधायक पहले इस मुद्दे पर पार्षदों से बात करेंगे और फिर बैठक कर इसमें एक राय ली जाएगी और इसके बाद ही आगे इसमें बढ़ा जाएगा। ऐसा रास्ता हो कि निगम को भी विकास कामों के लिए राशि की व्यवस्था हो और जनता भी परेशान नहीं हो।
मोटे तौर पर 100 रुपए जलकर बढ़ाने का प्रस्ताव
मोटे तौर पर प्रस्ताव है कि जलकर जो अभी 200 रुपए प्रति माह है इसे करीब 300 रुपए प्रति माह कर दिया जाए। अभी जल प्रदाय में हर साल निगम के 450 करोड़ रुपए से अधिक खर्च होते हैं। निगम पर 600 करोड़ रुपए से अधिक का कर्जा है। विकास के लिए भी राशि नहीं बच रही है।
कचरा शुल्क प्लाट एरिया से लेने का प्रस्ताव
वहीं कचरा शुल्क के लिए रेट जोन के हिसाब से बढाने की बात हुई है, अभी यह 60 रुपए से 180 रुपए प्रति माह है। इसके लिए मोटे तौर पर रेट जोन के साथ ही प्लाट एरिया को तय किया जा रहा है। अधिकतम शुल्क 5000 वर्गफीट और इससे अधिक पर लिया जाएगा। यह भी करीब दोगुना हो सकता है। हालांकि कम प्लाट एरिया वालों को 10 फीसदी तक की बढ़ोतरी होगी, लेकिन अधिक प्लाट एरिया वालों पर यह दोगुना तक संभव है। कचरा शुल्क बढोतरी से आई राशि से नए कचरा वाहन लेने और स्वच्छता पर ध्यान देने के लिए खर्च की बात की जा रही है।