संजय गुप्ता, INDORE. कांग्रेस ने लोकसभा चुनाव (Lok Sabha elections 2024) के लिए उम्मीदवारों की खोज तेज हो गई है। इसके लिए प्रारंभिक तौर पर पैनल बना लिया गया है (Congress candidates)। मालवा-निमाड़ में कुल आठ सीट है, जिसमें देवास और उज्जैन एससी आरक्षित, रतलाम-झाबुआ, खरगोन और धार एसटी आरक्षित है, बाकी मंदसौर, खंडवा व इंदौर सामान्य सीट है।
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इंदौर सीट पर पार्टी नहीं तय कर पाई पैनल
फिलहाल इंदौर सीट को लेकर स्थिति साफ नहीं है, प्रदेश के बड़े नेताओ की चाहत वैसे बदनावर से विधायक व बीजेपी से कांग्रेस में आए भंवरसिंह शेखावत को लेकर है, लेकिन वह खुद बहुत ज्यादा इच्छुक नहीं है। उधर अन्य अमीर प्रत्यशी संजय शुक्ला, विशाल पटेल और सत्तू पटेल भी लोकसभा लड़ने के लिए इच्छुक नहीं है। वैसे इंदौर से शेखावत के साथ ही स्वप्निल कोठारी, अक्षय बम, राजेंद्र यादव, शेख अलीम के भी नाम प्रदेश स्तर पर भेजे गए हैं (Congress MLAs contest Lok Sabha elections)।
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विधायकों की लोकप्रियता भुनाने के मूड में कांग्रेस
धार- एसटी के लिए आरक्षित इस सीट से कांग्रेस ने सिंगल सुरेंद्र सिंह उर्फ हनी बघेल का नाम दिया है। वह कुक्षी के कांग्रेस विधायक है और उनकी क्षेत्र में मजबूत पकड़ है और लगातार चुनाव जीत रहे हैं। बीते चनाव में यहां कांग्रेस के उम्मीदावर दिनेश गिरवार को बीजेपी के छतरसिंह दरबार ने 1.56 लाख वोट से हराया था। वहीं विधानसभा चुनाव की बात करें तो इस लोकसभा की आठ सीट में से पांच पर कांग्रेस जीती हुई है।
खरगोन- इस एसटी आरक्षित सीट से राजपुर विधायक बाला बच्चन का नाम प्रमुखता से है साथ ही केदार डाबर का नाम भी पैनल में हैं। बीते चुनाव में बीजेपी के गजेंद्र पटेल ने कांग्रेस के डॉ. गोविंद मुजाल्दा को दो लाख दो हजार वोट से हराया था।
रतालाम-झाबुआ- इस एसटी आरक्षित सीट से एक बार फिर कांग्रेस के प्रमुख आदिवासी नेता कांतिलाल भूरिया का नाम है, यदि कांग्रेस युवा पर गई तो फिर जेवियर मेडा का और हर्ष गेहलोत का नाम भी चर्चा में है। बीते चुनाव में भूरिया, बीजेप के गुमान डामोर से 90 हजार वोट से हारे थे।
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देवास- यह एससी के लिए सीट है। यहां पर सज्जन सिंह वर्मा जो सोनकच्छ से विधानसभा चुनाव हारे हैं, उन्हें और आगर-मालवा से चुनाव हारे विपिन वानखेड़े के नाम चर्चा में हैं। हालांकि सज्जन वर्मा देवास से चुनाव लड़ने के कम मूड़ में हैं। बीते चुनाव में यहां बीजेपी के महेंद्र सिंह सोलंकी ने कांग्रेस के प्रह्लाद टिपानिया को 3.72 लाख वोट से हराया था।
उज्जैन- यह भी एससी आरक्षित सीट है। यहां से तराना कांग्रेस विधायक महेश परमार का नाम प्रमुखता से है, वहीं रामलाल मालवीय का नाम भी उम्मीदवारी में है। अब यह सीएम के गृह जिला होने के बाद अधिक हाईप्रोफाइल हो गई है। बीते चुनाव में बीजेपी के अनिल फिरोजिया ने कांग्रेस के बाबूलाल मालवीय को 3.65 लाख वोट से हराया था।
खंडवा- इस सामान्य वर्ग की सीट से झूमा सोलंकी का नाम चर्चा में हैं, साथ ही राजनारायण सिंह का नाम भी पैनल में हैं। यहां बीते चुनाव में बीजेपी के नंदकुमार चौहान ने कांग्रेस के अरूण यादव को 2.73 लाख वोट से हराया था।
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मंदसौर- इस सामान्य से सीट से कांग्रेस के पास विपिन जैन, स्वप्निल नाहटा और राकेश पाटीदार का नाम है। वहीं बीते चुनाव में कांग्रेस की मीनाक्षी नटराजन यहां सुधीर गुप्ता से 3.76 वोट से हारी थी।