मध्य प्रदेश के मंदसौर जिले में एक ऐसा हैरान कर देने वाला घटनाक्रम सामने आया है, जिसमें एक महिला जो डेढ़ साल पहले मृत घोषित कर दी गई थी, अचानक अपने परिवार के पास लौट आई है। यह घटना न सिर्फ परिवार बल्कि पुलिस के लिए भी एक बड़ा सिरदर्द बन गई है, क्योंकि इस मामले में पहले ही चार लोगों को हत्या के आरोप में जेल भेजा जा चुका था।
महिला की लापता होने की कहानी
दरअसल, सितंबर 2023 में मंदसौर के गांधी सागर से एक महिला के लापता होने की सूचना पुलिस को दी गई थी। परिवार ने दावा किया था कि उनकी बेटी शाहरुख नाम के व्यक्ति के साथ भाग गई थी। इसके बाद पुलिस ने महिला के लापता होने की जांच शुरू की। कुछ दिनों बाद, झाबुआ जिले के थांदला में एक महिला का क्षत-विक्षत शव मिला, जिसका चेहरा पत्थर से कुचला हुआ था।
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शव की पहचान और आरोपियों की गिरफ्तारी
पुलिस ने सोशल मीडिया पर मृतक महिला की तस्वीर अपलोड की, और इसके बाद महिला के परिवार ने पहचानने की कोशिश की। परिवार ने महिला के टखने पर बने टैटू और धागे से शव की पहचान की और यह दावा किया कि शव उनकी बेटी का ही था। इसके बाद पुलिस ने शाहरुख और उसके साथियों को गिरफ्तार कर लिया था।
महिला का घर लौटना
कुछ दिन पहले, महिला घर लौटी और यह जानकर पूरा परिवार हैरान रह गया कि उनकी बेटी मृत नहीं थी। महिला ने पुलिस से संपर्क किया और बताया कि वह जीवित है। गांधी सागर थाना प्रभारी ने पुष्टि की कि महिला ने अपनी पहचान साबित की और बताया कि वह पिछले 18 महीनों से जीवित थी, लेकिन शाहरुख नाम के एक अन्य व्यक्ति द्वारा उसे बंधक बना लिया गया था।
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पुलिस की नई जांच
महिला ने पुलिस को बताया कि वह शाहरुख के साथ भानपुरा गई थी, लेकिन दो दिन बाद उसे एक अन्य शाहरुख को 5 लाख रुपए में बेच दिया गया। उसने बताया कि वह पिछले 18 महीनों से कोटा में रही और हमेशा भागने का रास्ता तलाशती रही। अब पुलिस को यह पता लगाना है कि महिला के लापता होने के दौरान क्या हुआ था और कौन था जिसकी पहचान उसके परिवार ने शव के रूप में की थी।
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