रविकांत दीक्षित, भोपाल
गर्मी में गजब का बवाल मचा हुआ है। रेगिस्तान की रेत में पापड़ सेंके जा रहे हैं। कोई अंडे उबाल रहा है। हैरानी तो यह है कि छत पर कढ़ाई रखकर पूरियां भी तली जा रही हैं। इनके वीडियो बन रहे हैं और सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं।
एक ऐसी ही घटना श्योपुर की है। जिसमें भाजपा नेता कल्पना राठौर गैस चूल्हे या अन्य किसी दूसरे उपकरण के बिना ही छत पर रखी कढ़ाई में तेज धूप के बीच पूड़ियां तल रही हैं ( frying puris rooftop without flame )। नेत्री कल्पना राठौर के एक दिन पहले वायरल हुए इस वीडियो की 'द सूत्र' की टीम ने पड़ताल की। हमारे किसी प्लेटफॉर्म पर यह वायरल वीडियो पोस्ट नहीं किया गया था, क्योंकि हम अपने दर्शकों और पाठकों को सबसे सटीक कंटेंट देने के लिए प्रतिबद्ध हैं। इसी कड़ी में हमने पूरे सच की पड़ताल की।
देखिए यह वीडियो...
— मैं अब परेशान हो चुकी हूं...
'द सूत्र' ने भाजपा नेत्री कल्पना राठौर से बातचीत की। उन्होंने कहा, मैं अब परेशान हो चुकी हूं। कोई भी, कुछ भी कह रहा है। मैंने तो छत पर कढ़ाई रख दी थी। तेल गर्म हुआ तो दो पूरियां तल लीं। अब लोग इस पर तमाम तरह की बातें कर रहे हैं। बातचीत में कल्पना का गला भर आया। उन्होंने सवाल किया कि मैं क्यों किसी को सबूत दूं। किसी को सबूत चाहिए भी है तो मैं मोदी जी को सबूत दूंगी। मैं अपने बयान पर कायम हूं।
पढ़िए क्या कहा कल्पना ने...
सवाल: आपकी वीडियो तो भारी वायरल हो रही है?
कल्पना: मुझे दिक्कत हो रही है, कोई कुछ भी बोलता है।
सवाल: हम आपसे जानना चाहते हैं कि क्या ये संभव है कि तेल में इस तरह पूरियां तली जा सकती हैं?
कल्पना: मैंने तो तली हैं, सबको नजर आ रहा है। मैं चैनल चलाती हूं, उसके लिए यह सब किया था। अब वायरल तो मीडिया वालों ने कर दिया उसे। मैं क्या करूं?
सवाल: क्या आपने तेल को पहले गर्म किया था? या यह तापमान की वजह से इतना गर्म हो गया?
कल्पना: नहीं किया, मैं नीचे के फ्लोर पर रहती हूं। घर चार मंजिला है तो वहीं चौथी मंजिल की छत पर मैंने वहीं कढ़ाई को रखा था। मैंने फिर दो पूरी डालीं। एक पूड़ी वैसी हुई और एक थोड़ी कम गर्म हुई। एक कबाब डाला था, जो हल्का बिल्कुल ठंडा ठंडा सा हो गया था। मुझे तो टेंशन हो रही है। पता नहीं यह क्या हो गया।
सवाल: आपने रील बनाने के लिए यह काम किया? कैसे आया यह आइडिया? क्या गैस चूल्हे पर तेल गर्म किया था?
कल्पना: मैं आपसे बोल रही हूं, हुआ था तेल गर्म। कह तो रही हूं मैं। मैं नीचे रहती हूं, जब तक ले जाती, तब तक तो तेल ठंडा हो जाता।
किसी को प्रूफ चाहिए तो मोदी जी बात करें
इसके बाद कल्पना नाराज हो गईं? उन्होंने सवाल किया कि क्या मैं इसे झूठ करार दे दूं? क्या करूं...मैं परेशान हो गई हूं। अब तो मुझे रोना भी आने लगा है। अगर मैं झूठ बोल दूं तो मैं कैसे झूठ बोल दूं। मुझे नहीं पता तेल कैसे गर्म होता है। मैंने तो कभी तापमान भी नहीं मापा। यदि किसी को सबूत मांगना है तो मैं सिर्फ मोदी जी को सबूत दूंगी। मैं हर किसी को क्यों बोलूं? अब मैं किसी से इस बारे में चर्चा भी नहीं करूंगा। किसी को सबूत जानना है तो मोदी जी ही बात करें मुझसे। मैं इतनी परेशान हो गई हूं, हमारा छोटा सा शहर है। अजीब तरह के कमेंट्स आ रहे हैं।
ये भी पढ़ें...
PM MODI : रविवार ईसाइयों से जुड़ा, हिंदुओं से नहीं
— विज्ञान क्या कहता है यह भी जान लीजिए
क्या वाकई मध्यप्रदेश में इतनी गर्मी पड़ रही है कि कढ़ाई का तेल इतना गर्म हो जाए और उसमें पूड़ियां भी तलीं जा सकें? इसे लेकर 'द सूत्र' ने मैनिट के अस्सिटेंट प्रोफेसर पीयूष कुमार पटेल से बात की। उन्होंने कहा, किसी भी चीज को तलने के लिए 100 डिग्री से ज्यादा टेंप्रेचर जरूरी है। संभव ही नहीं है कि 47 या 50 डिग्री सेल्सियस तापमान होने पर छत या आंगन में कढ़ाही में तेल भरकर पूड़ी तली जा सकें। कुछ लोग ऐसे वीडियो बनाकर वायरल कर रहे हैं, लेकिन ऐसा संभव नहीं है।( sheopur viral video )
अब जानिए तेल का प्रकार...
— तेल का प्रकार: रिफाइंड मूंगफली का तेल अनरिफाइंड मूंगफली के तेल की तुलना में अधिक उच्च तापमान पर उबलता है।
— अम्लता: उच्च अम्लता वाले तेल में कम उबलने का बिंदु होता है।
— दूषित पदार्थ: तेल में मौजूद दूषित पदार्थ उबलने के बिंदु को कम कर सकते हैं।
सामान्यतः
रिफाइंड मूंगफली का तेल: 230°C - 250°C (446°F - 482°F)
अनरिफाइंड मूंगफली का तेल: 200°C - 220°C (392°F - 428°F)
धुआं निकलने का तापमान
धुआं निकलने का तापमान वह तापमान होता है, जिस पर तेल टूटने लगता है और हानिकारक रसायन पैदा करता है। मूंगफली के तेल का धुआं निकलने का तापमान लगभग 230°C (446°F) होता है।