जयपुर पुलिस कमिश्नरेट को दिल्ली की तर्ज पर मिलेंगे अधिकार, केंद्र सरकार करवा रही अध्ययन

देशभर में 70 शहरों में कमिश्नरेट प्रणाली है। लेकिन कमिश्नरेट के पास समान अधिकार नहीं हैं। सरकार अब समान अधिकार देने के लिए अध्ययन कर रही है। इस अध्ययन के पूरा होने के बाद देशभर में सभी पुलिस कमिश्नरेट को समान अधिकार और शक्तियां दे दी जाएगी।

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Kamlesh Keshote
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Photograph: (the sootr)

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Jaipur. देश में पुलिस व्यवस्था को अधिक प्रभावी और जवाबदेह बनाने के लिए देशभर के 70 शहरों में पुलिस कमिश्नरेट प्रणाली लागू की गई है। इसका उद्देश्य पुलिस अधिकारियों को बेहतर प्रशासनिक शक्तियां प्रदान करना और अपराधों की रोकथाम में तेजी लाना है। इस प्रणाली का उपयोग करने वाले सभी शहरों को समान अधिकार नहीं दिए गए हैं। अब केंद्र सरकार इस व्यवस्था को समान रूप से लागू करने के लिए अध्ययन करवा रही है। ताकि सभी शहरों को समान अधिकार मिल सकें। इससे जयपुर पुलिस कमिश्नरेट का अधिकार और शक्तियां बढ़ जाएगी।

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समान अधिकारों की दिशा में कदम 

केंद्र सरकार ने इस अध्ययन के लिए नेशनल पुलिस एकेडमी को नोडल एजेंसी नियुक्त किया है। इसके अलावा राज्यों से समन्वय के लिए नोडल अधिकारी भी नियुक्त किए गए हैं। जयपुर कमिश्नरेट के एडिशनल कमिश्नर को नोडल अधिकारी बनाया गया है। सभी राज्यों से रिपोर्ट मिलने के बाद एनपीए इस अध्ययन का निष्कर्ष निकालेगी और सुधार की दिशा में कदम उठाएगी।

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दिल्ली और मुंबई में प्रभावी संचालन 

दिल्ली और मुंबई में पुलिस कमिश्नरेट प्रणाली का संचालन बहुत प्रभावी है। यहां पर पुलिस विभाग के पास कार्यकारी मजिस्ट्रेट की सभी शक्तियां हैं। यह उन्हें अधिक स्वतंत्रता और निर्णय लेने की क्षमता प्रदान करता है। इसके विपरीत अन्य राज्यों और शहरों में पुलिस को सीमित अधिकार प्राप्त हैं। उदाहरण के तौर पर दिल्ली और मुंबई में पुलिस द्वारा सिनेमा और अन्य लाइसेंसों का प्रबंधन किया जाता है। जबकि अन्य शहरों में यह अधिकार सरकार के पास रहता है और पुलिस की भूमिका सीमित होती है।

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70 शहरों में कमिश्नरेट प्रणाली 

राजस्थान, मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, हरियाणा, पंजाब, गुजरात, असम, आंध्र प्रदेश सहित देश के 70 प्रमुख शहरों में कमिश्नरेट प्रणाली को लागू किया गया है। इससे पुलिस प्रशासन को अधिक मजबूत और संगठित किया जा रहा है। कमिश्नरेट प्रणाली के तहत पुलिस अधिकारियों को अधिक प्रशासनिक अधिकार दिए जाते हैं। ताकि वे आपराधिक मामलों को जल्दी और प्रभावी रूप से निपटा सकें।

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पुलिस व्यवस्था होगी मजबूत 

केंद्र सरकार का यह कदम यह सुनिश्चित करने के लिए है कि सभी पुलिस कमिश्नरेट को समान अधिकार मिलें। ताकि पुलिस प्रशासन में एकरूपता बनी रहे और नागरिकों को बेहतर सुरक्षा मिल सके। यह अध्ययन आने वाले दिनों में पुलिस व्यवस्था को और भी मजबूत बनाने में मदद करेगा।

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मुख्य बिंदु 

प्रशासनिक संरचना: पुलिस कमिश्नरेट प्रणाली एक विशेष पुलिस प्रशासनिक संरचना है। जिसमें पुलिस विभाग के पास सभी कानून व्यवस्था से संबंधित अधिकार होते हैं। इस प्रणाली के तहत पुलिस कमिश्नरेट को जियादा स्वतंत्रता और शक्तियां मिलती हैं। जिससे अपराधों की रोकथाम और समाधान में तेजी आती है।
   
ताकतवर प्रणाली: इस प्रणाली के तहत पुलिस को अधिक अधिकार प्राप्त होते हैं। जिससे वे जल्दी निर्णय ले सकते हैं और कानून व्यवस्था को मजबूत कर सकते हैं। इससे अपराधों पर काबू पाया जा सकता है और पुलिस प्रशासन में सुधार हो सकता है।

लाइसेंस का अधिकार: दिल्ली और मुंबई में पुलिस कमिश्नरेट प्रणाली के तहत पुलिस के पास कार्यकारी मजिस्ट्रेट की सभी शक्तियां होती हैं। साथ ही सिनेमा और अन्य लाइसेंस देने का अधिकार भी पुलिस के पास है। जो अन्य शहरों में सरकार के पास होता है।

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