/sootr/media/media_files/2025/08/22/jecc-sitapura-jaipur-2025-08-22-16-50-05.jpeg)
Photograph: (the sootr)
टीना सुराणा @ जयपुर
राजस्थान में जयपुर के सीतापुरा का जयपुर एग्जीबिशन एंड कन्वेंशन सेंटर (जेईसीसी) एक बार फिर चर्चा में है। इस बार किसी भव्य प्रदर्शनी या अंतरराष्ट्रीय कॉन्फ्रेंस को लेकर नहीं, बल्कि अपनी पार्किंग एरिया में हो रहे धड़ाधड़ म्यूजिकल शो और व्यावसायिक आयोजनों को लेकर चर्चा में है। पार्किंग एरिया में हनी सिंह, दलजीत और करण ओजला के शो आयोजित करने के बाद अब यहां पर डांडिया नाइट भी होने वाली है।
जेईसीसी को विशुद्ध एग्जीबिशन और कन्वेंशन सेंटर के तौर पर तैयार किया गया था, जिसका पार्किंग क्षेत्र अब ओपन-एयर कंसर्ट जोन में तब्दील हो गया है। जेईसीसी परिसर में आधुनिक सुविधाओं से युक्त एग्जीबिशन हॉल-1 और हॉल-2 के साथ-साथ नोवोटेल जैसे होटल में शानदार इंडोर हॉल मौजूद हैं। फिर भी आयोजक खुले में धूलभरी पार्किंग में भीड़ भरे इवेंट कर रहे हैं। इससे न सिर्फ सुरक्षा नियमों की अवहेलना हो रही है, बल्कि मूल स्ट्रक्चर और जोनिंग के उद्देश्यों को भी ताक पर रखा जा रहा है।
राजस्थान: जयपुर में लेपर्ड जंगल की सरहद लांघ आबादी में पहुंचा, मच गई खलबली, जानें पूरा मामला
रीको की चुप्पी पर उठे सवाल
जेईसीसी परिसर की भूमि और अनुमति रीको (Rajasthan State Industrial Development and Investment Corporation) के अधीन आती है। ऐसे में सवाल है कि जब निर्माण उद्देश्य स्पष्ट रूप से प्रदर्शनी और सम्मेलन था, तो रीको अब तक इस उल्लंघन पर चुप क्यों है। रीको सीतापुरा के सीनियर रीजनल मैनेजर आरएस धारीवाल से जब इस बारे में जानकारी ली गई, तो जवाब मिला कि जेईसीसी क्षेत्र भले ही सीतापुरा के अधीन आता है, परंतु ये फाइल हेड ऑफिस के अधीन है। इसके लिए सीतापुरा के क्षेत्रीय अधिकारी कोई कार्रवाई नहीं कर सकते।
मगर नियम कोई नहीं मान रहा
बड़ा विरोधाभास यह है कि इसी जेईसीसी मॉडल पर जयपुर विकास प्राधिकरण (JDA) द्वारा विद्याधर नगर में एक नया कन्वेंशन सेंटर बनाया जा रहा है। इसमें मीटिंग्स, इंसेंटिव्स, कॉन्फ्रेंस, एग्जीबिशन सेंटर (माइस) जैसी सुविधाएं होंगी। लोगों का कहना है कि जब पहले से मौजूद कन्वेंशन सेंटर का उपयोग पार्किंग में तमाशे करवाने के लिए हो रहा है, तो नई संरचना का औचित्य क्या रह जाता है?
नियम तोड़कर इवेंट्स को मिली छूट
पार्किंग क्षेत्र का प्रयोग पार्किंग के साथ ही अग्निशमन पहुंच, आपातकालीन निकास और ट्रैफिक नियंत्रण जैसे बुनियादी मानकों के तहत आता है। ऐसे में इसे बार-बार इवेंट स्थल की तरह इस्तेमाल करना न सिर्फ नियमों का उल्लंघन है, बल्कि यह भविष्य में दूसरे सार्वजनिक परिसरों के लिए भी गलत मिसाल बन सकता है।
FAQ
- thesootr links
- मध्यप्रदेश की खबरें पढ़ने यहां क्लिक करें
- छत्तीसगढ़की खबरें पढ़ने यहां क्लिक करें
- राजस्थान की खबरें पढ़ने यहां क्लिक करें
- रोचक वेब स्टोरीज देखने के लिए करें क्लिक
- जॉब्स और एजुकेशन की खबरें पढ़ने के लिए क्लिक करें
- निशुल्क वैवाहिक विज्ञापन और क्लासिफाइड देखने के लिए क्लिक करें
अगर आपको ये खबर अच्छी लगी हो तो 👉 दूसरे ग्रुप्स, 🤝दोस्तों, परिवारजनों के साथ शेयर करें📢🔃🤝💬👩👦👨👩👧👧