राजस्थान में मोटापे से निपटेगा मिशन ओबी लॉस, प्रदेशभर में लगेंगे चेतावनी बोर्ड, जानें क्या है अभियान

मोटापा एक गंभीर स्वास्थ्य संकट बनता जा रहा है। राजस्थान में मिशन ओबी लॉस से लोगों को कम वसा और कम चीनी वाले आहार के प्रति जागरूक किया जाएगा।

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Nitin Kumar Bhal
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Photograph: (The Sootr)

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मोटापा (Obesity) आजकल एक नई महामारी के रूप में सामने आ रहा है। यह न केवल हमारे जीवन की गुणवत्ता को प्रभावित करता है, बल्कि यह हाइपरटेंशन (Hypertension), हदय रोग (Heart Diseases), फैटी लिवर (Fatty Liver), घुटनों का दर्द (Knee Pain), डायबिटीज (Diabetes), और कैंसर (Cancer) जैसी गंभीर बीमारियों को जन्म देता है। हाल के वर्षों में इन समस्याओं का प्रभाव अधिक बढ़ गया है, और इसे कम करने के लिए कई उपायों की आवश्यकता है।

राजस्थान राज्य सरकार ने इस गंभीर समस्या से निपटने के लिए मिशन ‘ओबी लॉस’ (Mission OB Loss) की शुरुआत की है। इस मिशन के तहत प्रदेश में अलग-अलग स्थानों पर शुगर और ऑयल बोर्ड (Sugar & Oil Board) लगाए जाएंगे, ताकि लोगों को स्वस्थ आहार और आहार की सामग्री के बारे में जानकारी मिल सके।

मिशन ओबी लॉस की शुरुआत

राजस्थान सरकार ने प्रदेशभर के होटल, रेस्टोरेंट, कॉलेज, विश्वविद्यालयों, और सरकारी कार्यालयों में शुगर व ऑयल बोर्ड लगाए जाने के आदेश दिए हैं। इन बोर्डों पर लोगों को यह जानकारी मिलेगी कि कौन सा खाद्य पदार्थ ज्यादा वसा और चीनी से भरा हुआ है, ताकि वे अपने आहार को संतुलित कर सकें। इसके अलावा, चिकित्सकीय दृष्टिकोण से भी लोगों को जागरूक किया जाएगा कि उनकी दिनचर्या में क्या सुधार की आवश्यकता है।

राजस्थान में यह पहल विशेष रूप से उन छात्रों के लिए महत्वपूर्ण है जो कॉलेज और विश्वविद्यालयों में पढ़ाई कर रहे हैं। इससे उन्हें न केवल अच्छे आहार के बारे में जानकारी मिलेगी, बल्कि उनका ध्यान भी इस ओर आकर्षित होगा कि स्वास्थ्य के लिए क्या सही है और क्या नहीं।

राजस्थान में चिकित्सा विभाग की प्रमुख शासन सचिव IAS गायत्री राठौड़ ने इस बारे में कहा कि राज्य सरकार मोटापे से लोगों में बढ़ रही गंभीर बीमारियों को देखते चिंतित है। लोगों को मोटापे के प्रति जागरूक करने के लिए राजस्थान में मिशन ओबी लॉस शुरू किया गया है। यह अभियान प्रदेशवासियों को स्वस्थ जीवन जीने की प्रेरणा देगा।

 

ऐसे काम करेगा मिशन ओबी लॉस

इस मिशन के तहत मेडिकल कॉलेज प्राचार्यों, अस्पताल अधीक्षकों, पीएमओ और सीएमएचओ आदि को चिकित्सा विभाग ने आदेश दिए हैं कि वे अपने परिसर में इस अभियान के बोर्ड लगाएं। वहीं, जिला अस्पताल, मेडिकल कॉलेज, सीएचसी और पीएचसी की ओपीडी (OPD), वार्ड, कैंटीन, लाइब्रेरी, ऑडिटोरियम, संस्थानों और यूनिवसिर्टी में प्रमुख स्थानों पर मिशन ओबी लॉस का संदेश लगाया जाएगा। इससे ज्यादा से ज्यादा लोग इस अभियान से जुड़ेंगे और स्वस्थ जीवन जीने के महत्व को समझेंगे।

इसके अलावा, सरकारी ऑफिसों में लेटरहेड, लिफाफे, नोटपेड और फोल्डर पर भी इस मिशन का संदेश अनिवार्य रूप से चस्पा किया जाएगा, ताकि अधिकारी और कर्मचारी भी इससे लाभान्वित हो सकें।

ओबेसिटी से जुड़ी बीमारियों की रोकथाम

एंडोक्राइनोलॉजी विभाग सवाई मानसिंह मेडिकल कॉलेज के चिकित्सक डॉ. संदीप माथुर ने बताया कि तली हुई वस्तुएं और फास्ट फूड से डायबिटीज, कैंसर, ब्लड प्रेशर और हदय रोग का खतरा बढ़ जाता है। इसलिए, हमें इस प्रकार के खाने को छोड़ देना चाहिए।

मोटापे को नियंत्रित करने के लिए यह बेहद महत्वपूर्ण है कि हम अपने खाने में वसा (Fat) और चीनी (Sugar) की मात्रा को नियंत्रित करें। डॉ. माथुर के अनुसार, एक बड़े व्यक्ति को रोजाना 27.30 ग्राम वसा और 25 ग्राम चीनी से ज्यादा नहीं लेनी चाहिए। वहीं बच्चों को रोजाना 20 ग्राम चीनी से अधिक नहीं सेवन करना चाहिए।

इसके साथ ही, एक्सरसाइज (Exercise), सीढ़ियों का उपयोग (Stairs) और साइक्लिंग (Cycling) जैसी अन्य फिटनेस गतिविधियों को बढ़ावा देना चाहिए। यह कदम ओबेसिटी और उससे जुड़ी बीमारियों से बचने के लिए बेहद प्रभावी साबित हो सकते हैं।

2050 तक भारत में 45 करोड़ ओबेसिटी पीड़ित

द लैंसेट पत्रिका की ओर से जीडीबी 2021 मोटापा पूर्वानुमान अध्ययन 2025 के अनुसार, भारत देश में 2050 तक ओबेसिटी से पीड़ितों की संख्या 18 करोड़ से बढ़कर 44.9 करोड़ हो सकती है। ऐसे वक्त में मिशन ओबी लॉस जैसे अभियान बेहद महत्वपूर्ण हो जाते हैं। क्योंकि यह अभियान लोगों को मोटापे के खतरे से बचने और एक स्वस्थ जीवन जीने के लिए प्रेरित करता है। 

यह अभियान न केवल लोगों को मोटापे के खतरे से जागरूक करेगा, बल्कि उन्हें अपने खाने-पीने की आदतों में सुधार करने की प्रेरणा भी देगा।

FAQ

1. राजस्थान में मिशन ओबी लॉस का मुख्य उद्देश्य क्या है?
मिशन का उद्देश्य राजस्थान में मोटापे को कम करना और उससे जुड़ी गंभीर बीमारियों से बचाव के लिए जागरूकता बढ़ाना है।
2. मिशन ओबी लॉस के तहत किन-किन स्थानों पर शुगर और ऑयल बोर्ड लगाए जाएंगे?
होटल, रेस्टोरेंट, कॉलेज, विश्वविद्यालय, सरकारी कार्यालय, अस्पताल, मेडिकल कॉलेज, कैंटीन, लाइब्रेरी, मीटिंग हॉल सहित प्रमुख सार्वजनिक स्थानों पर।
3. मोटापा कम करने के लिए किन खाद्य पदार्थों से बचना चाहिए?
फास्ट फूड, तेल में तली-भुनी चीजें, अत्यधिक शक्कर और वसा वाले खाद्य पदार्थों से बचाव करना चाहिए।
4. बच्चों के लिए प्रतिदिन शुगर की सीमित मात्रा कितनी है?
बच्चों को प्रतिदिन 20 ग्राम से अधिक शुगर नहीं लेनी चाहिए।
5. मोटापा कम करने के लिए किन फिजिकल एक्टिविटी को अपनाना चाहिए?
रोजाना साइक्लिंग, चलना, सीढ़ियों का उपयोग, योग आदि नियमित रूप से करना चाहिए।

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