राजस्थान रेरा का अनूठा फैसला : बिल्डर ने की लापरवाही तो खुद विक्रेता बन कराई रजिस्ट्री, दिलाया फ्लैट का कब्जा

राजस्थान में रेरा ने प्रॉपर्टी खरीदारों को पहली बार सीधे रजिस्ट्री और कब्जा दिलवाया, जिससे बिल्डरों की मनमानी के शिकार लोग राहत महसूस कर रहे हैं।

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Nitin Kumar Bhal
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Photograph: (The Sootr)

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राजस्थान (Rajasthan) में रियल एस्टेट रेगुलेटरी अथॉरिटी ने पहली बार खुद को फ्लैट का ‘विक्रेता’ घोषित कर खरीदारों को रजिस्ट्री कराकर कब्जा दिलाया। यह कार्रवाई वर्षों से बिल्डरों के चक्कर लगा रहे लोगों के लिए उम्मीद की किरण बनकर आई है।

रेरा के इस कदम से स्पष्ट संदेश मिला है कि बिल्डरों की मनमानी बर्दाश्त नहीं की जाएगी। बता दें, रेरा ने रेरा एक्ट और सिविल प्रोसिजर कोड के अन्तर्गत यह अधिकार अपने पास रखा है कि अगर बिल्डर रजिस्ट्री की सेल डीड करने में ना-नुकर करता है तो रेरा स्वयं इस प्रक्रिया पूरी करेगा।

रेरा चेयरपर्सन का सख्त निर्णय

राजस्थान रियल एस्टेट विनियामक प्राधिकरण (RERA) की चेयरपर्सन वीनू गुप्ता (IAS Veenu Gupta) के निर्देश पर रेरा के रजिस्ट्रार आर.एस. कुलहरी ने सेल डीड पर साइन कर फ्लैट खरीदार को परेशानी से निजात दिलाई। रेरा चेयरपर्सन का यह फैसला खरीदारों के अधिकारों को लेकर रेरा की गंभीरता दिखाता है।

रेरा एक्ट की महत्वपूर्ण धाराएं और खरीदारों के अधिकार

  • रियल एस्टेट रेगुलेटरी अथॉरिटी एक्ट 2016 में स्पष्ट प्रावधान हैं कि अगर बिल्डर तय समय में सेल डीड या रजिस्ट्री नहीं करता, तो रेरा खुद इसे पूरा कर सकता है। इसके तहत ओरिएंटेशन और शिकायत निवारण के बाद कार्रवाई होने का रास्ता साफ है।
  • बिल्डर द्वारा देरी या अनदेखी होने पर रेरा खरीददार की तरफ से सेल डीड पर हस्ताक्षर करता है।
  • इस प्रक्रिया से खरीदारों को लंबे समय तक अधर में पड़े प्रोजेक्ट की चिंता से मुक्ति मिलती है।
  • कब्जा न मिलने पर भी रेरा तुरंत कदम उठाता है।

रेरा की डिजिटल सुविधा: प्रोजेक्ट की पारदर्शिता बढ़ाई

  • रेरा ने ग्राहकों के लिए एक ऑनलाइन पोर्टल उपलब्ध कराया है, जिससे खरीदार कोई भी रियल एस्टेट प्रोजेक्ट सरलता से जांच सकते हैं।
  • प्रोजेक्ट का नाम या प्रमोटर का नाम डालकर रजिस्ट्रेशन की स्थिति, नक्शा, निर्माण स्टेज और अवधि देखी जा सकती है।
  • यहां प्रोजेक्ट के कारपेट एरिया समेत अन्य तरह की सम्पूर्ण जानकारी उपलब्ध होती है।
  • यह पारदर्शिता ग्राहकों को उचित निर्णय लेने में मदद करती है, जिससे भविष्य में धोखाधड़ी की संभावना कम होती है।

 

RERA क्या है और यह कैसे काम करता है?

  1. RERA का मतलब

    • RERA का पूरा नाम है रियल एस्टेट (विनियमन और विकास) अधिनियम, 2016। यह एक कानून है जो रियल एस्टेट क्षेत्र में पारदर्शिता, जवाबदेही और दक्षता लाने के लिए बनाया गया है।

  2. घर खरीदारों को मिलते हैं फायदे

    • RERA का मुख्य उद्देश्य घर खरीदारों के हितों की रक्षा करना है। यह उन्हें कई फायदे प्रदान करता है, जैसे समय पर प्रोजेक्ट पूरा होने का आश्वासन, विवादों का त्वरित समाधान, और धोखाधड़ी से सुरक्षा।

  3. समय पर प्रोजेक्ट पूरा होना

    • RERA यह सुनिश्चित करता है कि डेवलपर्स अपने प्रोजेक्ट्स समय पर पूरे करें, ताकि घर खरीदारों को उनके घर समय पर मिल सकें। इससे खरीदारों को मानसिक शांति मिलती है।

  4. विवादों का त्वरित समाधान

    • RERA ने एक विवाद समाधान तंत्र तैयार किया है, जिससे घर खरीदारों और डेवलपर्स के बीच किसी भी प्रकार के विवाद का त्वरित और प्रभावी समाधान किया जा सकता है।

  5. पारदर्शिता और जवाबदेही

    • RERA रियल एस्टेट क्षेत्र में पारदर्शिता और जवाबदेही लाता है। इससे खरीदारों को यह जानने का मौका मिलता है कि उनके पैसे का उपयोग कैसे किया जा रहा है और प्रोजेक्ट किस दिशा में बढ़ रहा है।

  6. धोखाधड़ी से सुरक्षा

    • RERA के द्वारा डेवलपर्स को धोखाधड़ी से रोकने के लिए सख्त नियम बनाए गए हैं। इससे घर खरीदारों को सुरक्षा मिलती है और वे विश्वास के साथ निवेश कर सकते हैं।

  7. निश्चित कारपेट एरिया

    • RERA के तहत, डेवलपर्स को फ्लैट्स का आकार कारपेट एरिया के आधार पर बताना होता है। इससे खरीदारों को यह स्पष्ट रूप से पता चलता है कि वे वास्तव में क्या खरीद रहे हैं।

  8. अलग एस्क्रो खाता

    • RERA के अनुसार, डेवलपर्स को खरीदारों से प्राप्त धन का एक निश्चित प्रतिशत एस्क्रो खाते में जमा करना होता है। इससे यह सुनिश्चित होता है कि यह धनराशि केवल परियोजना को पूरा करने के लिए ही उपयोग की जाएगी।

  9. शिकायत निवारण तंत्र

    • RERA ने एक शिकायत निवारण तंत्र तैयार किया है, जिससे खरीदार अपनी शिकायतें दर्ज कर सकते हैं और उनका समाधान पा सकते हैं। यह एक आसान और पारदर्शी प्रक्रिया है।

  10. निवेश को बढ़ावा

    • RERA के द्वारा पारदर्शिता और विश्वास बढ़ाने से रियल एस्टेट क्षेत्र में निवेश को बढ़ावा मिलता है। इससे निवेशक अधिक सुरक्षित महसूस करते हैं और वे अधिक निवेश करने के लिए प्रेरित होते हैं।

RERA घर खरीदारों के लिए एक महत्वपूर्ण कानून है जो न केवल उन्हें धोखाधड़ी से बचाता है, बल्कि उनके निवेश को सुरक्षित और पारदर्शी भी बनाता है। RERA के कारण, रियल एस्टेट क्षेत्र में सुधार हो रहा है, और अब खरीदारों को अपनी संपत्ति का हक पाने के लिए ज्यादा समय और संघर्ष नहीं करना पड़ता।

 

रेरा से सम्पर्क कैसे करें?

RERA का मुख्यालय जयपुर के उद्योग भवन परिसर में स्थित है। शिकायत या जानकारी के लिए निम्नलिखित माध्यम उपलब्ध हैं: फोन: 0141-2851900, ईमेल: complaint.rera@rajasthan.gov.in है। यहां से खरीदार अपनी शिकायत दर्ज करा सकते हैं और अधिकारियों से मार्गदर्शन प्राप्त कर सकते हैं।

रेरा का कदम बिल्डरों के लिए चेतावनी और खरीदारों के लिए उम्मीद

रेरा के इस कदम ने बिल्डरों को स्पष्ट चेतावनी दी है कि वे अपनी जिम्मेदारियों से बच नहीं सकते। वहीं, खरीदारों को प्रॉपर्टी खरीदने में भरोसा और सुरक्षा मिली है। अब बिल्डर जितनी देर से रजिस्ट्री करेंगे, रेरा उतनी तेजी से कार्रवाई करेगा। 

यह व्यवस्था खासकर प्रदेश में जमीन की अनियमितताओं और रजिस्ट्री में हो रही देरी को खत्म करने वाली है। खरीदार राहत महसूस करेंगे और मकान के कब्जे के लिए लम्बे इंतजार से बचेंगे।

रेरा के तहत खरीदारों के मुख्य अधिकार

अधिकार (Rights) विवरण (Details)
समय पर कब्जा निर्धारित अवधि में फ्लैट का कब्जा मिलने का अधिकार
सेल डीड की रजिस्ट्री रेरा के द्वारा बिना बिल्डर की देरी के सेल डीड कराना
शिकायत निवारण पोर्टल पर शिकायत दर्ज करने और शीघ्र समाधान का प्रावधान
प्रोजेक्ट की पारदर्शिता ऑनलाइन प्रोजेक्ट की सम्पूर्ण जानकारी उपलब्धता
दंडात्मक कार्रवाई नियमों का उल्लंघन करने पर बिल्डर के खिलाफ सख्त कार्रवाई का प्रावधान

 

FAQ

1. राजस्थान रेरा ने खरीदारों के लिए क्या नया कदम उठाया है?
रेरा ने पहली बार खुद को फ्लैट का विक्रेता घोषित कर खरीदार के लिए सेल डीड पर हस्ताक्षर कर रजिस्ट्री करवाते हुए कब्जा दिलाया है।
2. राजस्थान में अगर बिल्डर सेल डीड नहीं करता तो क्या होता है?
ऐसे मामले में राजस्थान रियल एस्टेट विनियामक प्राधिकरण रेरा एक्ट और सिविल प्रोसीजर कोड के तहत खुद सेल डीड पर हस्ताक्षर कर खरीदार के पक्ष में रजिस्ट्री करवा सकता है।
3. रेरा वेबसाइट पर क्या जानकारी उपलब्ध है?
यहां से प्रोजेक्ट का नाम, रजिस्ट्रेशन नंबर या प्रमोटर का नाम डालकर प्रोजेक्ट से संबंधित नक्शा, निर्माण चरण, अवधि व कारपेट एरिया जैसी पूरी जानकारी मिलती है।
4. राजस्थान में प्रॉपर्टी खरीदार अपनी शिकायत कैसे दर्ज करा सकते हैं?
खरीदार फोन नंबर 0141-2851900 पर शिकायत कर सकते हैं या complaint.rera@rajasthan.gov.in पर ईमेल कर सकते हैं।
5. रेरा की कार्रवाई बिल्डरों के लिए क्या संदेश है?
यह बिल्डरों को निर्देश है कि रजिस्ट्री व कब्जे में देरी न करें, नहीं तो रेरा खुद खरीदारों को राहत दिलाने के लिए सख्त कार्रवाई करेगा।

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