नितिन मिश्रा, RAIPUR. राजधानी में डेंगू क्लेम के लिए बनाई गई टीम इन दिनों सरकारी और निजी अस्पतालों का जांच कर रही है। जिसमें यह बात सामने आई है कि प्रायवेट के साथ– साथ सरकारी अस्पतालों में भी एलाइजा टेस्ट नहीं हो रहा है। इसके बिना ही मरीज का देंगे का इलाज किया जा रहा है। टीम ने अब तक 30 अस्पतालों की जांच कर ली है।
बिना एलाइजा टेस्ट हो रहा इलाज
रायपुर में डेंगू के बढ़ते मामलों को देखते हुए प्रायवेट अस्पतालों से आयुष्मान कार्ड के जरिए राशि क्लेम करने की शिकायत सामने आ रही थी। जिसको देखते हुए पांच जांच टीम बनाई गई है। यह टीम अब तक 30 अस्पतालों तक पहुंच गई है। जिन अस्पतालों की जांच की गई उसमें मरीज का बिना एलाइजा टेस्ट डेंगू का इलाज किया जा रहा हैं। यह हाल केवल प्राइवेट ही नहीं सरकारी अस्पताल का भी है। मरीज भी अपना इलाज कराने के लिए प्रायवेट अस्पतालों की तरफ रुख कर रहें हैं। आयुष्मान कार्ड के तहत अब तक 280 क्लेम हुए हैं। 72 निजी अस्पतालों के साथ सरकारी अस्पतालों का जायजा लिया जा रहा है। आने वाले कुछ दिनों में जांच पूरी हो जाएगी। आयुष्मान कार्ड के तहत क्लेम करने पर 15 हजार रुपए की राशि मिलती है।
प्रदेश में 384 केस
प्रदेश में डेंगू के करीब 384 एक्टिव केस हैं। जिसमें से 30 केस राजधानी रायपुर के हैं। यह आंकड़े सरकारी और निजी दोनो अस्पतालों के हैं। दुर्ग जिले में सबसे ज्यादा 150 केस हैं, रायगढ़ में 137 केस हैं और बस्तर में 24 डेंगू के एक्टिव मरीज है। इनमें से ज्यादातर मरीज प्रायवेट अस्पताल में अपना इलाज करा रहें हैं। जबकि सरकारी अस्पतालों में डेंगू के मरीजों के लिए 40 से बेड अलग से लगाए गए हैं।