"चुनाव लोकतंत्र का ऐसा चक्रव्यूह है कि वही मुद्दे फिर घूम फिर कर सामने खड़े हो जाते हैं। तब लिखने वालों के सामने मुश्किल यह आती है कि इस बार नया क्या लिखें। व्यंग पुरानी शराब की तरह बीते समय के साथ और उम्दा होता जाता है।" वैसे इसमें कोई शंका नहीं कि अपने देश के मतदाताओं का भविष्य उज्जवल है। दास मलूका की भविष्यवाणी अब कहीं जाकर सच होने वाली है। राजनीतिक दल सबके दाता राम बनकर मेहरबान हैं। कन्सेशन पर कन्सेशन के बाद अब काफी कुछ फ्री-फोकट-फंड भी।
महीने भर का राशन मुफ्त। खाओ, खेलो, खटिया तोड़ो, बच्चे पैदा करो, काम भर छोड़कर सब करो। अब तक जो कर्ज लिया था उसे भूल जाओ। अगला कर्ज फिर ले लो और घी पियो या दारू जो चाहे करो, अगले चुनाव में ये फिर माफ हो जाएगा वाह.. एक वोट की इतनी कीमत.. समय रहते पहचानो। जिस मुल्क में आदमी की जिंदगी की कोई कीमत नहीं, चार साल ग्यारह महीने गटर में कीड़े की भांति मरे या जिएं उसकी जिंदगी का सेंसेक्स एक माह तक उच्चस्तर पर रहता है।
ये चुनाव बाजार है। इसमें हर अदा बिकती है। जाति-पांति की गोलबंदी करने का हुनर बिकता है। झूठ-भ्रम फैलाने वाला मायाजाल बिकता है। गद्दारी, मक्कारी सबको भाव मिलते हैं सबके नए रेट तय होते हैं। कल्लूलाल की पार्टी भला कहां पीछे। लल्लूलाल की पार्टी के आकर्षक आफर की काट उसके पास है। कल्लूलाल की पार्टी के पास जनहित की क्रांतिकारी योजना है। घोषणापत्र बताता है कि अब वोटरों को मुफ्त राशन के लिए लाइन में नहीं लगना पड़ेगा, राशन खुद चलकर घर पहुंच जाएगा। वोटर खटिया में आराम करते रहें, उठने या करवट लेने की भी जरूरत नहीं।
कल्लूलाल की पार्टी हर वोटर को दो सेवक उपलब्ध कराएगी। एक सेवक खाना बनाएगा दूसरा पांव दबाएगा। गोदभराई से लेकर मांग भराई तक और इसके बीच चिकित्सा, दवाई, पोषण सबके नियमित भत्ते मिलेंगे। सरकार बैंक अकाउंट खुलवाएगी और करदाताओं की श्रेणी में शामिल नागरिकों के जेब से रुपए निकालकर सीधे उनके अकाउन्ट में जमा करवाएगी। झुग्गी-झोपड़ियों को रिसॉर्ट में बदल दिया जाएगा जहां स्वीमिंग पूल और जिम होंगे जिससे मुफ्त का राशन पचाने के लिए वे व्यायाम कर सकें । ताकि बीपीएल वालों की नस्ल हट्टी-कट्टी और चुस्त-दुरुस्त हो।
कल्लूलाल की पार्टी बीपीएल वालों का समय-समय पर ब्लड टेस्ट करवाएगी और यह सुनिश्चित करेगी की उनका हीमोग्लोबिन पंद्रह से नीचे न गिरने पाए। जिन करदाताओं के शरीर में ज्यादा खून होगा मेंडेटरी एक्सचेंज स्कीम के तहत उनका खून निकालकर बीपीएल वालों को दे दिया जाएगा। राशन का अन्न किसान उपलब्ध कराएंगे। बीज डंकल जैसी कंपनियां और खाद खरीदने के लिए सरकार कर्ज देगी। ये कर्ज फिर अगले चुनाव में माफ कर दिए जाएंगे। बिजली भी मुफ्त होगी। यह बिजली कारपोरेट के थर्मल पावर से मिलेगी। रुपए की जगह इन्हें सिंचाई परियोजना के बांधों का पानी दिया जाएगा। हरे-भरे जंगलों को काटकर वहां से कोयला निकाला जाएगा।
कल्लूलाल की पार्टी के इस घोषणा-पत्र से लल्लूलाल की पार्टी जैसे ही बैकफुट में आई रणनीतिकारों ने अपने अकल का जैक लगा दिया, बोले- तुम फिर से पूरक घोषणा-पत्र जारी करो और वायदा करो- कि हम मंगल मिशन के बाद वहां की जमीन पर बीपीएल वालों को प्लाट काट कर देंगे और अमेरिका से वहां शानदार बस्ती बनाने का एमओयू साइन करेंगे। देशपर खरबों का कर्ज है तो क्या, दो गुना बढ़ता है तो दस गुना बढ़ने दो.. अपने बाप का क्या जाता है।