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Delhi. अर्जेंटीना की उपराष्ट्रपति क्रिस्टीना फर्नांडीज डी किरचनर की हत्या की कोशिश की गई। गुरुवार को एक व्यक्ति ने फायरिंग की कोशिश की, लेकिन समय पर पिस्तौल नहीं चली। इस घटना के बाद वहां अफरातफरी मच गई। दुनिया के कई देशों ने इस हमले की कड़े शब्दों में निंदा की है। बताया जा रहा है कि क्रिस्टीना अपने घर के बाहर समर्थकों के बीच मौजूद थीं। उसी समय एक अज्ञात व्यक्ति ने पॉइंट ब्लैंक रेंज पर बंदूक तान दी। दूसरी ओर राष्ट्रपति अल्बर्टो फर्नांडीज ने टीवी से देश को संबोधित करते हुए बताया कि उपराष्ट्रपति क्रिस्टीना पर एक व्यक्ति ने पिस्तौल की ओर इशारा करते हुए ट्रिगर खींच लिया। क्रिस्टीना अभी भी जीवित हैं क्योंकि बंदूक चलने की पुष्टि नहीं हुई है। उन्होंने कहा कि अर्जेंटीना में लोकतंत्र लौटने के बाद से यह अब तक की सबसे गंभीर घटना है. हमलावर अचानक क्रिस्टीना के करीब आया था। अगर गोली चल जाती तो बड़ा नुकसान हो सकता था। हमलावर को गिरफ्तार कर लिया गया है।
ट्रिगर फंसने से बची जान
राष्ट्रपति अल्बर्टो फर्नांडीज ने कहा कि हमलावर ने जिस बंदूक से हमला करने की कोशिश की उसमें पांच गोलियां थीं। वह ट्रिगर फंस जाने की वजह से गोली नहीं चला पाया। इसलिए क्रिस्टीना की जान बच गई। उन्होंने बताया कि आरोपी ब्राजील का रहने वाला है। उसका नाम फर्नांडो आंद्रे सबाग मोंटिएल है। घटना के दौरान अफरा-तफरी मच गई। जैसे ही संदिग्ध क्रिस्टीना के सामने आया उनके सिक्योरिटी गार्ड हरकत में आ गए। हमलावर को गिरफ्तार कर लिया गया।
समर्थक क्रिस्टीना के घर के बाहर जुटे थे
क्रिस्टीना 2007-2015 तक प्रेसिडेंट रह चुकी हैं। इस दौरान उन पर भ्रष्टाचार के आरोप लगे थे। मामले की सुनवाई अब भी चल रही है। क्रिस्टीना के खिलाफ चल रहे मामले के विरोध में उनके समर्थक घर के बाहर रैली निकाल रहे थे। इस साल 8 जुलाई को जापान के पूर्व प्रधानमंत्री शिंजो आबे की हत्या एक कैंपेन के दौरान कर दी गई थी। हत्यारे ने बेहद करीब से उन्हें गोली मारी थी। हत्यारे की पहली गोली मिसफायर हो गई थी। इसके बाद जैसे ही आबे पीछे मुड़े उन्हें दूसरी गोली सीने पर आ लगी और वो जगह पर ही गिर पड़े। सिक्योरिटी गार्ड ने तुरंत एक्शन लेते हुए हत्यारे को दबोच लिया।
फर्नांडीस पर कई आरोप
अर्जेंटीना में 2007 से 2015 के बीच दो बार राष्ट्रपति बनने वाली किरचनर को विभाजनकारी राजनीति करने के लिए जाना जाता है उन्हें 2000 के दशक की शुरुआत में किए गए पब्लिक कॉन्ट्रैंक्ट्स पर 12 साल की सजा और चुनाव न लड़ने की अयोग्यता का सामना करना पड़ता है।