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अफगानिस्तान में तालिबान का प्रभुत्व लगातार बढ़ता जा रहा है। तालिबान और अफगान सरकारी सैन्यबलों के बीच लगातार जंग जारी है। बीते दो दिनों से तालिबान ने हमले बढ़ा दिए हैं। बीते 5 दिनों में तालिबान ने पांच प्रांतीय राजधानियों पर कब्जा कर लिया है। तालिबान ने सोमवार, 09 अगस्त को ही अफगानिस्तान के सर-ए-पोल और तालोकन पर कब्जा जमाया। कुछ समय पहले ही अमेरिकी और नाटो फोर्स वापस गई हैं। जिसके बाद से ही तालिबान ने हमले तेज कर दिए हैं। इसी के साथ अबतक कुल पांच ऐसे बड़े शहर हैं, जो तालिबान के कब्ज़े में हैं। कुंदुज, सर-ए-पॉल और तालोकन प्रांत के शहरों में अब तालिबान का कब्जा है। इन पांच शहरों में पिछले तीन दिन में कब्जा किया गया है। पिछले हफ्ते भी तालिबान कई अन्य प्रांतीय राजधानियों पर कब्जा जमा चुका है।
अफगानिस्तान में बढ़ती हिंसा चिंता का विषय
अफगानिस्तान से अमेरिकी सेना को वापस बुलाने के बावजूद अमेरिका अभी भी यहां एक्टिव रहना चाहता है। अमेरिकी विदेश विभाग ने कहा है कि अफगानिस्तान में तालिबान की सैन्य व्यस्तता की बढ़ती गति, जिसके कारण पक्षों के बीच सशस्त्र संघर्ष में नागरिक हताहत हुए और कथित मानवाधिकार अत्याचार, गंभीर चिंता का विषय हैं। रविवार, 08 अगस्त को अमेरिका के विशेष प्रतिनिधि जलमय खलीलजाद अफगान सुलह के लिए दोहा रवाना हुए, जहां उन्होंने युद्धग्रस्त देशों में तेजी से बिगड़ती स्थिति के लिए एक संयुक्त अंतर्राष्ट्रीय प्रतिक्रिया तैयार करने में मदद की। अफगानिस्तान के विदेश विभाग के मुताबिक, वह तालिबान पर अपने सैन्य हमले को रोकने और एक राजनीतिक समझौते पर बातचीत करने के लिए दबाव डालेंगे, जो अफगानिस्तान में स्थिरता और विकास का एकमात्र रास्ता है।
शांति से बातचीत एकमात्र उपाय
अमेरिका का कहना है कि युद्ध को समाप्त करने के लिए शांति से बातचीत ही एकमात्र रास्ता है और अमेरिका राजनीतिक समझौते पर आम सहमति को आगे बढ़ाने के लिए सभी पक्षों के क्षेत्रीय और अंतर्राष्ट्रीय हितधारकों के साथ काम करना जारी रखेगा। दोहा मंगलवार से शुक्रवार तक अफगानिस्तान शांति प्रक्रिया पर अंतर्राष्ट्रीय बैठकों की मेजबानी करेगा। इन बैठकों में अमेरिका, चीन, पाकिस्तान, रूस, एन के प्रतिनिधि और अंतर-अफगान वार्ता के अन्य मध्यस्थ शामिल होंगे। राष्ट्रीय सुलह के लिए उच्च परिषद के प्रमुख अब्दुल्ला अब्दुल्ला और शांति मामलों में राज्य मंत्री सैयद सआदत मंसूर नादेरी भी काबुल सरकार की ओर से दोहा पहुंचे हैं।