प्रयागराज में आयोजित होने वाले महाकुंभ मेला 2025 के दौरान श्रद्धालुओं की सुविधा और सुरक्षा के लिए ई-पास प्रणाली लागू की जा रही है। इस बार, उत्तर प्रदेश सरकार के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के आदेशों के बाद, श्रद्धालुओं की सुरक्षा और व्यवस्थाओं को सुनिश्चित करने के लिए छह रंगों के ई-पास जारी किए जा रहे हैं। इन ई-पासों का उद्देश्य विभिन्न समूहों को प्राथमिकता के आधार पर विभिन्न क्षेत्रों में सुविधा और सुरक्षा प्रदान करना है।
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ई-पास की रंग व्यवस्था
1. सफेद रंग का ई-पास
वीआईपी, उच्च न्यायालय, विदेशी राजदूत, विदेशी नागरिक और प्रवासी भारतीयों के लिए सफेद रंग का ई-पास जारी किया जाएगा।
2. केसरिया रंग का ई-पास
अखाड़े और संस्थाओं को केसरिया रंग का ई-पास प्रदान किया जाएगा।
3. पीला रंग का ई-पास
कार्यदायी संस्थाओं, वेंडर, फूड कोर्ट और मिल्क बूथ के लिए पीले रंग का ई-पास जारी किया जाएगा।
4. आसमानी रंग का ई-पास
मीडिया कर्मियों के लिए आसमानी रंग का ई-पास प्रदान किया जाएगा।
5. नीला रंग का ई-पास
पुलिस बल के लिए नीला रंग का ई-पास दिया जाएगा।
6. लाल रंग का ई-पास
आपातकालीन सेवाओं और आवश्यक सेवाओं के लिए लाल रंग का ई-पास जारी किया जाएगा।
ई-पास के लिए आवश्यक दस्तावेज
व्यक्तिगत विवरण,कलर्ड पासपोर्ट फोटो,आधार कार्ड,पैन कार्ड, वाहन का रजिस्ट्रेशन प्रमाण पत्र, ड्राइविंग लाइसेंस की छाया प्रति
यूपी सरकार की नोडल आईटी संस्था यूपीडेस्को द्वारा इन ई-पासों की व्यवस्था की जा रही है, और अस्थायी मेला पुलिस स्थल पर अनुमोदित ई-पास को प्रिंट करके मेला पुलिस कार्यालय से उपलब्ध कराया जाएगा।
वाहन पार्किंग व्यवस्था
महाकुंभ मेला में श्रद्धालुओं की बड़ी संख्या को ध्यान में रखते हुए, सभी सेक्टरों में वाहन पार्किंग की व्यवस्था सुनिश्चित की गई है। ई-पास प्रणाली के तहत कैटेगरी के आधार पर वाहन पास के अनुमोदन किए जाएंगे। विभिन्न विभागों और कार्यदायी संस्थाओं के प्रतिनिधियों के वाहनों के लिए भी ई-पास जारी किए जाएंगे। इसके साथ ही, नोडल अधिकारियों द्वारा वाहन पास की प्रक्रिया की समीक्षा और सत्यापन किया जाएगा।
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सुरक्षा और सुव्यवस्था सुनिश्चित करना
महाकुंभ मेला 2025 के दौरान हर प्रकार की सुरक्षा, सुव्यवस्था और सुविधाओं का ध्यान रखते हुए प्रशासन पूरी तरह से तैयार है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का स्पष्ट निर्देश है कि देश-विदेश से आने वाले श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की असुविधा न हो। सभी विभागीय स्तर पर नोडल अधिकारी नियुक्त किए गए हैं, जो श्रद्धालुओं और अन्य जिम्मेदार लोगों की सुरक्षा और व्यवस्थाओं की निगरानी करेंगे।
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