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केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) ने 25 जून 2025 को एक बड़ा और महत्वपूर्ण निर्णय लिया है, जो कक्षा दसवीं के छात्रों के लिए बेहद महत्वपूर्ण है।
सीबीएसई के परीक्षा नियंत्रक, संयम भारद्वाज ने बताया कि 2026 से कक्षा दसवीं की बोर्ड परीक्षा साल में दो बार आयोजित की जाएगी।
यह निर्णय छात्रों के लिए एक नया अवसर लेकर आया है, जिससे वे अपनी तैयारी और प्रदर्शन को बेहतर बना सकते हैं।
📖 परीक्षा का नया फॉर्मेट
सीबीएसई ने कक्षा दसवीं की बोर्ड परीक्षा को दो सेशन ों में विभाजित करने का फैसला लिया है। पहले चरण की परीक्षा फरवरी माह में और दूसरे चरण की परीक्षा मई माह में आयोजित की जाएगी। य
ह नया फॉर्मेट छात्रों के लिए कई तरह के लाभ प्रदान करेगा, जिनमें सबसे प्रमुख यह है कि छात्र अपनी कमजोरियों को दूर करने के लिए दूसरे सेशन की परीक्षा में सुधार कर सकते हैं।
इससे छात्रों को एक अतिरिक्त मौका मिलेगा, जिससे वे अपनी असफलता या कम अंक प्राप्त करने की स्थिति में फिर से बेहतर प्रदर्शन कर सकते हैं।
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📝 पहले चरण की परीक्षा अनिवार्य, दूसरा वैकल्पिक
सीबीएसई ने यह भी स्पष्ट किया है कि छात्रों के लिए पहले चरण की परीक्षा में शामिल होना अनिवार्य होगा।
इसका मतलब यह है कि छात्रों को फरवरी माह में होने वाली परीक्षा में भाग लेना होगा, चाहे वे किसी भी कारण से उसमें अच्छा प्रदर्शन करें या नहीं।
इसके बाद, छात्रों को दूसरा मौका दिया जाएगा, लेकिन यह वैकल्पिक होगा। यदि छात्र पहले चरण की परीक्षा में संतुष्ट नहीं होते हैं, तो वे मई में होने वाली दूसरे चरण की परीक्षा में शामिल हो सकते हैं।
📊 बेहतर अंक का चयन होगा अंतिम
नए फॉर्मेट के अनुसार, छात्रों को पहले और दूसरे सेशन में से सबसे अच्छे अंक को अंतिम रूप से माना जाएगा।
इसका मतलब यह है कि यदि किसी छात्र का प्रदर्शन दूसरे सेशन में बेहतर होता है, तो उसे वही अंक दिए जाएंगे और पहले सेशन के अंक को छोड़ दिया जाएगा।
इस व्यवस्था से छात्रों को अधिक अवसर मिलेगा अपनी कमजोरियों को सुधारने का और वे अपनी पूरी क्षमता का उपयोग कर सकेंगे।
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📝 इंटरनल असेसमेंट केवल एक बार
सीबीएसई ने यह भी कहा है कि शैक्षणिक वर्ष के दौरान छात्रों का मूल्यांकन इंटरनल असेसमेंट के माध्यम से केवल एक बार ही किया जाएगा।
इसका मतलब यह है कि छात्रों को पूरे साल में एक ही बार अपनी इंटरनल परीक्षा से अंक मिलेंगे, जो उनकी कक्षा में उनके प्रदर्शन का मूल्यांकन करेगा।
इसके अतिरिक्त, बोर्ड परीक्षा के दोनों सेशन ों में छात्रों के प्रदर्शन का आंकलन किया जाएगा।
🗓️ 2026 से लागू होगा नया फॉर्मेट
सीबीएसई के नए फॉर्मेट के अनुसार, यह प्रणाली 2026 से लागू होगी। यानी, 2026 में कक्षा दसवीं के छात्रों को दो चरणों में बोर्ड परीक्षा का सामना करना पड़ेगा।
यह छात्रों के लिए एक बेहतरीन अवसर हो सकता है क्योंकि वे अपनी तैयारी को दो भागों में विभाजित कर सकते हैं और अपनी कमियों को सुधारने के लिए एक अतिरिक्त मौका पा सकते हैं।
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🎯 छात्रों के लिए फायदे
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दो बार परीक्षा देने का अवसर – छात्रों को दो बार परीक्षा देने का मौका मिलेगा, जिससे वे बेहतर प्रदर्शन कर सकते हैं।
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सबसे बेहतर अंक को अंतिम माना जाएगा – छात्रों को उनकी सबसे बेहतर परीक्षा के अंक ही मिलेंगे, जिससे उनके अंतिम परिणाम पर सकारात्मक असर पड़ेगा।
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अपने प्रदर्शन को सुधारने का मौका – यदि कोई छात्र पहले सेशन में अच्छे अंक नहीं ला पाता, तो वह दूसरे सेशन में अपना प्रदर्शन सुधार सकता है।
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