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सरकारी योजनाएं: भारत के विकास की कहानी में एक नया अध्याय जुड़ गया है। यह कहानी सिर्फ आर्थिक प्रगति की नहीं, बल्कि देश की महिलाओं, किशोरियों और बच्चों के स्वास्थ्य और सशक्तिकरण की है।
आज 17 सितंबर 2025 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 75वें जन्मदिन (प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का जन्मदिन) के अवसर पर एक ऐतिहासिक महाअभियान की शुरुआत हुई: 'स्वस्थ नारी, सशक्त परिवार' (Swasth Nari, Sashakt Parivar)। यह सिर्फ एक सरकारी कार्यक्रम नहीं बल्कि एक जन-आंदोलन है जिसका मकसद भारत के हर कोने तक बेहतर स्वास्थ्य और पोषण सेवाएं पहुंचाना है।
इस अभियान का नेतृत्व स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय और महिला और बाल विकास मंत्रालय मिलकर कर रहे हैं। यह महिला और बाल स्वास्थ्य के क्षेत्र में अब तक का सबसे बड़ा और व्यापक कार्यक्रम है जिसका लक्ष्य 2 अक्टूबर, 2025 तक गांधी जयंती तक हर परिवार में स्वास्थ्य और पोषण को मजबूत करना है।
क्यों है यह अभियान इतना महत्वपूर्ण
भारत ने पिछले कुछ दशकों में स्वास्थ्य के क्षेत्र में काफी प्रगति की है लेकिन आज भी महिलाओं और बच्चों से जुड़ी कई स्वास्थ्य चुनौतियां मौजूद हैं। नेशनल हेल्थ सर्वे में एनीमिया, कुपोषण और गैर-संचारी रोगों जैसी समस्याओं को चिन्हित किया गया है।
स्वस्थ नारी, सशक्त परिवार अभियान का जन्म इन्हीं कमियों को दूर करने के लिए हुआ है। इस पहल के तहत देशभर में 1 लाख से भी ज्यादा स्वास्थ्य शिविर लगाए जाएंगे।
ये शिविर सिर्फ जांच के लिए नहीं हैं बल्कि यह सुनिश्चित करने के लिए हैं कि हमारे देश की आधी आबादी यानी महिलाएं और बच्चे, पूरी तरह से स्वस्थ और सशक्त हों।
यह प्रधानमंत्री के 'विकसित भारत 2047' के विजन का एक अहम हिस्सा है, जहां एक स्वस्थ समाज ही सशक्त राष्ट्र का निर्माण कर सकता है।
यह अभियान सिर्फ इलाज पर नहीं, बल्कि रोकथाम और जागरूकता पर भी फोकस करता है। इसका मकसद लोगों को अपने स्वास्थ्य के प्रति जागरूक करना और उन्हें सही जानकारी देना है।
यही कारण है कि इसे एक 'जनभागीदारी अभियान' भी कहा जा रहा है जहां सिर्फ सरकार ही नहीं, बल्कि हर नागरिक की भागीदारी जरूरी है।
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अभियान का उद्देश्य
यह अभियान कई महत्वपूर्ण उद्देश्यों पर केंद्रित है:
व्यापक स्वास्थ्य जांच:
शिविरों में महिलाओं और बच्चों की सामूहिक जांच की जाएगी। इसमें एनीमिया, ब्लड प्रेशर, डायबिटीज और विभिन्न प्रकार के कैंसर (स्तन, गर्भाशय ग्रीवा) की स्क्रीनिंग शामिल है। इसका उद्देश्य बीमारियों का समय रहते पता लगाना और उनका इलाज शुरू करना है।
मातृ और शिशु स्वास्थ्य:
यह अभियान गर्भवती महिलाओं और नवजात शिशुओं की देखभाल पर विशेष ध्यान देता है। टीकाकरण, पोषण संबंधी परामर्श और प्रसवपूर्व देखभाल जैसी सेवाएं प्रदान की जाएंगी। इसका मकसद मातृ और शिशु मृत्यु दर को कम करना है।
पोषण और शिक्षा:
पोषण माह के साथ मिलकर यह अभियान लोगों को सही खान-पान, मासिक धर्म स्वच्छता और संतुलित आहार के बारे में शिक्षित करेगा। आंगनवाड़ी कार्यकर्ता, आशा कार्यकर्ता और स्वयं सहायता समूह इसमें महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे।
समुदाय की भागीदारी:
यह अभियान निजी अस्पतालों, स्थानीय नेताओं, और नागरिकों को शामिल करके एक मजबूत सामुदायिक सहायता प्रणाली बनाता है। 'निक्षय मित्र' जैसे स्वयंसेवक टीबी उन्मूलन और अन्य स्वास्थ्य पहलों में मदद करेंगे।
'स्वस्थ नारी, सशक्त परिवार'
मुख्य बिंदु | विवरण |
स्वास्थ्य शिविर | देशभर के आयुष्मान आरोग्य मंदिरों और सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों में 1,00,000 स्वास्थ्य शिविर लगाए जाएंगे। |
व्यापक स्क्रीनिंग | इसमें एनीमिया, डायबिटीज, ब्लड प्रेशर, कैंसर और सिकल सेल रोग जैसी बीमारियों की जांच की जाएगी। |
मातृ एवं शिशु स्वास्थ्य | टीकाकरण, पोषण परामर्श और मातृ एवं बाल संरक्षण कार्ड का वितरण किया जाएगा। |
डिजिटल निगरानी | 'सशक्त पोर्टल' के माध्यम से अभियान की वास्तविक समय की निगरानी सुनिश्चित की जाएगी। |
जनभागीदारी | निजी अस्पताल, स्वयंसेवक और समुदाय के लोग इस अभियान में सक्रिय रूप से भाग लेंगे। |
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सरकार की अन्य स्वास्थ्य योजनाएं
स्वस्थ नारी, सशक्त परिवार अभियान कोई अलग-थलग पहल नहीं है। यह भारत सरकार (PM Narendra Modi) की उन कई योजनाओं पर आधारित है, जो पिछले कुछ वर्षों में लोगों के स्वास्थ्य और कल्याण के लिए शुरू की गई हैं। ये सभी योजनाएं मिलकर एक मजबूत स्वास्थ्य प्रणाली का निर्माण करती हैं।
जननी शिशु सुरक्षा कार्यक्रम (JSSK):
- यह कार्यक्रम गर्भवती महिलाओं और नवजात शिशुओं को मुफ्त स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करता है, जिससे प्रसव संबंधी खर्चों को कम किया जा सके।
जननी सुरक्षा योजना (JSY):
- यह योजना आर्थिक रूप से कमजोर गर्भवती महिलाओं को संस्थागत प्रसव के लिए वित्तीय सहायता देती है, जिससे सुरक्षित प्रसव को बढ़ावा मिलता है।
सुरक्षित मातृत्व आश्वासन (SUMAN):
- इस पहल का उद्देश्य गर्भवती महिलाओं और शिशुओं को मुफ्त और गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करना है।
मिशन इंद्रधनुष:
- 2014 में शुरू हुआ यह मिशन बच्चों और गर्भवती महिलाओं के लिए टीकाकरण कवरेज को बढ़ाता है, उन्हें जानलेवा बीमारियों से बचाता है।
प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान (PMSMA):
- यह हर महीने की 9 तारीख को गर्भवती महिलाओं को मुफ्त प्रसवपूर्व जांच प्रदान करता है।
प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना (PMMVY):
- यह योजना गर्भवती महिलाओं और स्तनपान कराने वाली माताओं को आर्थिक सहायता प्रदान करती है।
सुपोषित ग्राम पंचायत अभियान:
- यह अभियान उन ग्राम पंचायतों को पुरस्कृत करता है जो मातृ और शिशु पोषण में उत्कृष्ट काम करते हैं।
ये सभी योजनाएं मिलकर एक ऐसा इकोसिस्टम बनाती हैं जहां स्वस्थ नारी सशक्त (women empowerement) परिवार अभियान को सफलता मिल सके। इस अभियान में आयुष, श्रम, शिक्षा, रक्षा और रेलवे जैसे मंत्रालयों का भी सहयोग रहेगा जिससे यह एक सर्व-समावेशी पहल बन सके। एम्स और रेलवे अस्पतालों जैसे प्रतिष्ठित संस्थान भी विशेषज्ञ सेवाएं प्रदान करेंगे जिससे क्वालिटी हेल्थकेयर हर किसी की पहुंच में हो।
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एक्सेक्यूटिव और टेक्नोलॉजी का रोल
इस अभियान का सबसे खास पहलू इसका टेक्नोलॉजी-ड्रिवन अप्रोच है। सभी स्वास्थ्य शिविरों की निगरानी 'सशक्त पोर्टल' के माध्यम से की जाएगी। यह पोर्टल एक डिजिटल प्लेटफॉर्म है जो पारदर्शिता और दक्षता सुनिश्चित करता है।
स्वास्थ्य कार्यकर्ता अपनी गतिविधियों की रिपोर्ट इसी पोर्टल पर करेंगे, जिससे पता चलेगा कि ग्राउंड लेवल पर काम कैसे चल रहा है। इसके अलावा दूरदर्शन, ऑल इंडिया रेडियो और सोशल मीडिया जैसे प्लेटफॉर्म्स का उपयोग जन जागरूकता फैलाने के लिए किया जाएगा।
यह सुनिश्चित करेगा कि अभियान का संदेश शहर से लेकर गांव तक, हर व्यक्ति तक पहुंचे। यह सिर्फ एक पखवाड़े भर चलने वाला अभियान नहीं है, बल्कि यह एक ऐसी नींव रखेगा जिस पर एक स्वस्थ और सशक्त समाज का निर्माण होगा।
यह देश के प्रत्येक कोने तक स्वास्थ्य और पोषण की सही पहुंच सुनिश्चित करने के लिए केंद्र और राज्य सरकारों की प्रतिबद्धता का प्रतीक है।
स्वस्थ नारी, सशक्त परिवार
स्वस्थ नारी सशक्त परिवार अभियान (Swasth Nari Sashakt Parivar Abhiyan) भारत के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है। यह दिखाता है कि एक राष्ट्र के रूप में हम सिर्फ आर्थिक महाशक्ति बनने का सपना नहीं देखते बल्कि एक ऐसा समाज बनाने का भी सपना देखते हैं जहां हर महिला और बच्चा स्वस्थ हो।
जब नारी सशक्त होती है, तो परिवार सशक्त होता है। जब परिवार सशक्त होते हैं, तो राष्ट्र सशक्त होता है। यह अभियान इसी सोच पर आधारित है और विकसित भारत 2047 के सपने को साकार करने की दिशा में एक बड़ा कदम है।
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