जबलपुर. मध्यप्रदेश हाईकोर्ट में पंचायत चुनाव (MP Highcourt on panchayat election) पर रोक लगाने संबंधी याचिका की सुनवाई हुई। हाईकोर्ट ने चुनाव पर तत्काल रोक लगाने संबंधी अर्जेंट याचिका (urgent petition) को खारिज कर दिया है। अब मामले की अगली सुनवाई 3 जनवरी को होगी। हाईकोर्ट ने वर्तमान में चल रही चुनाव प्रक्रिया (Panchayat Election Process) पर कोई रोक नहीं लगाई है। इसका असर होगा कि अगली सुनवाई तक नामांकन (Enrollment) समेत चुनाव चिंह बांटने की प्रक्रिया पहले की तरह चलती रहेगी।
सुनवाई में ये दलील दी गई
हाईकोर्ट में दलील दी गई कि जब चुनाव की प्रक्रिया एक बार शुरू हो जाती है तो धारा 243(0) के तहत इसमें दखल न देने का प्रावधान है। लेकिन विशेष परिस्थितियों या संविधान (Constitution) का पालन न होने की स्थिति में कोर्ट दखल दे सकता है। पर हाईकोर्ट ने ये दलील खारिज कर दी।
आरक्षण प्रक्रिया को चुनौती दी गई थी
चीफ जस्टिस रविविजय कुमार मलिमठ तथा जस्टिस विजय कुमार शुक्ला की बेंच ने अर्जेंट सुनवाई के आवेदन को खारिज किया है। गौरतलब है कि पांच याचिकाओं में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव को चुनौती दी गई थी। याचिका में कहा गया था कि राज्य सरकार ने पूर्व में तय आरक्षण (Panchayat Election Reservation controversy) लागू कर चुनाव करवाने के संबंध में अध्यादेश पारित किया है। सरकार ने ये अध्यादेश कांग्रेस सरकार (Congress govt) में निर्धारित आरक्षण को निरस्त कर लागू किया गया है। इस कारण प्रदेश सरकार का ये अध्यादेश पंचायत चुनाव एक्ट (Panchayat Election Act) का उल्लंघन करता है।
ये है व्यवस्था
शिवराज सरकार ने नया परिसीमन निरस्त कर दिया था। सरकार ने मध्यप्रदेश पंचायत राज एवं ग्राम स्वराज अध्यादेश 2021 लागू कर दिया है। इसके बाद जहां पिछले एक साल से चुनाव नहीं हुए ऐसे सभी जिले, जनपद या ग्राम पंचायतों में पुरानी व्यवस्था लागू होगी। यानी कि जो पद जिस वर्ग के लिए आरक्षित है वही रहेंगे।
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