महात्मा गांधी हार्टीकल्चर यूनिवर्सिटी में नियम विरूद्ध नौकरी पाने वाले असिस्टेंट प्रोफेसरों पर कार्रवाई की तैयारी है। आचार संहिता के बाद उनकी नौकरी पर फैसला लिया जा सकता है। असिस्टेंट प्रोफेसर भर्ती में गड़बड़ी के मामले में पिछले साल कुलपति डॉ. आरएस. कुरील को बर्खास्त किया जा चुका है। तब से सबकी नजरें इस भर्ती पर टिकी है। पिछले महीने विवि में नए कुलपति की नियुक्ति हुई। इसके बाद प्रदेश में निकाय चुनाव व पंचायत चुनाव को लेकर आचार संहिता लगी।
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असिस्टेंट प्रोफेसर भर्ती में बड़ी गड़बड़ी
इस माह यह समाप्त हो जाएगी। इसके बाद असिस्टेंट प्रोफेसर भर्ती के मामले में विवि से निर्णय लिया जा सकता है। हार्टीकल्चर यूनिवर्सिटी में जुलाई 2023 में असिस्टेंट प्रोफेसर की भर्ती निकाली गई थी। पिछले साल भर्ती हुई। नियमों की अनदेखी के कारण यह भर्ती शुरुआत से ही विवादों में रही। इस पर मनमाने नियम बनाकर उम्मीदवारों को नौकरी देने का आरोप लगा।
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तीन कुलपतियों की बनी कमेटी
इसके बाद मामला राजभवन पहुंचा। इसे लेकर राजभवन से तीन कुलपतियों की कमेटी बनाई गई। इनकी रिपोर्ट के आधार पर कुलपति कुरील को बर्खास्त किया गया। इसके बाद इस विवि में छह महीने से अधिक समय तक कार्यवाहक कुलपति रहे।
इस वजह से जांच रिपोर्ट के आधार पर असिस्टेंट प्रोफेसर भर्ती को लेकर कार्रवाई नहीं हुई। जानकारों के मुताबिक कुलपतियों की जांच रिपोर्ट में इस भर्ती को लेकर खामियां मिली। जैसे, जिस स्कोर कार्ड के आधार पर असिस्टेंट प्रोफेसर की भर्ती की गई है उसमें पीएचडी के बराबर ही नेट क्वालिफाई अभ्यर्थियों को अंक दिए गए थे।
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