अरुण तिवारी, RAIPUR. विष्णुदेव साय सरकार ने छह माह पूरे कर लिए हैं। सरकार बनने के बाद सीएम विष्णुदेव साय ने पहले सौ दिनों में कुछ ऐसे फैसले लिए जो लोकसभा की 11 में से 10 सीट जीतने में अहम माने जा रहे हैं। साय ने इन फैसलों में मोदी की गारंटी को पूरा कर लोगों में भरोसा पैदा करने की छवि बनाने की कोशिश की। अब चुनाव से फारिग होने के बाद एक बार फिर साय ने 100 दिनों में अहम फैसले लेने का टारगेट रखा है। हालांकि, सरकार ने अगले छह महीने का वर्कप्लान बनाया है लेकिन उसमें पहले 100 दिन यानी सितंबर तक 21 बड़े फैसले लेने की तैयारी की है। ये फैसले ऐसे हैं जिनमें बहुत ज्यादा बजट की जरुरत नहीं होगी। सरकार इन 100 दिनों में कुछ अहम नियुक्तियां भी करने वाली है। इसके अलावा अगले छह महीने में होने वाले नगरीय निकाय चुनाव को देखते हुए भी कुछ कानूनों में बदलाव भी किया जा सकता है।
100 दिनों में ये फैसले लेगी सरकार...
नगर पालिक निगम अधिनियम में बदलाव : नगर पालिक निगम अधिनियम में बदलाव किया जाएगा, इससे निकाय चुनाव भी ईवीएम से किए जा सकेंगे।
- मेयर के डायरेक्ट इलेक्शन : नगर पालिक निगम अधिनियम में एक संशोधन भी किया जा सकता है। इसके तहत मेयर और नगर पालिका अध्यक्षों के चुनाव सीधे जनता के वोट से होंगे। यानी प्रत्यक्ष प्रणाली लागू हो सकती है।
- बदलेगा धर्मांतरण कानून : सरकार धर्मांतरण कानून को और सख्त बनाने जा रही है। इसका मसौदा तैयार किया जा रहा है। सरकार इस पर मुहर लगा सकती है।
- सीजी पीएससी के चेयरमैन की नियुक्ति : सरकार सीजी पीएससी के अध्यक्ष की नियुक्ति भी करेगी। पिछली सरकार के समय पीएससी के रिजल्ट पर सवाल उठा था और अध्यक्ष टामन सिंह को हटा दिया गया था। अब इस केस की जांच सीबीआई कर रही है।
- राज्य निर्वाचन आयुक्त की नियुक्ति : राज्य निर्वाचन आयुक्त का पद पिछले 8 महीनों से खाली है। नवंबर_दिसंबर में निकाय चुनाव हैं। समय पर चुनाव कराने के लिए निर्वाचन आयुक्त की नियुक्ति सरकार की प्राथमिकता में है।
- डीजीपी को एक्सटेंशन या नए डीजीपी की नियुक्ति : डीजीपी अशोक जुनैजा का कार्यकाल 5 सितंबर को पूरा हो रहा। सरकार को इस बारे में भी फैसला लेना है। नए डीजीपी की नियुक्ति होगी या फिर जुनैजा को एक्सटेंशन दिया जाएगा, इस संबंध में सरकार फैसला करेगी। जुनैजा को भूपेश बघेल सरकार ने डीजीपी बनाया था।
- बड़ी प्रशासनिक सर्जरी : राज्य सरकार बड़ी प्रशासनिक सर्जरी भी करने वाली है। कुछ जिलों के कलेक्टर तो कुछ जिलों के एसपी बदले जाएंगे। कुछ सचिव भी इधर से उधर किए जा सकते हैं।
- मंत्रिमंडल विस्तार : सीएम अपनी टीम का विस्तार भी कर सकते हैं। फिलहाल बृजमोहन अग्रवाल के इस्तीफे के बाद एक पद खाली होगा। सरकार उस पद पर एक मंत्री बना सकती है।
- 10 हजार शिक्षकों की भर्ती : आचार संहिता हटने के बाद सरकार स्कूली शिक्षा पर विशेष फोकस कर रही है। दस हजार शिक्षकों को भर्ती करने की तैयारी की जा रही है।
- सरकारी विभागों के खाली पदों पर भर्ती : सरकारी विभागों में जो पद खाली पड़े हैं उन पर नियुक्ति की जाएगी। इस संबंध में सभी विभागों से प्रस्ताव तैयार करने को कहा गया है।
- व्यापमं और पीएससी परीक्षाओं के रिजल्ट घोषित : व्यापमं और पीएससी ने जो परीक्षाएं ली हैं उनके रिजल्ट घोषित कर नियुक्ति की प्रक्रिया शुरू होगी।
- आदिवासियों को चरण पादुकाएं : सरकार आदिवासियों को चरण पादुकाएं बांटने वाली है। इस फैसले पर भी मुहर लगेगी।
- विजन डाक्यूमेंट को अंतिम स्वरुप : सरकार विजन डाक्यूमेंट 2047 तैयार कर रही है। इसके ड्राफ्ट को अंतिम रुप दिया जाएगा। एक नवंबर को विजन डाक्यूमेंट जारी होगा।
- बस्तर में 250 किलोमीटर सड़क निर्माण : नक्सली इलाके बस्तर में सरकार 250 कलोमीटर सड़क बनाने जा रही है। पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग इसमें फंड दे रहा है। बाकी केंद्र सरकार से फंड मांगने के लिए प्रस्ताव भेजा जा रहा है।
- हर विभाग में विजलेंस सिस्टम : सरकार विभागों की प्रक्रिया को पारदर्शी बनाने के लिए हर विभाग में विजलेंस सिस्टम लागू करने वाली है। पंजीयन विभाग में इसकी शुरुवात हो चुकी है।
- जनता की शिकायतों के लिए हर जिले में नोडल अधिकारी की नियुक्ति : जनता की शिकायतों और समस्याओं को लेकर अधिकारियों को जवाबदेह बनाया जा रहा है। हर जिले में जनता की समस्याएं सुनने और दूर करने के लिए नोडल अधिकारी की नियुक्ति होगी।
- चुनिंदा निगम मंडलों में नियुक्ति : राजनीतिक नजरिए अहम निगम मंडलों में नियुक्तियां की जाएंगी।
- विधायकों को संसदीय सचिव बनाना : विधायकों को संसदीय सचिव बनाया जा रहा है। सरकार इस संबंध में फैसला ले सकती है।
- मीसाबंदियों को एरियर : सरकार मीसाबंदियों को एरियर देने वाली है। यह पांच का एरियर होगा। भूपेश बघेल सरकार ने मीसाबंदियों की पेंशन बंद कर दी थी।
- सीएम समेत सभी मंत्री तीन दिन मंत्रालय में बैठेंगे : सीएम और सभी मंत्री सप्ताह के तीन दिन मंत्रालय में बैठेंगे। सीएम ये फैसला लेने वाले हैं।
- इन्वेस्टर समिट बुलाने की तैयारी : सरकार युवाओं को रोजगार देने के लिए अपने राज्य निवेश आमंत्रित करना चाहती है। इसके लिए इन्वेस्टर समिट बुलाने की तैयारी की जा रही है। इस पर भी सरकार को फैसला लेना है। इसके अलावा छत्तीसगढ़ के युवाओं को इन उद्योगों में प्राथमिकता मिले,इसके लिए भी नियमों में बदलाव किया जाएगा।
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