छत्तीसगढ़ के कांकेर जिले में नाबालिग छात्रा के गर्भवती होने का मामला सामने आया है। हॉस्टल में रहने वाली एक नाबालिग छात्रा के गर्भवती होने के बाद विभाग में हड़कंप मच गया है।
हालांकि पहले को हॉस्टल की संचालिका ने पूरे मामले को छिपाने की कोशिश की। ऐसा करते हुए वॉर्डन ने गर्भवती छात्रा को उसके घर भेज दिया। इसके बाद छात्रा का गर्भपात करवा दिया।
इस मामले में विभागीय जांच के आदेश दिए गए हैं और हॉस्टल संचालिका को निलंबित कर दिया गया है। इस पूरे घटना का आरोपी कौन है इसका अभी खुलासा नहीं हुआ है।
आवासीय विद्यालय में रहकर पढ़ती थी छात्रा
आपको बता दें कि यह मामला कांकेर जिले के पखांजूर का है। छात्रा यहां एक गांव के आवासीय विद्यालय में रहकर पढ़ाई करती थी। छात्रा कि उम्र 16 साल बताई जा रही है। वहीं छात्रा के गर्भवती होने का मामला सामने आया तो हॉस्टल की संचालक ने उसे घर भेज दिया। इसके बाद परिजनों ने छात्रा का गर्भपात करवा दिया। छात्रा कब गर्भवती हुई इसकी जानकारी छात्रा भी नहीं दे पाई है।
स्कूल भवन को छात्रावास में बदला
कांकेर जिले के एक गांव में पिछले दो साल से कन्या आवासीय विद्यालय का संचालन हो रहा है। छात्रावास के भवन का अब तक निर्माण नहीं हो पाया है। इसके चलते गांव में ही पहले से संचालित हायर सेकेंडरी स्कूल में ही बालिकाओं को पढ़ाया जा रहा है। उसी परिसर में माध्यमिक शाला भवन को बालिकाओं के छात्रावास में बदल दिया गया है।
छात्रावास अधीक्षिका निलंबित
कांकेर कलेक्टर नीलेश कुमार क्षीरसागर ने छात्रावास अधीक्षिका विनीता कुजूर को निलंबित कर पखांजूर SDM अंजोर सिंह पैकरा की अध्यक्षता में 5 सदस्यीय जांच दल गठित किया है। जांच दल दो दिन में पूरे मामले को लेकर मामले की जांच कर अपनी रिपोर्ट सौंपेगी।
करीब तीन महीने बाद मामला सामने आया
छात्रा के गर्भवती होने की सही डेट नहीं पता चली है। बताया जा रहा है कि गर्भवती होने के बाद छात्रा कई महीनों तक हॉस्टल में ही रही। इस दौरान अप्रैल महीने में जब छात्रा का पेट बढ़ने लगा तो वॉर्डन को इसकी जानकारी हुई। जिसके बाद वार्डन ने तुरंत छात्रा के परिजनों को बुलाया और घर भेज दिया। वार्डन के कहने पर परिजनों ने जिले से बाहर जाकर गर्भपात करवा दिया।
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विधायक से शिकायत के बाद खुला मामला
ग्रामीण गर्भपात को लेकर चर्चा करने लगे। 12 जुलाई को जब इस पूरे मामले की शिकायक स्थानीय लोगों ने विधायक विक्रम उसेंडी से की तो मामला सामने आया। विधायक ने इस पूरे मामले में विभाग के अधिकारियों से रिपोर्ट मांगी जिसके बाद मामले का खुलासा हुआ। जांच के दौरान हॉस्टल में सुरक्षा के कोई इंतजाम नहीं मिले हैं।
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