छत्तीसगढ़ की डॉ. जयमति कश्यप को पीएम मोदी ने किया सम्मानित

लोकमाता देवी अहिल्याबाई होल्कर की 300वीं जयंती के ऐतिहासिक अवसर पर छत्तीसगढ़ के कोंडागांव जिले से ताल्लुक रखने वाली जनजातीय महिला कलाकार, डॉ. जयमति कश्यप, को पीएम मोदी द्वारा 'राष्ट्रीय देवी अहिल्या सम्मान' से नवाज़ा गया।

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Harrison Masih
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PM Modi honoured Dr. Jayamati Kashyap  Chhattisgarh the sootr
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लोकमाता देवी अहिल्याबाई होल्कर की 300वीं जयंती के ऐतिहासिक अवसर पर शुक्रवार को भोपाल के जंबूरी मैदान में महिला सशक्तिकरण महासम्मेलन का भव्य आयोजन किया गया। इस समारोह की खास बात यह रही कि छत्तीसगढ़ के कोंडागांव जिले से ताल्लुक रखने वाली जनजातीय महिला कलाकार, डॉ. जयमति कश्यप, को भी 'राष्ट्रीय देवी अहिल्या सम्मान' से नवाज़ा गया। यह पुरस्कार उन्हें जनजातीय, लोक और पारंपरिक कलाओं में उल्लेखनीय योगदान के लिए प्रदान किया गया।

इस गरिमामयी कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहे। उन्होंने देशभर से आईं महिला प्रतिभाओं को सम्मानित करते हुए महिला शक्ति और सांस्कृतिक धरोहर के महत्व को रेखांकित किया।

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अहिल्याबाई होल्कर की विरासत से प्रेरित 

मध्यप्रदेश शासन के संस्कृति विभाग द्वारा वर्ष 1996-97 में शुरू किया गया ‘राष्ट्रीय देवी अहिल्या सम्मान’, उन महिला विभूतियों को प्रदान किया जाता है जो समाज, संस्कृति, कला, साहित्य, शिक्षा, महिला सशक्तिकरण और जनकल्याण के क्षेत्र में विशिष्ट योगदान दे रही हैं। पुरस्कार के तहत प्रशस्ति पत्र और ₹5 लाख की सम्मान राशि दी जाती है।

डॉ. जयमति कश्यप ने न केवल अपनी जनजातीय पहचान को बनाए रखते हुए बस्तर की पारंपरिक कलाओं को नई ऊंचाई दी है, बल्कि वे आदिवासी महिलाओं को कला के माध्यम से आत्मनिर्भर बनाने में भी लगातार सक्रिय रही हैं। उनके कार्यों ने छत्तीसगढ़ की सांस्कृतिक पहचान को राष्ट्रीय मंच पर गौरवान्वित किया है।

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पीएम मोदी ने सराहा 

अपने संबोधन में प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, "लोकमाता अहिल्याबाई का जीवन हमें सिखाता है कि महिला शक्ति जब सामाजिक सेवा और संस्कृति से जुड़ती है, तो वह एक प्रेरणादायी युग का निर्माण करती है। आज देश की अनेक महिलाएं, खासकर आदिवासी अंचलों से, अपनी कला और परंपराओं से भारत को गौरवशाली बना रही हैं।"

उन्होंने यह भी कहा कि यह सम्मेलन न केवल सम्मान का अवसर है, बल्कि महिला सशक्तिकरण की चेतना को विस्तार देने का एक पर्व है।

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डॉ. जयमति कश्यप की उपलब्धियाँ

बस्तर की पारंपरिक शिल्प और चित्रकला में विशेषज्ञता

जनजातीय महिलाओं को कला के ज़रिए रोज़गार से जोड़ने का कार्य

राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय मंचों पर छत्तीसगढ़ की लोकसंस्कृति का प्रतिनिधित्व

यह सम्मान न केवल डॉ. जयमति कश्यप की मेहनत और समर्पण का प्रतीक है, बल्कि यह छत्तीसगढ़ की जनजातीय संस्कृति और महिला प्रतिभाओं के लिए भी गर्व का क्षण है।

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