नगरीय निकायों में पदस्थ इंजीनियरों के प्रमोशन नियम बदले

नगरीय निकायों में पदस्थ इंजीनियरों के प्रमोशन को लेकर नियमों में बड़े बदलाव किए गए हैं। अब EE से ENC तक सिर्फ प्रमोशन, AE के 50 प्रतिशत और सब इंजीनियर के पांच फीसदी पद प्रमोशन से भरे जाएंगे....

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Amresh Kushwaha
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Engineers Promotion rules changed
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मध्य प्रदेश में नगरीय निकायों में पदस्थ इंजीनियरों के प्रमोशन को लेकर राज्य सरकार ने नए नियम बनाए हैं। साथ ही इनकी भर्ती को भी लेकर बड़े बदलाव किए हैं। आपको बता दें कि सरकार ने 9 साल बाद नियमों में संशोधन किया है। जाने क्या है नया नियम...

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प्रमोशन व भर्ती के नए नियम

नए नियम के तहत कार्यपालन यंत्री ( Executive Engineer ) और उससे बड़े कैडर के इंजीनियरों के पद सिर्फ प्रमोशन से ही भरे जाएंगे। वहीं, असिस्टेंट इंजीनियर 50 फीसदी पद प्रमोशन और बाकी के 50 फीसदी सीधी भर्ती से भरे जा सकेंगे। नियमों में यह भी तय किया है कि सब इंजीनियर के सिविल के सिर्फ 5 फीसदी पद प्रमोशन से भरेंगे। इसके अलावा सभी पदों पर सीधी भर्ती से ही नियुक्ति दी जाएगी।

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पदोन्नति का नया फॉर्मूला

  • प्रमुख अभियंता का एक पद प्रमोशन से भरा जाएगा।
  • मुख्य अभियंता के पांच पद प्रमोशन से भरे जाएंगा।
  • अधीक्षण यंत्री के 24 पद प्रमोशन से भरे जाएंगे।
  • कार्यपालन यंत्री के 50 पद प्रमोशन से भरे जाएंगे।
  • सहायक यंत्री सिविल के 142 पदों में से 50 प्रतिशत सीधी भर्ती और 50 प्रतिशत प्रमोशन से भरे जाएंगे।
  • सहायक यंत्री इलेक्ट्रिकल के 13 पद और सहायक यंत्री मैकेनिकल के तीन पद प्रमोशन से भरे जाएंगे।
  • उप यंत्री सिविल के 588 पदों में से 95 प्रतिशत सीधी भर्ती और 5 प्रतिशत प्रमोशन से भरे जाएंगे।
  • उप यंत्री इलेक्ट्रिकल के 111 पद सीधी भर्ती से भरे जाएंगे।
  • उप यंत्री मैकेनिकल के 22 पद सीधी भर्ती से भरे जाएंगे।

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नियमों में यह भी है खास

संशोधन के तहत सहायक यंत्री पद के लिए यह व्यवस्था भी तय की गई है कि 33 प्रतिशत डिप्लोमा धारक उपयंत्रियों में से 13 प्रतिशत ऐसे होंगे। जिन्होंने सेवा के दौरान अभियांत्रिकी उपाधि पाई है। जॉइन करने के पहले इंजीनियरिंग की डिग्री वाले रखेंगे और 4 प्रतिशत ड्राफ्ट्समैन होंगे। उप यंत्री पद के लिए 5 साल की सेवा के बाद डिप्लोमा, डिग्री धारक भी लाभ पा सकेंगे।

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जानें पहले क्या थे नियम

  • मध्यप्रदेश राज्य नगरीय यांत्रिकी सेवा (भर्ती और सेवा की शर्तें) नियम 2015 में किए गए संशोधन में कहा गया है कि सहायक यंत्री (सिविल, विद्यत और मैकेनिकल) तथा उप यंत्री (सिविल, विद्युत और मैकेनिकल) के अलग-अलग पदों के लिए अलग-अलग पदों के आधार पर सूची तैयार की जाएगी।
  • इसके आधार पर जिस कैडर में रिक्ति होगी, उसी में वरिष्ठता के आधार पर पदोन्नति की पदक्रम सूची बनाई जाएगी। अगर सहायक यंत्री सिविल के पद पर पदोन्नति दी जानी है तो उपयंत्री सिविल कैडर के ही सब इंजीनियरों की सूची तैयार होगी।
  • इसी तरह की स्थिति विद्युत और मैकेनिकल के मामले में भी रहेगी। इसके विपरीत कार्यपालन यंत्री के पद पर पदोन्नति के लिए सिविल, विद्युत, मैकेनिकल के सहायक यंत्रियों की संयुक्त सीनियरिटी लिस्ट तैयार होगी और इसके आधार पर पदोन्नति दी जाएगी।

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