BHOPAL. कर्नल सोफिया कुरैशी को लेकर की गई अभद्र टिप्पणी मंत्री विजय शाह की कुर्सी छीन सकती है। टिप्पणी को लेकर देशभर में रोष है। पार्टी नाराज है और हाईकोर्ट ने संज्ञान लेकर रही सही कसर पूरी कर दी है।
कोर्ट के निर्देश पर जिन धाराओं में शाह पर एफआईआर होने जा रही है, वे गैरजमानती हैं। जाहिर है मंत्रीजी की गिरफ्तारी होगी। उसके बाद कोर्ट से जमानत मिलेगी या फिर जेल जाना पड़ेगा…
ऐसे में तय है कि विजय शाह का मंत्री पद जाएगा ही जाएगा। TheSootr के सोर्स भी इसकी पुष्टि कर रहे हैं। तो आइए हम आपको बताते हैं कि अब या तब की बेला में वे कौन से कारण हैं जो शाह की कुर्सी लेकर रहेंगे यानी उनका इस्तीफा तय है…
इन धाराओं पर होगी मंत्री विजय शाह पर एफआईआर दर्ज
BNS की धारा 152
धारा 152 बीएनएस के तहत सजा आजीवन कारावास या 7 साल तक का कारावास, और जुर्माना हो सकता है. यह सजा उन व्यक्तियों को दी जाती है जो भारत की संप्रभुता, एकता और अखंडता को खतरे में डालने वाले कार्य करते हैं, या अलगाव या अलगाववादी आंदोलन को भड़काने का प्रयास करते हैं।
धारा 196,1(B)
धारा 196, 1 b BNS के तहत सजा 3 साल तक का कारावास, जुर्माना या दोनों हो सकती है। अगर अपराध किसी पूजा स्थल में या धार्मिक अनुष्ठान के दौरान किया जाता है तो सजा 5 साल तक का कारावास और जुर्माना हो सकता है। यह धारा धर्म, जाति, जन्म स्थान, निवास, भाषा आदि के आधार पर विभिन्न समूहों के बीच शत्रुता को बढ़ावा देने और सद्भाव को बाधित करने वाले कार्यों के लिए दंड निर्धारित करती है।
धारा 197 BNS
यदि कोई व्यक्ति धर्म, जाति, भाषा या समुदाय के आधार पर राष्ट्रीय एकता को नुकसान पहुंचाने वाले बयान देता है या कार्रवाई करता है, तो उसे तीन साल तक की कैद या जुर्माना या दोनों की सजा हो सकती है। यदि यह अपराध धार्मिक स्थल पर होता है तो सजा पांच साल तक बढ़ सकती है। MP News