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इंदौर के ट्रांसपोर्ट कारोबारी राजा रघुवंशी के घर गुरुवार शाम एक नकली आरपीएफ टीआई पहुंचा और खुद को उनका परिचित बताकर परिवार से बातचीत करने लगा। खाकी वर्दी और कंधे पर तीन स्टार लगाए यह व्यक्ति असल में राजस्थान के रतनगढ़ का निवासी बजरंग लाल जाट निकला, जो सोशल मीडिया पर राजा की मौत की खबर देखकर परिवार को ठगने के इरादे से आया था।
यह है पूरा मामला
राजा रघुवंशी के भाई विपिन रघुवंशी ने बताया कि 14 अगस्त की शाम लगभग 6 बजे हमारे घर पर एक नकली आरपीएफ टीआई आया था। वह जिस समय घर पर आया तो उस समय मेरे पिता व मां घर पर अकेले थे। वह चूंकि एक बार पहले भी आ चुका था तो उसे घर में अंदर आने दिया। इसके बाद उसने मेरे पिता से परिवार के सदस्यों व अन्य लोगों के बारे में जानकारी लेना शुरू कर दी। नकली टीआई पूछ रहा था कि घर पर कौन–कौन है और बच्चे कहां पर हैं। आपके बेटे कहां पर हैं। इस पर मेरे पिता ने कहा कि मेरे बेटे सचिन और विपिन रघुवंशी को बुलवा लेता हूं आप उनसे बात कर लेना। तो नकली टीआई कहने लगा कि आप उन दोनों को मत बुलाओ। मुझे उनसे कोई काम नहीं है, आप तो मुझे जानकारी दे दो।
जब थाने जानकारी भेजी तो हुआ खुलासा
मां उमा रघुवंशी ने मोबाइल पर बेटे विपिन रघुवंशी को इसकी सूचना दी। विपिन को जब घर पर किसी टीआई के पहुंचने और परिवार के बारे में पूछताछ करने की जानकारी मिली तो वे तुरंत घर पहुंचे। इसके बाद विपिन ने नकली टीआई का आई कार्ड मांगा और उसका फोटो लेकर राजेंद्रनगर थाने भेजा। तब वहां से पुलिस ने बताया कि यह कोई पुलिस अफसर नहीं है। यह नकली टीआई बनकर पहुंचा है। इस पर हम जब उसे थाने लेकर पहुंचे तब मामले का खुलासा हुआ।
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पहचान पत्र मांगा तो बदलने लगा बातें
पूछताछ में आरोपी ने खुद को रेलवे में पदस्थ बताते हुए उज्जैन में पोस्टिंग की बात कही और राजा से 2021 में महाकाल मंदिर में मुलाकात होने का दावा किया। विपिन ने बताया कि उस समय कोरोना लॉकडाउन के कारण राजा घर से बाहर नहीं जाते थे, जिससे शक गहरा गया। जब पहचान पत्र मांगा गया तो आरोपी कोई दस्तावेज नहीं दिखा सका और बात टालने लगा।
राजा की मौत का दुख बांटने का बहाना
आरोपी ने कहा कि वह राजा की मौत का दुख साझा करने आया है, लेकिन सवाल-जवाब में उलझने पर बहस करने लगा। परिजनों ने तुरंत राजेंद्र नगर पुलिस को सूचना दी।
पुलिस जांच में निकला झूठा
टीआई नीरज बिरथरे ने सख्ती से पूछताछ की तो बजरंग लाल ने कबूल किया कि वह रेलवे का कर्मचारी नहीं है और न ही पुलिस अधिकारी। वह सोशल मीडिया से मिली जानकारी के आधार पर परिवार को ठगने आया था। जांच में यह भी सामने आया कि वह पहले भी नकली पुलिसकर्मी बनकर वारदात कर चुका है।
राजा रघुवंशी की मौत का मामला
गौरतलब है कि इंदौर के कारोबारी राजा रघुवंशी की 11 मई को शादी हुई थी और 20 मई को वह पत्नी सोनम के साथ हनीमून के लिए मेघालय गए थे। 22 मई को सोहरा घूमने के दौरान उनका शव शिलॉन्ग में खाई में मिला था।