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राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) ने अपने शताब्दी वर्ष (2025-26) के भव्य आयोजनों की रूपरेखा तय कर दी है। शनिवार को इंदौर में संघ के केंद्रीय पदाधिकारी भैयाजी जोशी ने संघ के अनुषांगिक संगठनों के पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं के साथ अहम बैठक की। इस बैठक में आगामी एक वर्ष में होने वाले आयोजनों का विस्तृत खाका खींचा गया।
21 सितंबर से 5 अक्टूबर तक विजयदशमी उत्सव
राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ ने तय किया है कि 21 सितंबर से 5 अक्टूबर तक विजय दशमी उत्सव कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। इस बार पहली बार 15 से 30 वर्ष आयु वर्ग के युवाओं के लिए विशेष शिविर भी लगाए जाएंगे। इसके अलावा, 1 से 15 जनवरी 2026 तक हिंदू सम्मेलन होंगे। संघ ने यह भी निर्णय लिया है कि शताब्दी वर्ष में सामाजिक सम्मेलन, 10 दिनों का घर-घर संपर्क अभियान और नागरिक संवाद कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। स्वयंसेवक गांवों, शहरों और बस्तियों में जाकर समाज को जोड़ेंगे।
समाज के हर वर्ग को जोड़ने पर फोकस
बैठक में भैयाजी जोशी ने कहा कि शताब्दी वर्ष का उद्देश्य समाज के हर वर्ग की भागीदारी सुनिश्चित करना है। संघ गांव-गांव तक पहुंचेगा और किसानों, व्यापारियों, महिलाओं, प्रोफेशनल्स और युवाओं को सीधा जोड़ेगा। 2 अक्टूबर दशहरे से शताब्दी वर्ष समारोह की शुरुआत होगी, इस दिन गांवों और शहरों में पथ संचलन और विशेष आयोजन होंगे।
शाखाओं का विस्तार और पंच परिवर्तन पर जोर
बैठक में यह भी तय हुआ कि
गांवों में शाखाओं की संख्या बढ़ाई जाएगी।
यूनिवर्सिटी और प्रोफेशनल संस्थानों के छात्रों को संघ से जोड़ा जाएगा।
शताब्दी वर्ष में पंच परिवर्तन (स्वदेशी, पर्यावरण, नागरिक कर्तव्य, सामाजिक समरसता और कुटुंब प्रबोधन) पर विशेष फोकस रहेगा।
वर्तमान में मालवा प्रांत में 3046 स्थानों पर 4636 शाखाएं संचालित हैं। शताब्दी वर्ष में इनकी संख्या और बढ़ाई जाएगी।
बैठक में शामिल रहे संगठन
बैठक में बजरंग दल, विहिप, भाजपा, सेवा भारती सहित संघ परिवार के अन्य संगठनों के पदाधिकारी और कार्यकर्ता मौजूद थे।