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ब्राजील की स्वतंत्रता 7 सितंबर 1822 को घोषित हुई थी और यह लैटिन अमेरिका के इतिहास में एक अहम पल था। इस दिन ब्राजील पुर्तगाल के नियंत्रण से बाहर होकर एक स्वतंत्र देश बन गया था।
खास बात यह थी कि ब्राजील की स्वतंत्रता बहुत कम हिंसा और संघर्ष के साथ हासिल हुई, जबकि दूसरे लैटिन अमेरिकी देशों को स्वतंत्रता पाने के लिए लंबी और कठिन लड़ाई लड़नी पड़ी थी।
ब्राजील के स्वतंत्रता संग्राम में जो मुख्य भूमिका निभाने वाले लोग थे, उनमें से एक थे डोम पेड्रो। वह उस समय ब्राजील के राजा थे और उन्होंने स्वतंत्रता की घोषणा की थी। इसके बाद ब्राजील ने खुद को एक स्वतंत्र साम्राज्य के रूप में स्थापित किया, और यह एक बड़ा बदलाव था।
ब्राजील की स्वतंत्रता ने न सिर्फ उसे एक स्वतंत्र देश बना दिया, बल्कि इसका पूरे क्षेत्र पर भी गहरा असर पड़ा। यह घटनाक्रम लैटिन अमेरिका के बाकी देशों के लिए एक उदाहरण बन गया और इसने उनके संघर्षों को प्रभावित किया।
ब्राजील के गुलाम होने की कहानी
ब्राजील 1500 में पुर्तगाली नाविक पेड्रो अल्वारेस काब्राल द्वारा खोजा गया था। उन्होंने इसे पुर्तगाल के राजा मैनुअल प्रथम के लिए दावा किया था। इसके बाद ब्राजील पुर्तगाली साम्राज्य का एक महत्वपूर्ण उपनिवेश बन गया।
पुर्तगालियों ने ब्राजील की प्राकृतिक संपदा विशेष रूप से चीनी और बाद में सोने और हीरे का दोहन किया। उपनिवेशी शासन के दौरान ब्राजील की अर्थव्यवस्था गन्ना और सोने के उत्पादन पर आधारित थी, जिसमें अफ्रीकी दासों की श्रम शक्ति का बड़े पैमाने पर उपयोग किया गया।
18वीं और 19वीं सदी की शुरुआत तक, ब्राजील पुर्तगाल के लिए एक आर्थिक रत्न था, लेकिन उपनिवेशी प्रशासन ने स्थानीय लोगों को सीमित स्वायत्तता दी। उच्च कर, आर्थिक प्रतिबंध और प्रतिनिधित्व की कमी ने ब्राजीलियाई लोगों में असंतोष को जन्म दिया। इस असंतोष ने स्वतंत्रता के लिए आधार तैयार किया।
पुर्तगाली राजपरिवार का ब्राजील में आगमन
ब्राजील की स्वतंत्रता की कहानी में एक महत्वपूर्ण मोड़ 1807 में आया, जब नेपोलियन बोनापार्ट के नेतृत्व में फ्रांसीसी सेना ने पुर्तगाल पर आक्रमण किया। पुर्तगाल ने नेपोलियन के महाद्वीपीय नाकाबंदी में शामिल होने से इनकार कर दिया था, जिसके परिणामस्वरूप पुर्तगाली राजपरिवार को लिस्बन से भागना पड़ा।
ब्रिटिश सहायता के साथ, राजा जोआओ VI, उनकी पत्नी और उनके बेटे पेड्रो सहित शाही परिवार ने ब्राजील में शरण ली। यह पहली बार था जब किसी यूरोपीय राजशाही ने अपनी अमेरिकी कॉलोनी से शासन किया।
1808 में, रियो डी जनेरियो पुर्तगाली साम्राज्य की अस्थायी राजधानी बन गया। इस अवधि के दौरान, ब्राजील में महत्वपूर्ण परिवर्तन हुए। जोआओ VI ने बंदरगाहों को विदेशी व्यापार के लिए खोल दिया, शैक्षिक संस्थानों की स्थापना की और प्रशासनिक ढांचे को मजबूत किया।
1815 में, ब्राजील को एक उपनिवेश से ऊपर उठाकर पुर्तगाल के साथ समान दर्जा वाला एक साम्राज्य घोषित किया गया, जिसे "यूनाइटेड किंगडम ऑफ पुर्तगाल, ब्राजील और अल्गार्व्स" कहा गया। यह स्थिति ब्राजील के लिए अभूतपूर्व थी और इसने स्वतंत्रता की नींव रखी।
स्वतंत्रता की ओर बढ़ते कदम
1815 में नेपोलियन की हार के बाद जोआओ VI 1821 में पुर्तगाल लौट गए, लेकिन उनके बेटे, प्रिंस पेड्रो, ब्राजील में रह गए और प्रिंस रीजेंट के रूप में शासन करने लगे। पुर्तगाल में, 1820 की लिबरल क्रांति ने एक संवैधानिक राजतंत्र की स्थापना की मांग की, जिसने ब्राजील के नव-अर्जित विशेषाधिकारों को खतरे में डाल दिया।
पुर्तगाली कोर्ट ने ब्राजील को फिर से एक अधीनस्थ उपनिवेश में बदलने की कोशिश की और पेड्रो को वापस लिस्बन बुलाने का आदेश दिया।
ब्राजील में, स्थानीय अभिजन और व्यापारी वर्ग इस कदम का विरोध करने लगे। वे अपनी स्वायत्तता और आर्थिक स्वतंत्रता को बनाए रखना चाहते थे। 1821 में, ब्राजीलियाई लोगों ने अधिक स्वायत्तता की मांग के लिए एक कांग्रेस बुलाई, लेकिन पुर्तगाली सरकार ने इन मांगों को अस्वीकार कर दिया, जिससे तनाव और बढ़ गया।
कोर्ट के एक पत्र ने बदल दी तस्वीर
7 सितंबर 1822 को, ब्राजील की स्वतंत्रता का निर्णायक क्षण आया, जिसे "इपिरंगा की पुकार" (Grito do Ipiranga) के नाम से जाना जाता है। प्रिंस पेड्रो साओ पाउलो की यात्रा पर थे, जब उन्हें पुर्तगाली कोर्ट से एक पत्र मिला, जिसमें उनकी शक्तियों को रद्द करने और उन्हें पुर्तगाल वापस बुलाने की मांग की गई थी।
यह एक अल्टीमेटम था या तो ब्राजील को फिर से उपनिवेश बनने के लिए मजबूर होना पड़ता या फिर विद्रोह करना पड़ता।
पेड्रो ने इस पत्र का जवाब एक ऐतिहासिक घोषणा के साथ दिया। इपिरंगा नदी के तट पर, उन्होंने अपनी तलवार उठाई और घोषणा की- "स्वतंत्रता या मृत्यु!" (Independência ou Morte!)।
इस घोषणा ने ब्राजील को पुर्तगाल से अलग कर दिया और इसे एक स्वतंत्र साम्राज्य, ब्राजीलियाई साम्राज्य के रूप में स्थापित किया। पेड्रो को बाद में सम्राट पेड्रो के रूप में ताज पहनाया गया।
स्वतंत्रता युद्ध के बारे में
हालांकि इपिरंगा की पुकार ने स्वतंत्रता की घोषणा की, लेकिन पुर्तगाल ने इसे तुरंत स्वीकार नहीं किया। इसके परिणामस्वरूप ब्राजील में स्वतंत्रता युद्ध छिड़ गया, जो देश के उत्तरी, पूर्वोत्तर और दक्षिणी क्षेत्रों में लड़ा गया।
पुर्तगाल के प्रति वफादार सैन्य इकाइयों ने विरोध किया, लेकिन ब्राजीलियाई बलों, जिनमें स्थानीय अभिजन, किसान, और दास शामिल थे, ने इन विद्रोहों को दबा दिया। यह युद्ध अपेक्षाकृत कम हिंसक था, और 1823 तक अधिकांश पुर्तगाली बलों को हरा दिया गया या देश छोड़ने के लिए मजबूर किया गया।
1825 में, रियो डी जनेरियो की संधि के माध्यम से पुर्तगाल ने औपचारिक रूप से ब्राजील की स्वतंत्रता को मान्यता दी। इस संधि में ब्रिटिश मध्यस्थता महत्वपूर्ण थी, क्योंकि ब्रिटेन ने पुर्तगाली राजपरिवार को ब्राजील में स्थानांतरित करने में मदद की थी और बदले में ब्राजील में व्यापारिक लाभ प्राप्त किए थे।
इस संधि ने ब्राजील को एक स्वतंत्र राष्ट्र के रूप में स्थापित किया, लेकिन यह स्वतंत्रता पूर्ण संप्रभुता के साथ नहीं आई। ब्राजील की अर्थव्यवस्था अभी भी ब्रिटिश प्रभाव के अधीन थी, और दासता, जो ब्राजील की अर्थव्यवस्था का आधार थी, 1888 तक जारी रही।
आजादी दिलाने वाले प्रमुख लोग
ब्राजील की स्वतंत्रता में कई व्यक्तित्वों ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई:
पेड्रो I: स्वतंत्रता के नायक, जिन्होंने इपिरंगा की पुकार के साथ ब्राजील को स्वतंत्रता दिलाई और इसके पहले सम्राट बने।
जोआओ VI: पुर्तगाली राजा, जिनके ब्राजील में शासन ने स्वतंत्रता के लिए आधार तैयार किया।
मारिया लियोपोल्डिना: पेड्रो I की पत्नी, जिन्होंने स्वतंत्रता की घोषणा से पहले महत्वपूर्ण राजनीतिक निर्णयों में भूमिका निभाई।
जोस बोनीफासियो डी एंड्राडा ई सिल्वा: स्वतंत्रता आंदोलन के प्रमुख सलाहकार, जिन्हें "स्वतंत्रता का पितामह" कहा जाता है।
स्वतंत्रता के बाद बना राजशाही देश
ब्राजील की स्वतंत्रता कई मायनों में अनूठी थी। यह एकमात्र लैटिन अमेरिकी देश था जो स्वतंत्रता के बाद एक राजशाही बन गया, जबकि अन्य देश गणतंत्र बने। स्वतंत्रता ने ब्राजील को एक स्वायत्त राष्ट्र के रूप में स्थापित किया। लेकिन सामाजिक और आर्थिक संरचनाएं, विशेष रूप से दासता, अपरिवर्तित रहीं। 1888 में दासता के उन्मूलन तक, ब्राजील अमेरिका का अंतिम देश था जिसने दासता को समाप्त किया।
स्वतंत्रता ने ब्राजील में राष्ट्रीय गौरव और एकता की भावना को जन्म दिया। आज, 7 सितंबर को ब्राजील में स्वतंत्रता दिवस के रूप में उत्साह के साथ मनाया जाता है, जिसमें सैन्य परेड और छात्र जुलूस आयोजित किए जाते हैं। यह दिन ब्राजील के लोगों के लिए उनकी स्वायत्तता और स्वतंत्रता की यात्रा का प्रतीक है।
ब्राजील की स्वतंत्रता एक जटिल और बहुआयामी प्रक्रिया थी, जो उपनिवेशी शासन, नेपोलियन युद्धों और स्थानीय अभिजनों की महत्वाकांक्षाओं से प्रभावित थी।
इपिरंगा की पुकार ने न केवल ब्राजील को पुर्तगाल से मुक्त किया, बल्कि इसे एक स्वतंत्र साम्राज्य के रूप में स्थापित किया। हालांकि इस स्वतंत्रता ने तत्काल सामाजिक परिवर्तन नहीं लाए, लेकिन इसने ब्राजील के आधुनिक राष्ट्र के निर्माण की नींव रखी। यह ऐतिहासिक घटना आज भी ब्राजील की राष्ट्रीय पहचान का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है।
ब्राज़ील स्वतंत्रता के बाद (1822 में) 1889 तक एक राजशाही देश बना रहा, जब एक सैन्य तख्तापलट ने गणतंत्र की स्थापना की। पुर्तगाल के राजकुमार पेड्रो प्रथम ने 1822 में ब्राजील की स्वतंत्रता की घोषणा की और ब्राजील के सम्राट बने। जिससे ब्राज़ील साम्राज्य की स्थापना हुई, जो एक संवैधानिक राजतंत्र था।
Reference
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लिंक: https://en.wikipedia.org/wiki/Independence_of_Brazil
ब्रिटानिका: ब्राजील - स्वतंत्रता, पुर्तगाली, साम्राज्य
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ल्यूमेन लर्निंग: ब्राजीलियाई स्वतंत्रता
लिंक: https://courses.lumenlearning.com/boundless-worldhistory/chapter/brazilian-independence/
ग्लोबहिस्ट्री.ऑर्ग: ब्राजील की स्वतंत्रता
लिंक: https://globhistory.org/independence-of-brazil
एब्स्को: ब्राजील की स्वतंत्रता
लिंक: https://www.ebsco.com/research-starters/independence-of-brazil
आज की तारीख का इतिहास
हर दिन का अपना एक अलग महत्व होता है और 7 सितंबर का दिन भी इतिहास में कई महत्वपूर्ण घटनाओं के लिए दर्ज है। इस दिन दुनिया में कई ऐसी घटनाएं हुईं, जिन्होंने इतिहास की दिशा बदल दी। आइए जानते हैं 7 सितंबर को भारत और विश्व में घटी कुछ प्रमुख घटनाओं के बारे में, जो आपके सामान्य ज्ञान को बढ़ा सकती हैं।
7 सितंबर: इतिहास के पन्नों से
07 सितम्बर की महत्वपूर्ण घटनाएं विश्व के लिए
2014: क्षुद्रग्रह 2014 आरसी 0.1 पृथ्वी के करीब लूनर डिस्टेंस पर आया।
2013: उत्तरी सिनाई में इस्लामी आतंकवादियों के खिलाफ मिस्र की सेना ने एक बड़ा ऑपरेशन किया, जिसमें लगभग 30 लोग मारे गए।
2012: दक्षिण-पश्चिम चीन में भूकंप से 64 लोग मारे गए और 715 घायल हो गए।
2011: याकोम-सर्विस फ़्लाइट 9633, जो खिलाड़ियों और लोकोमोटिव यारोस्लाव पेशेवर आइस हॉकी टीम को ले जा रही थी, रूसी शहर यारोस्लाव में दुर्घटनाग्रस्त हो गई, जिसमें सभी सवारों की मौत हो गई, सिवाय एक के।
2010: कोलोराडो में जंगली जानवरों के प्रकोप ने लगभग 3500 लोगों को बोल्डर काउंटी में अपने घरों को खाली करने के लिए मजबूर किया।
2009: पापुआ न्यू गिनी के वैज्ञानिकों ने लगभग चालीस नई प्रजातियों की खोज की, जिसमें एक विशाल चूहा भी शामिल है, जिसका वजन लगभग 1.5 किलोग्राम है।
2008: 25वीं एमटीवी वीडियो संगीत पुरस्कार में ब्रिटनी स्पीयर्स और क्रिस ब्राउन ने पुरस्कार जीते।
2008: शिन्हुआ की रिपोर्ट के अनुसार, चीन के हेनान प्रांत में बाढ़ के बाद एक कोयला खदान में 20 लोग फंस गए।
2006 - यूक्रेनी पुरातत्वविदों ने लुहान्स्क के पास भूमिगत पिरामिडों की खोज की, जो गीज़ा के पिरामिडों से पहले मौजूद थे।
2005: मिस्र में पहली बार राष्ट्रपति चुनाव हुआ।
2005: नवंबर 2004 में अपहरण और बंधक बनाए जाने के बाद, अमेरिकी व्यक्ति रॉय हॉलमेस को इराक में बचाया गया।
2004: हरिकेन इवान ने ग्रेनाडा पर लैंडफॉल किया और द्वीप के कम से कम 85% हिस्से को तबाह कर दिया।
1999: ग्रीस के राजधानी एथेंस में आए 5.9 तीव्रता के भूकंप से 143 लोग मारे गए, 500 से अधिक घायल हुए और 50,000 लोग बेघर हो गए।
1999: उत्तर पश्चिमी तुर्की में भूकंप आने के तीन हफ्ते बाद, एथेंस में एक बड़ा भूकंप आया, जिसके कारण ग्रीस और तुर्की को "भूकंप कूटनीति" शुरू करनी पड़ी।
1986: डेसमंड टूटू दक्षिणी अफ्रीका के चर्चो प्रांत का नेतृत्व करने वाले पहले अश्वेत व्यक्ति बने।
1986: बिशप डेसमंड टूटू को दक्षिण अफ्रीका में रंगभेद के खिलाफ अपने अहिंसक विरोध के लिए जाना जाता है, और वे केप टाउन के आर्कबिशप बनने वाले पहले अश्वेत व्यक्ति थे। दो साल बाद उन्हें नोबेल शांति पुरस्कार मिला।
1981: अमेरिकन साप्ताहिक न्यूज़मेगजीन 'एजुकेशन वीक' का पहला अंक प्रकाशित हुआ।
1979: स्कॉट रसमिसल और उनके पिता ब्यू रस्मिसन द्वारा स्थापित खेल और मनोरंजन केबल चैनल 'इ.एस.पी.एन.' ने केबल कार्यक्रमों की शुरुआत की।
1950: स्कॉटलैंड के न्यू कलमोक शहर में एक कोयला खदान गिरने से 13 खनिकों की मौत हुई और 166 लोगों को बचाया गया।
1949: जर्मनी का संघीय गणराज्य आधिकारिक तौर पर स्थापित किया गया। कोनराड एडानौएर पहले संघीय चांसलर बने।
1944: हंगरी ने रोमानिया के खिलाफ युद्ध की घोषणा की।
1940: द्वितीय विश्व युद्ध: जर्मन लूफ़्टवाफे ने ब्रिटेन की लड़ाई में अपनी रणनीति बदल दी और लगातार 50 से अधिक रातों तक लंदन और अन्य ब्रिटिश शहरों और कस्बों पर बमबारी की।
1927: फिलियो टेलर ने पूरी तरह से इलेक्ट्रॉनिक टीवी बनाने में सफलता हासिल की।
1923: ऑस्ट्रिया की राजधानी वियना में इंटरपोल की स्थापना की गई।
1921: अटलांटिक सिटी, न्यू जर्सी में पहला मिस अमेरिका, एक दो दिवसीय कार्यक्रम का आयोजन किया गया।
1921: न्यू जर्सी शहर में सर्वप्रथम औरतों के लिए सौंदर्य प्रतियोगिता का आयोजन किया गया, जिसमें मिस अमेरिका को सफलता मिली।
1901: पेकिंग के साथ आठ-राष्ट्र संघ से विदेशी सैनिकों के कब्जे में, किंग चीन को बॉक्सर प्रोटोकॉल पर हस्ताक्षर करने के लिए मजबूर किया गया था, जो बॉक्सर्स विद्रोह को समाप्त करने वाली एक असमानता थी।
1893: इटली में ब्रिटिश प्रवासियों ने जेनोआ क्रिकेट और एथलेटिक क्लब की स्थापना की, जो आज इटली के सबसे पुराने एसोसिएशन फुटबॉल क्लबों में से एक है।
1835: चार्ल्स डार्विन एचएमएस बीगल पर गलापागोस द्वीपसमूह पर पहुंचे।
1822: ब्राजील ने पुर्तगाल से अपनी स्वतंत्रता की घोषणा की।
1822: ब्राज़ील ने पुर्तगाल के अधिकार से स्वतंत्रता प्राप्त की। आज का दिन ब्राज़ील का राष्ट्रीय दिवस घोषित किया गया।
1796: फ्रांसीसी क्रांतिकारी युद्ध-फ्रांसीसी ने ऑस्ट्रियाई सेना को बेसानो, वेनेटिया, वर्तमान इटली में हराया।
1778: अमेरिकी क्रांतिकारी युद्ध: फ्रांस ने डोमिनिका द्वीप पर आक्रमण किया और बाद में ब्रिटिश किले पर कब्जा कर लिया, यह जानकर कि फ्रांस युद्ध में संयुक्त राज्य के सहयोगी के रूप में प्रवेश कर चुका था।
1776: अमेरिकी क्रांतिकारी युद्ध-सार्जेंट एज्रा ली ने न्यूड हार्बर में एचएचएमएस ईगल के पतवार पर विस्फोटक आरोप लगाने का प्रयास करने के लिए कछुए (प्रतिकृति चित्र) का पायलट करते हुए एक सबमर्सिबल का उपयोग कर पहला हमला किया।
1764: स्टैनिसॉव अगस्त पोनिएटोव्स्की को पोलिश-लिथुआनियाई राष्ट्रमंडल के राजा के रूप में चुना गया।
1736: एक एडिनबर्ग भीड़ ने टॉल्बॉथ जेल में अपने सेल से जॉन पोर्टरी को गिरफ्तार किया और उसे निस्तारण किया।
1706: स्पेनिश उत्तराधिकार के युद्ध - ऑस्ट्रिया के ट्यूरिन बलों और सेवॉय की लड़ाई में फ्रांस को हराया।
1704: स्पेनिश उत्तराधिकार के युद्ध; फ्रेंच और स्पेनिश सैनिकों द्वारा जिब्राल्टर की बारहवीं घेराबंदी शुरू की।
1701: जर्मनी, इंग्लैंड और नीदरलैंड ने विरोधी फ्रेंच के खिलाफ हस्ताक्षर किए।
1652: फॉर्मोसा (ताइवान) पर चीनी किसानों ने चार दिन बाद दबाए जाने से पहले डच शासन के खिलाफ एक विद्रोह शुरू किया।
1630: अमेरिका के मैसाच्युसेट्स राज्य में बोस्टन शहर की स्थापना की गई।
1571: थॉमस हॉवर्ड, नोरफोक के चौथे ड्यूक को क्वीन एलिजाबेथ I को उखाड़ फेंकने की साजिश में शामिल होने और मैरी, क्वीन ऑफ स्कॉट्स की जगह लेने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था।
1571: थॉमस हॉवर्ड, नोरफोक के चौथे ड्यूक को क्वीन एलिजाबेथ I को उखाड़ फेंकने की साजिश में उसकी हत्या के आरोप में गिरफ्तार कर लिया गया था और उसकी रानी, स्कॉट्स की रानी मैरी की जगह ले ली थी।
1533: ब्रिटेन और आयरलैंड की महारानी एलिजाबेथ प्रथम का लंदन के ग्रीनविच में जन्म हुआ।
1191: इंग्लैंड के राजा रिचर्ड प्रथम ने अरसफ के राजा सलाउद्दीन को तीसरे धर्मयुद्ध में मात दी।
1191: इंग्लैंड के रिचर्ड I के तहत थर्ड क्रूसेड-फोर्सेज ने वर्तमान इज़राइल के अरसुफ़ में सलादीन के तहत अय्यूब सैनिकों को हराया।
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