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बिहार के नवादा जिले नवादा से रिश्वत का एक अजीबो गरीब मामला सामने आया है। जहां चेक पोस्ट पर होमगार्ड जवान ट्रक ड्राइवर से रिश्वत में आलू मांगते दिखे। ये मामला कुछ दिन पहले का है, चेक पोस्ट पर वाहन चेकिंग के दौरान एक होमगार्ड जवान ने ट्रक ड्राइवर से घूस मेंआलू की मांग की।
जब ड्राइवर ने आलू नहीं दिए, तो जवान ने उससे बदसलूकी की और परेशान किया। इस पूरी घटना का वीडियो ड्राइवर ने बनाकर सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया। इसके बाद नवादा एसपी अभिनव धीमान ने बड़ी कार्रवाई की। उन्होंने रजौली समेकित चौकी पर तैनात 11 होमगार्ड जवानों को निलंबित कर दिया।
5 प्वाइंट में समझें क्या है पूरा मामला
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कहां का है ये मामला, वीडियो में दिखा क्या
यह मामला बिहार के नवादा जिले के रजौली चेकपोस्ट का है। यहां ट्रकों की नियमित चेकिंग होती है और रात में भी जवान तैनात रहते हैं। ​24 नवंबर 2025 की रात करीब 10 से 11 बजे के बीच यहां घटना हुई। आलू से लदे वाहन को रोककर जवानों ने चालक से खर्चा‑पानी की मांग शुरू की।
वीडियो में एक वर्दीधारी आलू मांगते और बाकी जवान पास खड़े दिखते हैं। बातचीत के दौरान जवान आलू देने पर चोखा बनाने जैसी बातें करते सुनाई देते हैं।
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आलू के नाम पर घूस, ड्राइवर से क्या हुआ
आरोप है कि होमगार्ड जवानों ने जबरन आलू मांगना शुरू कर दिया। चालक के इनकार पर उसे आगे जाने से रोका गया और मानसिक दबाव बनाया गया। ड्राइवर ने खुद को बचाने के लिए मोबाइल से पूरा दृश्य रिकॉर्ड किया।
वीडियो बनते देख जवानों ने उसके साथ धक्का‑मुक्की और बहस भी की। ड्राइवर ने बाद में यह वीडियो सोशल मीडिया पर पोस्ट कर दिया। कुछ ही घंटों में वीडियो वायरल हुआ और स्थानीय मीडिया तक पहुंच गया।
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वीडियो वायरल होते ही प्रशासन की सख्त कार्रवाई
वीडियो सामने आने पर नवादा एसपी अभिनव धीमान ने जांच के आदेश दिए। जांच की जिम्मेदारी रजौली अंचल के पुलिस निरीक्षक को सौंपी गई। जांच टीम ने चितरकोली पोस्ट और चेकपोस्ट का साइट निरीक्षण किया।
ड्यूटी रजिस्टर, तैनाती और मौके पर मौजूद जवानों से बयान भी लिए गए। रिपोर्ट में साफ लिखा गया कि सभी 11 गृहरक्षक घटना के समय ड्यूटी पर थे। उन्होंने कर्तव्यपालन की जगह अवैध वसूली और अमर्यादित आचरण किया।
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बिहार के 11 होमगार्ड जवान सस्पेंड
जांच में दोषी पाए गए 11 गृहरक्षकों पर सीधी कार्रवाई हुई। इनमें शीतल कुमार, ईश्वरी प्रसाद और जवाहर प्रसाद के नाम शामिल हैं। इसी सूची में कन्हैया कुमार, अतीश कुमार और रघुनन्दन प्रसाद भी हैं। महेश कुमार, रणधीर कुमार, सुधीर कुमार, श्री यादव और मनोज कुमार भी सस्पेंड हुए।
जिलाधिकारी रवि प्रकाश ने सभी को अगले आदेश तक निलंबित कर दिया। निलंबन के साथ उन्हें कर्तव्य से वंचित करते हुए मुख्यालय से अटैच कर दिया गया।
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नियमों के तहत निलंबन, क्या कहती है गृहरक्षक नियमावली
डीएम ने यह कार्रवाई बिहार गृहरक्षक नियमावली 1953 के तहत की। नियम 16(1)(v) में अनुशासनहीनता और अमर्यादित आचरण पर निलंबन का प्रावधान है। आदेश में लिखा गया कि ड्यूटी के दौरान ऐसा व्यवहार सेवा नियमों का उल्लंघन है।
इससे पुलिस और प्रशासन की छवि आम लोगों की नजर में खराब होती है। ​जिला प्रशासन ने साफ संदेश दिया कि अवैध वसूली किसी सूरत में नहीं चलेगी। भविष्य में ऐसी घटनाओं पर और कड़ी कार्रवाई करने की चेतावनी भी दी गई।
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सड़क पर वसूली की पुरानी कहानी, नया उदाहरण
भारत के कई राज्यों में सड़क चेकपोस्ट पर वसूली लंबे समय से मुद्दा है। इस बार रिश्वत के तौर पर आलू मांगने का अनोखा तरीका सुर्खियों में आया। छोटे‑छोटे फेवर और सामान से शुरू होकर यह प्रथा खुली वसूली में बदल जाती है।
ऐसे मामलों में जब तक वीडियो या सबूत न हों, शिकायतें अक्सर दब जाती हैं। रजौली का यह वीडियो आम लोगों के लिए भी एक सबक बन गया है। अब ट्रक चालकों और यात्रियों में भी अपनी सुरक्षा के लिए मोबाइल रिकॉर्डिंग की आदत बढ़ रही है।
सिस्टम के लिए मैसेज: छोटी घूस भी महंगी पड़ सकती है
प्रशासन की इस कार्रवाई से एक स्पष्ट संदेश देने की कोशिश हुई है। यूनिफॉर्म पहनकर सड़क पर खड़े हर जवान पर जनता भरोसा करती है। ​खर्चा‑पानी के नाम पर आलू या नकद की मांग भी घूस ही मानी जाएगी। अब ऐसे मामलों में वीडियो और सोशल मीडिया प्रशासन पर तुरंत दबाव बना रहे हैं।
जिले में यह केस ‘नजर पै दलाल, हाथ पै वर्दी’ वाली सोच पर चोट करता है। सवाल यह भी है कि क्या केवल निलंबन से ऐसी वसूली पूरी तरह रुक पाएगी।
रजौली चेकपोस्ट आलू घूस केस, जांच के बाद सिस्टम में सुधार की जरूरत
जिलाधिकारी और एसपी ने इसे जीरो टॉलरेंस केस की तरह लिया है। पर असली सुधार तब होगा जब हर चेकपोस्ट पर पारदर्शी सिस्टम बने, न की चेकपोस्ट पर भ्रष्टाचार हो। सीसीटीवी, बॉडी‑कैम, ई‑रसीद और समय‑समय पर ऑडिट जैसे कदम जरूरी हैं। ट्रक यूनियन और ड्राइवरों को भी शिकायत की सुरक्षित व्यवस्था दी जानी चाहिए।
​रजौली केस दिखाता है कि एक छोटा वीडियो पूरे तंत्र को हिला सकता है। अब देखना होगा कि क्या इस घटना के बाद अन्य जिलों में भी ऐसी वसूली पर रोक लगती है।
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