राजस्थान में गुर्जर समाज का आंदोलन फिर से सुर्खियों में है। 2025 में भरतपुर के पीलूपुरा में गुर्जर महापंचायत होगी। यह आंदोलन के लिए एक अहम मोड़ हो सकता है। महापंचायत का नेतृत्व बीजेपी नेता विजय बैंसला करेंगे। वे गुर्जर आरक्षण संघर्ष समिति के अध्यक्ष हैं। महापंचायत में समाज की प्रमुख मांगों को लेकर रणनीति तय की जाएगी। आयोजन की तैयारियां जोर-शोर से चल रही हैं।
OBC में आरक्षण से शुरु हुआ था गुर्जर आंदोलन
गुर्जर आंदोलन की जड़ें राजस्थान की राजनीति में गहरे धंसी हुई हैं। यह आंदोलन मुख्यतः गुर्जर समाज को राजस्थान राज्य में अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) में आरक्षण देने के लिए शुरू हुआ था। पिछले कुछ दशकों से यह आंदोलन सरकार से अपनी अधिकारों की मांग करता रहा है, और समय-समय पर गुर्जर समाज की विभिन्न पहलुओं पर इसका प्रभाव पड़ा है।
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गुर्जर आंदोलन का प्रमुख केंद्र है पीलूपुरा
पीलूपुरा, जो राजस्थान के भरतपुर जिले में स्थित है, गुर्जर आंदोलन के इतिहास में एक महत्वपूर्ण स्थान रखता है। यहां की महापंचायत में हर बार गुर्जर समाज के लोगों की बड़ी संख्या में भागीदारी होती है, और इस बार भी वही स्थिति देखने को मिल रही है। महापंचायत का आयोजन जहां एक ओर राजनीतिक पहलुओं को लेकर एक बड़ा मोड़ साबित हो सकता है, वहीं दूसरी ओर यह गुर्जर समाज के लिए अपनी मांगों को लेकर एक मजबूत कदम उठाने का अवसर प्रदान करता है।
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विजय बैंसला करेंगे नेतृत्व
गुर्जर आरक्षण संघर्ष समिति के अध्यक्ष विजय बैंसला इस आंदोलन के प्रमुख चेहरे माने जाते हैं। उनका नेतृत्व इस महापंचायत में खास महत्व रखता है, क्योंकि वे गुर्जर समाज के सबसे प्रमुख नेता और आरक्षण के संघर्ष के लिए जाने जाते हैं। बैंसला ने यह स्पष्ट किया कि सरकार से कोई बातचीत नहीं हुई है, और समाज के पंच पटेलों ने गृह राज्य मंत्री जवाहर सिंह बेढम को अपनी मांगों से संबंधित एक पत्र सौंपा है।
महापंचायत के लिए पुलिस प्रशासन भी तैयार
राजस्थान पुलिस प्रशासन भी इस महापंचायत के लिए पूरी तरह से तैयार है। विभिन्न जिलों से पुलिस बलों को बुलाया गया है, ताकि महापंचायत के दौरान किसी भी प्रकार की अव्यवस्था या हिंसा से बचा जा सके। पुलिस प्रशासन ने इस मामले में पुख्ता इंतजाम किए हैं, ताकि महापंचायत शांतिपूर्ण ढंग से सम्पन्न हो सके।
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गुर्जर समाज की सरकार से प्रमुख मांगें...
गुर्जर समाज ने अपनी प्रमुख मांगें स्पष्ट की हैं, जो इस महापंचायत में और भी मजबूत तरीके से रखी जाएंगी। इन मांगों का संबंध सामाजिक और आर्थिक न्याय से है, और इन्हें लेकर सरकार से ठोस कदम उठाने की मांग की जा रही है।
1. रोस्टर प्रणाली में बदलाव
गुर्जर समाज का मानना है कि राजस्थान में रोस्टर प्रणाली में बदलाव करके MBC (Most Backward Class) आरक्षण को पूरा लाभ दिया जाना चाहिए।
2. EWS आरक्षण
EWS (Economically Weaker Section) आरक्षण को भी अनुसूचित जाति/जनजाति के समकक्ष लाभ दिया जाए, ताकि समाज के सभी वर्गों को समान अवसर मिल सके।
3. भूमि आवंटन में पारदर्शिता
वे यह चाहते हैं कि जिन लोगों को भूमि आवंटन आदेश के बावजूद ज़मीन नहीं मिली, उन्हें भूमि वापस लौटाई जाए।
4. देवनारायण योजना का पुनः क्रियान्वयन
गुर्जर समाज की एक प्रमुख योजना, देवनारायण योजना, पिछले 17 महीनों से रुकी हुई है। गुर्जर समाज की मांग है कि इस योजना को पुनः लागू किया जाए।
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न्यायिक सेवा में आरक्षण
गुर्जर समाज का यह भी कहना है कि न्यायिक सेवा और अनुबंध नियुक्तियों में MBC को आरक्षण मिले, और इस वर्ग के लिए नियुक्तियों और नीतियों में स्पष्ट प्रावधान किए जाएं।
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