घर खरीदना होगा सस्ता, RBI ने की रेपो रेट में कटौती, कार के दाम भी घटेंगे

भारतीय रिजर्व बैंक ने रेपो रेट में 0.25% की कटौती करने का ऐलान किया है। इससे होम लोन और कार लोन सस्ते होंगे। जानें इस फैसले से आपके लोन और बचत पर क्या असर पड़ेगा।

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Amresh Kushwaha
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NEW DELHI. भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने एक बार फिर लोगों को राहत देने वाला बड़ा कदम उठाया है। RBI ने रेपो रेट (Repo Rate) में 0.25% की कटौती करने का ऐलान किया है। इस कदम से होम लोन (Home loan) और कार लोन (Car loan) जैसे अहम लोन की ईएमआई (EMI) कम हो जाएगी।

इससे आम लोगों को फायदा होगा, क्योंकि उनकी मासिक लोन किश्तें कम होंगी। इससे उनके खर्चों को संतुलित करना आसान होगा। इसके साथ ही, यह बाजार में खपत को बढ़ावा देगा। इससे भारतीय अर्थव्यवस्था (Indian Economy) को भी गति मिलेगी।

आरबीआई की बैठक में लिए गए बड़े फैसले

यह ऐलान बुधवार, 03 दिसंबर को RBI की मौद्रिक नीति समिति (MPC) की तीन-दिवसीय बैठक के बाद किया गया है। वहीं, शुक्रवार, 05 दिसंबर को आरबीआई गवर्नर संजय मल्होत्रा ने इस बैठक की अहम जानकारी दी है।

उन्होंने बताया कि रेपो रेट अब 5.25 प्रतिशत पर पहुंच गया है, जो कि इससे पहले 5.5 प्रतिशत था। यह बदलाव भारतीय रिजर्व बैंक की नीति के तहत महंगाई और अर्थव्यवस्था की स्थितियों को देखते हुए किया गया है।

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बैंक खातों में जमा रकम पर होगा असर

RBI का यह फैसला भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए एक सकारात्मक संकेत है। हालांकि, एक चिंता का विषय भी है। जहां लोन सस्ते होंगे, वहीं बैंक एफडी (FD) पर ब्याज दरें (Interest Rates) घट सकती हैं।

यानी जहां आम लोगों को लोन में राहत मिलेगी, वहीं बचत पर मिलने वाला ब्याज कम हो सकता है। इसका असर बैंक खातों में जमा रकम पर भी पड़ सकता है।

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होम-कार लोन की खबर पर एक नजर...

  • रेपो रेट में 0.25% की कटौती: RBI ने रेपो रेट 5.5% से घटाकर 5.25% किया, जिससे होम लोन और कार लोन की ईएमआई कम होगी।

  • लोन में राहत: रेपो रेट घटने से आम लोगों को लोन की किश्तों में राहत मिलेगी, जिससे उनका खर्च संतुलित करना आसान होगा और खपत बढ़ेगी।

  • महंगाई का अनुमान घटाया: RBI ने वित्त वर्ष 2026 के दौरान महंगाई का अनुमान घटाकर 2% कर दिया, जबकि पहले यह 2.6% था।

  • GDP ग्रोथ रेट का अनुमान बढ़ाया: RBI ने वित्त वर्ष 2026 के लिए GDP ग्रोथ रेट 6.8% से बढ़ाकर 7.3% करने का अनुमान जताया है।

  • एफडी पर ब्याज दरों में कमी: लोन सस्ते होंगे, लेकिन बैंक एफडी पर ब्याज दरें घट सकती हैं, जिससे बचत पर कम ब्याज मिलेगा।

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महंगाई का अनुमान घटाया

RBI ने वित्त वर्ष 2026 के दौरान महंगाई का अनुमान घटा दिया है। अब यह 2% रहने की उम्मीद है, जबकि पहले यह 2.6% था। अक्टूबर-दिसंबर 2025 तिमाही के लिए महंगाई का अनुमान 1.8% से घटाकर 0.6% कर दिया गया है।

जनवरी-मार्च 2026 तिमाही का अनुमान 4% से घटाकर 2.9% किया गया है। अप्रैल-जून 2026 तिमाही के लिए महंगाई का अनुमान 4.5% से घटाकर 3.9% किया गया है। वहीं, जुलाई-सितंबर 2026 में महंगाई 4% रहने का अनुमान है।

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GDP ग्रोथ रेट का अनुमान बढ़ाया

RBI ने वित्त वर्ष 2026 के लिए GDP ग्रोथ रेट 7.3% रहने का अनुमान जताया है। पहले यह अनुमान 6.8% था। अक्टूबर-दिसंबर 2025 तिमाही में ग्रोथ रेट 7% रहने की उम्मीद है। जनवरी-मार्च 2026 तिमाही में यह 6.5% रहेगा। अप्रैल-जून 2026 तिमाही में ग्रोथ रेट 6.7% और जुलाई-सितंबर 2026 में 6.8% रहेगा।

जानें रेपो रेट क्या है?

रेपो रेट वह ब्याज दर है, जिस पर RBI बैंकों को लोन देता है। जब रेपो रेट कम होता है, तो बैंकों को कम ब्याज पर लोन मिलता है। इसका मतलब है कि बैंक भी अपनी ब्याज दरें घटा सकते हैं। जब बैंकों की ब्याज दरें घटती हैं, तो लोन सस्ता हो जाता है। इससे लोगों को सस्ता लोन मिल सकता है।

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