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छत्तीसगढ़ के रेलवे स्टेशनों में अब यात्रियों को एयरपोर्ट जैसी ब्रांडेड शॉपिंग सुविधा मिलने वाली है। रायपुर, दुर्ग, भाटापारा और भिलाई पावर हाउस रेलवे स्टेशनों पर सिंगल ब्रांड रिटेलर्स और प्रीमियम आउटलेट्स खोलने के लिए आवेदन मंगाए गए हैं। इन दुकानों में यात्रियों को कपड़े, जूते, खेल सामग्री, यात्रा सहायक सामान और छत्तीसगढ़ के हर्बल उत्पाद, हथकरघा, जनजातीय कला और शिल्पकला जैसी चीजें मिलेंगी।
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आउटलेट्स का उद्देश्य और लाभ
रेलवे का लक्ष्य है कि यात्रियों को बेहतर शॉपिंग विकल्प और प्रीमियम अनुभव मिले। स्टेशनों पर केवल बड़े और भरोसेमंद ब्रांड्स को मौका मिलेगा, जिन्हें एयरपोर्ट या मॉल में संचालन का अनुभव हो। इससे यात्रियों की सुविधा बढ़ेगी और स्टेशनों का गैर-किराया राजस्व भी बढ़ेगा। यात्री रेलवे स्टेशन में शॉपिंग कर सकेंगे।
कौन-कौन से ब्रांड्स होंगे
- यात्रा सहायक सामान: सैमसोनाइट, वीआईपी, सफारी, अमेरिकन टूरिस्टर।
- परिधान और फैशन: एरो, वैन ह्यूसन, बीबा, पीटर इंग्लैंड, फेबइंडिया।
- जूते और खेल परिधान: नाइकी, एडिडास, प्यूमा, रीबॉक।
- स्थानीय प्रीमियम ब्रांड्स: हथकरघा, जनजातीय कला, हर्बल उत्पाद, शिल्पकला।
स्थापना की प्रक्रिया
दुकानें बोली प्रक्रिया के माध्यम से तय की जाएंगी। शुरुआती करार 5 साल का होगा, अच्छे प्रदर्शन पर 9 साल तक बढ़ाया जा सकता है। केवल प्रीमियम और सिंगल ब्रांड आउटलेट्स को प्राथमिकता दी जाएगी। खाने-पीने के सामान की बिक्री इन आउटलेट्स में नहीं होगी।
स्टेशनों की विशेषताएं
- रायपुर स्टेशन: बड़ी कंपनियों की दुकानें खुलने से यात्रियों को फैशन और शॉपिंग की सुविधाएं बढ़ेंगी।
- दुर्ग और भिलाई पावर हाउस स्टेशन: यात्री आवाजाही अधिक होने के कारण इन स्थानों पर आउटलेट्स से आर्थिक लाभ की उम्मीद है।
- भाटापारा स्टेशन: स्थानीय उत्पादों को राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने का अवसर।
छत्तीसगढ़ के रेलवे स्टेशनों में ब्रांडेड शॉप्स: जानें मुख्य बातें
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छत्तीसगढ़ रेलवे स्टेशनों में खुलने वाले एयरपोर्ट स्टाइल ब्रांडेड आउटलेट्स न केवल यात्रियों के लिए सुविधाजनक होंगे, बल्कि स्थानीय हस्तशिल्प और हर्बल उत्पादों को बढ़ावा देने का एक महत्वपूर्ण माध्यम भी साबित होंगे। यह कदम रेलवे की गैर-किराया राजस्व नीति को सुदृढ़ करने और राज्य के व्यापारिक और सांस्कृतिक विकास में योगदान देने की दिशा में भी महत्वपूर्ण है।