/sootr/media/media_files/2025/12/18/chaitanya-baghel-no-relief-liquor-scam-case-the-sootr-2025-12-18-19-41-57.jpg)
Raipur. छत्तीसगढ़ के बहुचर्चित शराब घोटाले सेे मामले में पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के बेटे चैैतन्य बघेल को गुरुवार को भी राहत नहीं मिली है। सुप्रीम कोर्ट ने चैतन्य बघेल की ओर से दायर याचिका पर सुनवाई जनवरी तक के लिए टाल दी है।
याचिका में चैतन्य बघेल ने शराब घोटाले में अपनी गिरफ्तारी को चुनौती दी थी। सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि इस मामले की सुनवाई “टुकड़ों में” नहीं की जा सकती।
कोर्ट ने संकेत दिया कि जब तक सभी संबंधित पहलुओं और मामलों को एक साथ सुनने की स्थिति नहीं बनती, तब तक इस याचिका पर बहस संभव नहीं है।
ये खबरें भी पढ़ें...
छत्तीसगढ़ शराब घोटाला: पूर्व IAS निरंजन दास ने कमाए 16 करोड़, सरकार को हुआ 530 करोड़ का नुकसान
CG liquor scam: रायपुर में EOW की करण ट्रेवल्स पर छापेमारी, नेताओं की विदेश यात्राओं का खुलेगा राज
क्या कहती है चैतन्य की याचिका
चैतन्य बघेल की ओर से सुप्रीम कोर्ट में दायर याचिका में कहा है कि ईडी द्वारा उनके खिलाफ की जा रही कार्रवाई राजनीतिक दुर्भावना से प्रेरित है। शराब घोटाले के मामले में उनका नाम जबरन घसीटा जा रहा है और गिरफ्तारी की आशंका के चलते उनके मौलिक अधिकारों का हनन हो रहा है।
ईडी की ओर से कोर्ट में यह तर्क रखा गया कि मामला करोड़ों रुपये के कथित घोटाले से जुड़ा है, जिसकी जड़ें छत्तीसगढ़ की आबकारी नीति और शराब कारोबार में गहरी बताई जा रही हैं। इस पूरे नेटवर्क में कई प्रभावशाली लोगों की भूमिका की जांच चल रही है, जिसकी जांच निर्णायक चरण में है।
शराब घोटाले पर राजनीतिक आरोप
इस फैसले के बाद छत्तीसगढ़ की राजनीति में एक बार फिर हलचल तेज हो गई है। कांग्रेस इसे राजनीतिक प्रतिशोध बता रही है, जबकि भाजपा का कहना है कि कानून अपना काम कर रहा है और जांच से कोई भी ऊपर नहीं है।
जनवरी में होने वाली सुनवाई पर अब सभी की नजरें टिकी हुई हैं, क्योंकि उससे यह तय होगा कि चैतन्य बघेल को अंतरिम राहत मिलती है या जांच एजेंसियों की कार्रवाई आगे बढ़ती है।
ये खबरें भी पढ़ें...
छत्तीसगढ़ शराब घोटाला : अनवर, अरूणपति समेत अन्य ED की रिमांड पर, 12 जून को अगली सुनवाई
/sootr/media/agency_attachments/dJb27ZM6lvzNPboAXq48.png)
Follow Us