Chhattisgarh E-Way Bill : प्रदेश में टैक्स चोरी ( Tax evasion ) को रोकने के लिए राज्य सरकार ने बड़ा फैसला लिया है। छत्तीसगढ़ में 50 हजार रुपए से कम के सामान में ई वे बिल ( Chhattisgarh E Way Bill ) नहीं लगेगा, लेकिन 50 हजार से ज्यादा का सामान भेजा तो उसके साथ ई-बिल रखना अनिवार्य होगा। नहीं तो जितने का सामान है लगभग उतना ही टैक्स लगेगा। अभी तक राज्य में एक जिले के भीतर माल के परिवहन करने पर ई वे बिल जारी करना आवश्यक नहीं था। साथ ही 15 वस्तुओं को छोड़ कर राज्य के भीतर किसी भी वस्तु के परिवहन पर ई वे बिल कि आवश्यकता नहीं थी।
विवाद के बाद नियम में ढील
दरअसल, साल 2017 में GST लागू होने के बाद साल 2018 में E-Way Bill को अनिवार्य कर दिया गया था, लेकिन व्यापारियों के विवाद के बाद इस नियम में ढील दे दी गई थी। भाजपा सरकार के लगभग एक साल और कांग्रेस सरकार के पांच साल में भी इस नियम में छूट जारी थी।
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नई अधिसूचना जारी
वर्त्तमान विष्णुदेव साय की सरकार ने इस संबंध में 24 मई 2024 को नई अधिसूचना जारी की है। इसमें कहा है कि 50 हजार से ज्यादा के स्टॉक परिवहन पर हर हाल में ई-बिल रखना होगा, लेकिन इससे कम सामान पर छूट रहेगी। सरकार का दावा है कि इससे हो रही टैक्स चोरी पर लगाम लगेगी। इससे कम का सामान भेजा तो बिल नहीं देना होगा।
ई वे बिल के प्रावधान लागू होने से सर्क्युलर ट्रेडिंग और बोगस बिलिंग रोकने मे विभाग को मदद मिलेगी। ई वे बिल के प्रावधानों में गई छूट को समाप्त किए जाने से राज्य में कर अनुपालन के वातावरण में सकारात्मक प्रभाव होगा। इससे बोगस बिल जारी करने, कच्चा बिल जारी करके कर चोरी पर रोक लगेगी।
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अन्य राज्यों ने भी छूट को लिया वापस
देश के अधिकांश राज्यों ने ई वे बिल पर दी गई छूट को वापस ले लिया है। पड़ोसी राज्य मध्यप्रदेश ने भी साल 2022 में ई वे बिल पर दी गई छूट वापस ले लिया था। केंद्र सरकार के प्रावधान और राज्य की अर्थ व्यवस्था को मज़बूत करने के लिहाज़ से यह फ़ैसला लिया गया।
Chhattisgarh Government | छत्तीसगढ़ सरकार | छत्तीसगढ़ में ई वे बिल अनिवार्य
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