मंत्रालय में कर्मचारियों का हंगामा, लेट आने पर नाम नोट किया तो भड़के
Mahanadi Bhawan Ministry : सरकार के पास शिकायतें पहुंच रही थी कि कर्मचारियों ने फाइव डे वर्किंग की सुविधा तो ले ली, लेकिन आने और जाने की व्यवस्था पुरानी वाली ही चला रहे हैं। टाइम पर आने को कहा गया तो कर्मचारी नाराज हो गए।
Mahanadi Bhawan Ministry : महानदी भवन में लेट आने वाले कर्मचारियों पर कार्रवाई की तलवार लटक रही है। नए साल यानी 2025 के दूसरे ही दिन ऐसे कर्मचारियों के नाम नोट करना शुरू हो गए हैं, जो लेट आते हैं। देरी से दफ्तर आने पर नाम नोट किए जाने से कर्मचारी भड़क गए और नारेबाजी करने लगे।
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इसलिए करनी पड़ रही है सख्ती
महानदी भवन सहित राज्य से सरकारी कर्मचारियों ने मांग की थी कि उनको 5डे वर्किंग यानी सप्ताह में पांच दिन काम करने की सुविधा दी जाए। इस पर तत्कालीन भूपेश बघेल सरकार ने सहमति जता दी थी। इसमें तय किया गया था कि सभी कर्मचारी, अधिकारी सुबह दस बजे दफ्तर आएंगे और शाम पांच बजे तक रहेंगे। यह व्यवस्था सोमवार से शुक्रवार तक रहेगी। इस बीच जो अवकाश आते हैं, वह यथावत रहेंगे।
पिछले कुछ समय से देखने में आ रहा था और सरकार के पास शिकायतें पहुंच रही थी कि कर्मचारियों ने फाइव डे वर्किंग की सुविधा तो ले ली, लेकिन आने और जाने की व्यवस्था पुरानी वाली ही चला रहे हैं। सरकार के पास लगातार इस तरह की शिकायतें पहुंचने के बाद
2 जनवरी 2025 से ऐसे कर्मचारियों के नाम नोट करना शुरू किया गया है, जो लेट आते हैं। नाम नोट किए जाने का कर्मचारी विरोध कर रहे हैं। ऐसे कर्मचारी जो गुरुवार को दस बजे के बाद मंत्रालय पहुंचे तो गेट पर उनके नाम नोट किए जा रहे थे। यह देखकर कर्मचारी आक्रोशित हो गए और नारेबाजी करने लगे।
महानदी भवन में कर्मचारियों के लेट आने पर क्या कार्रवाई की जा रही है ?
महानदी भवन में कर्मचारियों के लेट आने पर उनके नाम नोट किए जा रहे हैं। 2 जनवरी 2025 से यह प्रक्रिया शुरू हो गई है, और इसके बाद जो कर्मचारी समय से दफ्तर नहीं पहुंचते, उनके नाम दर्ज किए जा रहे हैं। इस पर कुछ कर्मचारियों ने विरोध किया और नारेबाजी भी की।
फाइव डे वर्किंग की व्यवस्था के तहत कर्मचारियों से क्या अपेक्षाएँ की गई थीं ?
फाइव डे वर्किंग के तहत कर्मचारियों से यह अपेक्षाएँ की गई थीं कि वे सोमवार से शुक्रवार तक सुबह 10 बजे दफ्तर आएंगे और शाम 5 बजे तक रहेंगे। यह व्यवस्था भूपेश बघेल सरकार द्वारा लागू की गई थी, ताकि कर्मचारियों को सप्ताह में 5 दिन काम करने की सुविधा मिले।
कर्मचारियों के लेट आने की समस्या पर सरकार ने क्या कदम उठाया है ?
कर्मचारियों के लेट आने की शिकायतों के बाद सरकार ने कदम उठाया और 2 जनवरी 2025 से कर्मचारियों के नाम नोट करना शुरू किया, जो निर्धारित समय पर दफ्तर नहीं पहुंचते। सरकार ने इस कदम को कर्मचारियों की समय की पाबंदी सुनिश्चित करने के लिए लिया है।