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छत्तीसगढ़ में नक्सलियों के खिलाफ जारी अभियान के बाद नक्सली बैकफुट पर हैं। नक्सली अब दूसरे पडोसी राज्यों में सुरक्षित ठिकाना खोज रहे हैं। इस बीच, सात राज्यों ने नक्सलियों के खिलाफ संयुक्त रणनीति बनाकर अपना दरवाजा बंद करने का संकेत दे दिया है। रायपुर में केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने नक्सलवाद के खिलाफ निर्णायक लड़ाई के लिए छत्तीसगढ़, झारखंड, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना और ओडिशा के वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की।
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सुरक्षाबलों की सटीक रणनीति को सराहा
केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने पड़ोसी राज्यों के डीजीपी को आगाह किया कि छत्तीसगढ़ से भागने वाले नक्सली सीमावर्ती क्षेत्रों में शरण लेने की कोशिश कर सकते हैं। इसलिए, सतर्कता बरतते हुए उन्हें किसी भी राज्य में पनाह नहीं मिलने देनी चाहिए। शाह ने जोर देकर कहा कि 31 मार्च 2026 तक देश को पूरी तरह नक्सलवाद से मुक्त कर लिया जाएगा। उन्होंने सुरक्षाबलों के पराक्रम और खुफिया एजेंसियों की सटीक रणनीति की तारीफ की, जिसके बल पर यह लक्ष्य हासिल होगा। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि बारिश के मौसम में भी नक्सलियों के खिलाफ ऑपरेशन जारी रहेंगे, ताकि उन्हें चैन की सांस न लेने दी जाए।
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नक्सल मुक्त बनाने की दिशा ठोस कदम
सात राज्यों की संयुक्त बैठक में केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने छत्तीसगढ़ में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय और उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा के नेतृत्व में नक्सल विरोधी अभियानों की प्रगति की सराहना की। शाह ने कहा कि पिछले डेढ़ साल में राज्य सरकार ने नक्सलवाद के खिलाफ अभियान को नई गति दी है, जिससे छत्तीसगढ़ को नक्सल मुक्त बनाने की दिशा में मजबूत कदम उठाए गए हैं।
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सुरक्षाबलों ने दोबारा संभाला मोर्चा
सुरक्षा बलों के साथ मुठभेड़ के दौरान नक्सलियों के कई बड़े रणनीतिकार और खूंखार नक्सली कमांडर मार गिराए गए हैं। ऑपरेशन सिंदुर के कारण सुरक्षाबलों के सीज फायर से पहले नक्सली तीन बार युद्ध विराम और शांतिवार्ता की कर चुके थे। मगर, सुरक्षाबलों के शांत होते ही जब नक्सली फिर सिर उठाने लगे तो सुरक्षाबलों ने भी दोबारा मोर्चा संभाल लिया है।
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सरेंडर करने वालों को पूरा होगा वादा
अमित शाह ने कहा कि आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों को सरकार ने जो वादे किए हैं, उन्हें न केवल पूरा किया जाएगा, बल्कि उनकी अधिकतम सहायता का भी प्रयास होगा। इससे पहले रायपुर के स्वामी विवेकानंद विमानतल पर अमित शाह का स्वागत किया गया। यहां मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने उनको पुष्पगुच्छ भेंट किया। इस अवसर पर उपमुख्यमंत्री अरुण साव और विजय शर्मा के अलावा वन मंत्री केदार कश्यप, कई विधायक, मुख्य सचिव अमिताभ जैन, डीजीपी अरुण देव गौतम, और अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।
FAQ
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