पं. रविशंकर शुक्ल यूनिवर्सिटी में शुरू होंगे ओपन एंड डिस्टेंस लर्निंग कोर्स, अब घर बैठे मिलेगी डिग्री

छत्तीसगढ़ की सबसे बड़ी यूनिवर्सिटी अब एक बड़े बदलाव की ओर बढ़ रही है! NAAC से A+ ग्रेड पाने के बाद पं. रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय ने ओपन एंड डिस्टेंस लर्निंग शुरू करने की तैयारी तेज कर दी है।

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Harrison Masih
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Raipur. छत्तीसगढ़ की सबसे बड़ी और प्रतिष्ठित यूनिवर्सिटी पं. रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय (PRSU) — अब छात्रों के लिए एक नया अवसर लेकर आ रही है। विश्वविद्यालय में जल्द ही ओपन एंड डिस्टेंस लर्निंग (ODL) प्रणाली के तहत कोर्स शुरू किए जा सकते हैं। इसके लिए विवि अब यूजीसी (University Grants Commission) को औपचारिक आवेदन भेजने की तैयारी कर रहा है।

क्यों मिली अनुमति की राह

हाल ही में पं. रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय को NAAC से A+ ग्रेड प्राप्त हुआ है। यूजीसी के नियमों के अनुसार, केवल A या A+ ग्रेड वाले विश्वविद्यालयों को ही डिस्टेंस या ओपन कोर्स संचालित करने की अनुमति होती है। इसी आधार पर अब रविवि को भी इन कोर्सों की मंजूरी मिलने की पूरी संभावना है।

कार्यपरिषद की 100वीं बैठक में हुआ निर्णय

पिछले दिनों विश्वविद्यालय की कार्यपरिषद की 100वीं बैठक में इस प्रस्ताव पर विस्तार से चर्चा की गई। बैठक में तय किया गया कि — “रविवि अब यूजीसी को आवेदन भेजेगा और अनुमति मिलते ही यह कोर्स अगले शैक्षणिक सत्र से शुरू किए जाएंगे।” यह निर्णय विश्वविद्यालय की शिक्षा पहुंच को और व्यापक बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है।

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किन कोर्सों में मिलेगी पढ़ाई की सुविधा

  • ओपन एंड डिस्टेंस लर्निंग के तहत कौन से कोर्स शामिल किए जाएंगे, इसका निर्धारण विश्वविद्यालय स्वयं करेगा।
  • कोर्सों की सूची विवि की वेबसाइट पर अपलोड की जाएगी।
  • आवेदन प्रक्रिया ऑनलाइन मोड में शुरू की जाएगी।
  • आमतौर पर ऐसे कोर्स चुने जाते हैं जिनमें लैब वर्क या प्रायोगिक कार्य की आवश्यकता नहीं होती।
  • जिन विषयों में लैब आवश्यक है, उन्हें इस पद्धति में शामिल नहीं किया जाता।
  • यूजीसी के अलग-अलग दिशा-निर्देश भी इस प्रक्रिया में लागू होंगे।

क्या है ओपन एंड डिस्टेंस लर्निंग (ODL)

ODL एक ऐसी शिक्षा पद्धति है जिसमें छात्रों को कक्षाओं में उपस्थित रहना अनिवार्य नहीं होता। 75% उपस्थिति की बाध्यता नहीं है। छात्र घर बैठे डिग्री, डिप्लोमा या सर्टिफिकेट कोर्स कर सकते हैं। यह प्रणाली नौकरीपेशा और समयाभाव वाले छात्रों के लिए बेहद उपयोगी है। राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP) के तहत, कुछ दिनों की ऑफलाइन कक्षाएं अनिवार्य की गई हैं, लेकिन उनकी संख्या बहुत सीमित होती है।

क्यों जरूरी है यह कदम

विश्वविद्यालय में पहले से ही हजारों छात्र नियमित कोर्सों में अध्ययनरत हैं। ODL शुरू होने से अधिक छात्रों को उच्च शिक्षा तक पहुंचने का मौका मिलेगा। यह पहल ऑनलाइन एजुकेशन प्लेटफॉर्म को मजबूत बनाएगी। शिक्षा का डिजिटलीकरण और लचीलापन बढ़ेगा।

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विशेषज्ञों की राय

शिक्षा विशेषज्ञों का मानना है कि यह कदम छत्तीसगढ़ में उच्च शिक्षा के प्रसार में एक मील का पत्थर साबित होगा। ODL के जरिए वे छात्र भी डिग्री हासिल कर पाएंगे जो काम या अन्य कारणों से नियमित कक्षाओं में नहीं जा पाते।

आगे की प्रक्रिया

अब विश्वविद्यालय की ओर से यूजीसी को औपचारिक आवेदन भेजा जाएगा। अनुमति मिलने के बाद विवि अगले शैक्षणिक सत्र से BA, B.Com, MA, M.Com, Sociology, Political Science जैसे कई कोर्सों को शुरू करने की संभावना जता रहा है। पं. रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय की यह पहल राज्य में शिक्षा के डिजिटलीकरण की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। ODL के माध्यम से अधिक से अधिक छात्रों को घर बैठे गुणवत्तापूर्ण उच्च शिक्षा प्राप्त करने का अवसर मिलेगा।

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