छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले के नेशनल पार्क के घने जंगलों में सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच भीषण मुठभेड़ हुई। इस ऑपरेशन में सुरक्षाबलों ने एक प्रमुख नक्सली नेता को मार गिराया, जिसे नक्सलियों की तेलंगाना स्टेट कमेटी का सदस्य बताया जा रहा है।
छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले के नेशनल पार्क के घने जंगलों में सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच भीषण मुठभेड़ हुई। इस ऑपरेशन में सुरक्षाबलों ने एक और सेंट्रल कमिटी मेंबर सुधाकर को मार गिराया है। सुधाकर बीते 30 सालों से नक्सल संगठन में सक्रिय था। वह नक्सलियों की तेलंगाना स्टेट कमेटी का सदस्य है। मुठभेड़स्थल से ऑटोमैटिक हथियार भी बरामद किए गए हैं। हालांकि, इस घटना की आधिकारिक पुष्टि अभी बाकी है, लेकिन सूत्रों के मुताबिक मारे गए नक्सलियों की संख्या बढ़ सकती है।
इससे पहले, 21 मई को सुरक्षाबलों ने एक और बड़ी सफलता हासिल की थी, जब नक्सलियों के शीर्ष नेता और एक करोड़ के इनामी नक्सल कमांडर नम्बाला केशव राव उर्फ बशव राजू को ढेर किया गया था। बशव राजू नक्सल संगठन के देशव्यापी संचालन का प्रमुख जिम्मेदार था। बुधवार की मुठभेड़ में सुरक्षाबलों ने नक्सलियों के शीर्ष नेतृत्व को निशाना बनाकर संगठन को गहरा झटका दिया। इस ऑपरेशन में 30 नक्सलियों के मारे जाने की खबर है, जिनमें सेंट्रल कमेटी के कई अन्य सदस्य भी शामिल हो सकते हैं। इस मुठभेड़ में एक जवान घायल हुआ है, जो अब खतरे से बाहर है, जबकि पुलिस बल का एक सहयोगी शहीद हो गया।
गृहमंत्री विजय शर्मा ने बताया कि नारायणपुर और बीजापुर के संयुक्त क्षेत्र में 50 घंटे तक चले इस सर्च ऑपरेशन में सुरक्षाबलों ने नक्सलियों के बड़े कैडर को निशाना बनाया। मुठभेड़ अब समाप्त हो चुकी है, और केवल सर्च ऑपरेशन जारी है। उन्होंने सुरक्षाबलों की इस उपलब्धि पर बधाई देते हुए कहा कि एक जवान घायल हुआ है, लेकिन उसकी हालत स्थिर है, जबकि एक सहयोगी ने देश के लिए बलिदान दिया।
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FAQ
बीजापुर जिले के नेशनल पार्क में हुई मुठभेड़ में सुरक्षाबलों को क्या सफलता मिली?
इस मुठभेड़ में सुरक्षाबलों ने एक शीर्ष नक्सली कमांडर को मार गिराया, जो नक्सलियों की तेलंगाना स्टेट कमेटी का सदस्य था। साथ ही, मुठभेड़ स्थल से ऑटोमैटिक हथियार भी बरामद किए गए।
नक्सली कमांडर बशव राजू को कब और कहाँ मारा गया था?
बशव राजू को 21 मई को एक ऑपरेशन के दौरान सुरक्षाबलों ने मार गिराया था। वह नक्सली संगठन के देशव्यापी संचालन का प्रमुख और एक करोड़ रुपये का इनामी था।
50 घंटे के ऑपरेशन के दौरान सुरक्षाबलों को क्या नुकसान हुआ?
इस ऑपरेशन में एक जवान घायल हुआ, जिसकी हालत अब स्थिर है, जबकि पुलिस बल का एक सहयोगी शहीद हो गया।