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Bhopal. मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल में एक इंजीनियर की कथित तौर पर पुलिस की पिटाई से मौत हो गई। मृतक युवक डीएसपी का साला था। आरोप है कि युवक अपने दोस्तों के साथ पार्टी कर रहा था, उसी दौरान दो कांस्टेबलों ने उसकी बुरी तरह से पिटाई की। इसके चलते उसकी मौत हो गई।
कांस्टेबलों द्वारा की गई पिटाई का एक वीडियो भी सामने आया है। इसमें पुलिस वाले युवक को बेरहमी से मारते हुए दिखाई दे रहे हैं। युवक की पहचान सॉफ्टवेयर इंजीनियर उदित के तौर पर हुई है। अब उसकी मौत की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट भी सामने आई है। इसमें कई खुलासे हुए हैं।
इंजीनियर उदित की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में ये हुआ खुलासा
रिपोर्ट में बताया गया है कि 20 साल के सॉफ्टवेयर इंजीनियर उदित गायकी की मौत पुलिस की पिटाई से ही हुई है। पिटाई के चलते उसे ट्रॉमा अटैक आया। साथ ही, पैनक्रियाज (अग्नाशय) भी डैमेज हो गया था। शॉर्ट पीएम रिपोर्ट में खुलासा हुआ है कि मौत हार्ट अटैक से नहीं हुई है।
उदित की पिटाई करने वाले पिपलानी थाने के दो आरक्षक संतोष बामनिया और सौरभ आर्य को सस्पेंड कर दिया गया है। अब तक उनके खिलाफ कोई एफआईआर दर्ज नहीं की गई है।
जानकारी के मुताबिक, भोपाल में इंद्रपुरी के क्लब में पार्टी करने के बाद उदित और उसके दोस्त कार के पास खडे़ थे। कार में गाना बज रहा था और दोस्त बीयर पी रहे थे। तभी पुलिसकर्मी वहां आए। इसके बाद उनकी पुलिस के साथ कहासुनी हो गई।
पोस्टमॉर्टम में पैनक्रियाज फटने की बात
उदित की मौत के बाद पोस्टमॉर्टम के लिए पांच डॉक्टरों की एक टीम बनाई गई थी और पूरी प्रक्रिया की वीडियोग्राफी भी करवाई गई। देर शाम को पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट सामने आई। इसमें यह बताया गया कि उसकी मौत ट्रॉमा अटैक के कारण हुई है। रिपोर्ट के अनुसार, उसकी बेरहमी से की गई पिटाई के कारण शरीर के अंदरूनी अंगों को गंभीर नुकसान पहुंचा था।
पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में पैनक्रियाज (अग्नाशय) के फटने का भी जिक्र है। पैनक्रियाज पेट के पिछले हिस्से में स्थित होता है। सीसीटीवी फुटेज में साफ देखा जा सकता है कि पुलिस वाला उदित को पेट के पिछले हिस्से में डंडे से मार रहा था। डॉक्टरों ने जब उदित के शरीर की जांच की, तो उनके शरीर पर 16 जगहों पर गंभीर चोटों के निशान पाए गए। खास तौर पर उसकी आंख के पास और माथे पर गहरी चोट थी। इसके अलावा कंधे, कमर, पेट, कान के पास और सिर के पिछले हिस्से पर भी चोट के गहरे निशान पाए गए।
ये है पूरा मामला
पूरा मामला गुरुवार देर रात करीब डेढ़ बजे पिपलानी थाना क्षेत्र का है। जहां दोनों पुलिसकर्मियों ने उदित की पिटाई की थी। इस घटना का सीसीटीवी फुटेज भी सामने आया है। पिटाई के बाद उदित बेहोश हो गया था। उसके दोस्त उसे इलाज के लिए एम्स अस्पताल ले गए, लेकिन वहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।
उदित के शरीर पर 16 जगहों पर गंभीर चोटों के निशान पाए गए हैं। पुलिस अधिकारी का कहना है कि इस मामले की पूरी तरह से जांच की जा रही है और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
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पुलिस बोली इतना नहीं पीटा की मौत हो जाए
डीसीपी जोन 2 विवेक सिंह ने बताया कि उदित की मौत पैनक्रियाज (अग्नाशय) के डैमेज होने के कारण हुई। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में भी यह बात सामने आई है। परिजनों के आरोप और सीसीटीवी फुटेज के आधार पर पिपलानी थाने के दो कांस्टेबल संतोष बामनिया और सौरभ आर्य को सस्पेंड कर दिया गया है। हालांकि, अब तक उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज नहीं की गई है।
विवेक सिंह ने बताया कि इस फैसले के पीछे कारण दोनों पुलिसकर्मियों ने अपने बयान में कहा है कि जब उन्होंने उदित को देखा, तो वह डरकर भागने लगा। उसे संदिग्ध मानकर उन्होंने उसका पीछा किया। दोनों पुलिसकर्मियों ने यह स्वीकार किया है कि उन्होंने उदित की पिटाई की, लेकिन उनका कहना है कि उन्होंने इतनी ज्यादा पिटाई नहीं की थी कि जिससे किसी की मौत हो जाए। यह बयान पुलिस की ओर से दिया गया है और इस मामले की और गहन जांच की जा रही है।
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पुलिसकर्मियों पर पैसे मांगने का आरोप
उदित के दोस्त अक्षत गार्गव के मुताबिक, जब पुलिस वाले उदित की पिटाई कर रहे थे, तो हम लोग उनसे बात करने की कोशिश कर रहे थे, लेकिन उन्होंने हमारी बात नहीं मानी। मैंने उदित को अपनी कार में बिठाया और हम उसे अस्पताल ले जाने की कोशिश कर रहे थे। इस दौरान पुलिसकर्मियों ने हमारे दोस्तों से 10 हजार रुपए की मांग की। उदित कार में मेरे साथ था, और उसने सिर्फ इतना कहा कि एसी चला दो और पानी दे दो। उसने इस दौरान दर्द की कोई बात नहीं की।
रास्ते में, उदित ने दो-तीन बार उल्टियां कीं। इसके बाद हम चौकी पहुंचे। जहां हमारे कुछ पहचान के पुलिसवाले थे। हमने उन्हें पूरी घटना बताई। मेरे एक दोस्त दीपेश ने उदित का हाथ पकड़ा। लेकिन उसका हाथ लटकने लगा। हमने उसका पल्स चेक किया।लेकिन वह नहीं मिला। तुरंत ही हम उसे पास के अस्पताल ले गए, जहां डॉक्टरों ने कहा कि उसकी जान बचने के केवल 1% चांस हैं और हमें उसे एम्स ले जाने की सलाह दी। हम उसे एम्स ले गए। जहां डॉक्टरों ने कहा कि उसकी मौत हो चुकी है।
शुक्रवार शाम को थाने के बाहर जमकर हुआ हंगामा
उदित की मौत के मामले में उसके परिजनों ने शुक्रवार शाम को पिपलानी थाने के बाहर जमकर हंगामा किया और नारेबाजी की। बड़ी संख्या में परिजन थाने के बाहर पहुंचे और पुलिस प्रशासन के खिलाफ होश में आओ के नारे लगाए। वे आरोपियों के खिलाफ हत्या का केस दर्ज करने की मांग कर रहे थे। इस प्रदर्शन में पूर्व मंत्री और कांग्रेस नेता सुखदेव पांसे भी शामिल हुए।
सुखदेव पांसे ने कहा कि इस घटना ने मध्य प्रदेश को शर्मसार कर दिया है। उन्होंने आरोप लगाया कि पुलिसवालों ने बेरोजगार युवकों से 10 हजार रुपए की मांग की थी और जब वह पैसे नहीं दिए गए, तो पुलिसकर्मियों ने बेरहमी से उदित की पिटाई की। पांसे ने मांग की कि दोषी पुलिसवालों के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज किया जाए। उन्हें नौकरी से बर्खास्त किया जाए और पीड़ित परिवार को 5 करोड़ रुपये का मुआवजा दिया जाए। पुलिस की मारपीट का यह मामला भोपाल में चर्चा का विषय बन गया है।
उदित के पिता राजकुमार गायकी ने यह कहा
उदित के पिता राजकुमार गायकी एमसीबी सूखी सेवनिया में इंजीनियर के तौर पर काम करते हैं, जबकि उनकी मां एक टीचर हैं। उदित के बहनोई केतन अडलक डीएसपी हैं और वर्तमान में बालाघाट हॉक फोर्स में अपनी ड्यूटी पर हैं। उदित ने अपनी पढ़ाई वीआईटी आष्टा से बीटेक किया था। पिछले तीन महीने से वह बेंगलुरु में रहकर नौकरी की तलाश कर रहा था और तीन दिन पहले वह भोपाल आया था ताकि वह अपने कुछ जरूरी दस्तावेज ले सके।
उदित के पिता राजकुमार ने बताया कि उदित की एक छोटी बहन भी है, जो पढ़ाई कर रही है। वह घर में इकलौता बेटा था। उनके बेटे की मौत के बाद से वह गहरे सदमे में हैं और उन्हें यह विश्वास ही नहीं हो रहा है कि उनका बेटा अब इस दुनिया में नहीं रहा।