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मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा जिले में घरेलू बिल्लियों में बर्ड फ्लू (H5N1) के संक्रमण का पहला मामला सामने आया है, जिसने वैज्ञानिकों और स्वास्थ्य विशेषज्ञों की चिंता बढ़ा दी है। यह वायरस आमतौर पर पक्षियों में पाया जाता है, लेकिन हाल ही में इसमें हुए म्युटेशन ने इसे स्तनधारी जीवों में भी फैलाने की क्षमता प्रदान कर दी है। इससे भविष्य में इंसानों में संक्रमण का खतरा बढ़ सकता है। भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद (ICAR-NIHSAD) और केंद्र सरकार के पशुपालन विभाग ने इस वायरस की पुष्टि की थी।
बिल्लियों में कैसे फैला बर्ड फ्लू?
छिंदवाड़ा में तीन बिल्लियों की रहस्यमयी मौत के बाद वैज्ञानिकों ने उनके सैंपल्स की जांच की, जिसमें H5N1 वायरस का संक्रमण पाया गया। रिपोर्ट के अनुसार, इन संक्रमित बिल्लियों में तेज बुखार, भूख न लगना और अत्यधिक सुस्ती जैसे लक्षण देखे गए। संक्रमण की पुष्टि के बाद मात्र 1 से 3 दिनों के भीतर इनकी मौत हो गई। बता दें कि यह पहली बार है जब भारत में किसी पालतू स्तनधारी में इस वायरस का संक्रमण दर्ज किया गया है।
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क्या यह वायरस इंसानों के लिए खतरा बन सकता है?
H5N1 वायरस पहले भी दुनियाभर में पोल्ट्री फार्म्स और जंगली पक्षियों में फैल चुका है, जिससे बड़े पैमाने पर नुकसान हुआ। वैज्ञानिकों के अनुसार, यह वायरस मुख्य रूप से पक्षियों को संक्रमित करता है, लेकिन कुछ म्युटेशन इसे स्तनधारियों में भी फैलाने की क्षमता प्रदान कर सकते हैं। यदि यह वायरस और अधिक विकसित हुआ, तो यह भविष्य में महामारी का रूप ले सकता है, जैसा कि कोविड-19 के दौरान देखा गया था। हालांकि, अभी तक इंसान से इंसान में संक्रमण की पुष्टि नहीं हुई है, लेकिन वायरस की अनिश्चितता को देखते हुए सतर्कता बरतना आवश्यक है।
प्रशासन ने उठाए सख्त कदम
छिंदवाड़ा में बर्ड फ्लू के मामलों की पुष्टि होने के बाद प्रशासन ने सख्त कदम उठाए हैं। कलेक्टर शैलेंद्र सिंह ने भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता 2023 की धारा 163 के तहत कई प्रतिबंध लागू किए हैं।
- संक्रमित पोल्ट्री फार्म के 1 किलोमीटर के दायरे को संक्रमित क्षेत्र घोषित किया गया, जहां चिकन शॉप और पोल्ट्री फार्म पूरी तरह से बंद रहेंगे।
- 10 किलोमीटर का दायरा निगरानी क्षेत्र के रूप में चिह्नित किया गया, जहां सभी पोल्ट्री प्रोडक्ट्स की बिक्री और ट्रांसपोर्टेशन पर रोक लगा दी गई है।
- संक्रमित क्षेत्र में रोजाना सैनिटाइजेशन किया जाएगा और संक्रमित मुर्गियों व उनके उत्पादों को नष्ट किया जाएगा।
- चिकन और पोल्ट्री प्रोडक्ट्स की बिक्री एक महीने के लिए पूरी तरह प्रतिबंधित कर दी गई है।
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इंसानों में भी फैलने की आशंका
प्रशासन ने संभावित खतरे को भांपते हुए कुछ लोगों के सैंपल्स जांच के लिए भेजे थे, लेकिन सभी रिपोर्ट निगेटिव आई हैं। हालांकि, वैज्ञानिकों का मानना है कि यदि वायरस में और अधिक म्युटेशन होते हैं, तो यह इंसानों के लिए गंभीर खतरा बन सकता है। इसलिए, वायरस की रोकथाम और संक्रमित क्षेत्रों में कड़ी निगरानी बनाए रखना जरूरी है।
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क्या यह एक नई महामारी की चेतावनी है?
यह पहली बार है जब भारत में घरेलू बिल्लियों में बर्ड फ्लू का संक्रमण पाया गया है। इससे पहले, यह वायरस मुख्य रूप से पक्षियों तक सीमित था, लेकिन अब इसकी अनुकूलन क्षमता चिंता का विषय बन गई है। प्रशासन और वैज्ञानिक मिलकर इस वायरस की गहन निगरानी कर रहे हैं ताकि यह इंसानों तक न पहुंचे। विशेषज्ञों का कहना है कि इस बीमारी को फैलने से रोकने के लिए पोल्ट्री फार्म्स, पालतू जानवरों और जंगली पक्षियों पर सख्त निगरानी रखना अब अनिवार्य हो गया है।
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