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मध्यप्रदेश के इंदौर के एक सरकारी स्कूल में बच्चियों के साथ शोषण का गंभीर मामला सामने आया है। चौथी कक्षा की छात्राओं के परिजनों ने आरोप लगाया कि स्कूल के टीचर्स ने बच्चियों से अश्लील बातें कीं, उन्हें मानसिक रूप से प्रताड़ित किया और मारपीट की।
जांच का खुलासा
23 बच्चियों के परिजनों ने इस मामले को लेकर एसडीएम से शिकायत की थी। SDM ने मामले की जांच के लिए महिला अधिकारी को नियुक्त किया। जांच में आरोप सही पाए गए। रिपोर्ट में दो टीचर्स को मानसिक रूप से विकृत करार दिया गया और उनके खिलाफ तत्काल कार्रवाई की अनुशंसा की गई।
PMO ने मांगी रिपोर्ट
इतने गंभीर आरोपों के बावजूद टीचर्स पर कोई कार्रवाई नहीं हुई। इसके बाद एक RTI एक्टिविस्ट ने प्रधानमंत्री कार्यालय (PMO) को शिकायत भेजी। पीएमओ ने मामले को गंभीर मानते हुए राज्य सरकार से जवाब मांगा है।
शिकायतकर्ताओं ने बताया कि मई 2019 में मामले की शिकायत खुडै़ल पुलिस थाना, इंदौर महिला थाना और पुलिस अधीक्षक से की थी। शिकायत में टीचर्स की गंदी हरकतों का ब्यौरा सबूतों के साथ दिया गया था।
दोनों टीचर छात्राओं से भद्दी बातें करते थे, बाल खींचते और चांटे मारते थे। तत्कालीन एसडीएम ने जांच के बाद आरोपी टीचर्स को बर्खास्त करने की अनुशंसा की, लेकिन ऐसा नहीं किया गया। दोनों आरोपियों से 1-1 लाख रुपए का बांड भरवाकर छोड़ दिया गया।
इसके बाद भी दोनों टीचर्स की हरकतें बढ़ गईं। फिर मामले की शिकायत प्रधानमंत्री कार्यालय (PMO) में की गई। अभिभावकों के अधिवक्ता केके कुन्हारे ने बताया कि प्रधानमंत्री कार्यालय से मध्यप्रदेश सरकार के सीएम हेल्पलाइन के डायरेक्टर संदीप अस्थाना को जांच और कार्रवाई के लिए निर्देश दिए गए हैं।
टीचर्स छात्राओं से करते हैं गंदी बातें
शिकायतकर्ताओं का कहना है कि टीचर्स छात्राओं से गंदी बातें करते थे। वे उनकी पिटाई करते थे और मानसिक उत्पीड़न करते थे। पहले पुलिस और अधिकारियों को शिकायत भेजी गई थी, लेकिन एफआईआर दर्ज नहीं की गई। इसके बाद पीएमओ को शिकायत भेजी गई। पीएमओ ने तत्काल कार्रवाई के निर्देश दिए।
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आरोपियों पर कार्रवाई की मांग
शिकायतकर्ताओं और उनके अधिवक्ता का कहना है कि दो टीचर्स के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जानी चाहिए। इसका उद्देश्य इस प्रकार के कृत्यों को रोकना और बच्चों का बचाव करना है। फिलहाल, राज्य सरकार से इस मामले की रिपोर्ट मांगी गई है। जांच के बाद उचित कार्रवाई की संभावना है।
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5 प्वाइंट्स में समझे पूरी स्टोरी...
✅ इंदौर के एक सरकारी स्कूल में चौथी कक्षा की छात्राओं के साथ शोषण हुआ। परिजनों ने आरोप लगाया कि टीचर्स ने बच्चियों से अश्लील बातें कीं, उन्हें मानसिक उत्पीड़न किया।
✅ परिजनों ने एसडीएम से शिकायत की, जिसके बाद महिला अधिकारी द्वारा जांच की गई। जांच में आरोप सही पाए गए। रिपोर्ट में दो टीचर्स को मानसिक रूप से विकृत करार दिया गया।
✅ MP सरकार की चुप्पी और कार्रवाई न होने पर, अभिभावकों ने PMO को शिकायत भेजी। पीएमओ ने मामले को गंभीरता से लिया और राज्य सरकार से रिपोर्ट मांगी।
✅ शिकायतकर्ताओं का कहना है कि टीचर्स लगातार छात्राओं से गंदी बातें करते थे और उनका शारीरिक व मानसिक उत्पीड़न करते थे। पुलिस और अधिकारियों से शिकायत के बावजूद एफआईआर दर्ज नहीं की गई।
✅ शिकायतकर्ताओं और उनके अधिवक्ताओं का कहना है कि दो टीचर्स के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जानी चाहिए। ताकि इस तरह के कृत्य रुक सकें।
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