MP NEWS : मध्य प्रदेश के लोग कितने खुश हैं और उनकी खुशी के प्रमुख कारण क्या हैं, यह अब एक खास इंडेक्स के जरिए मापा जाएगा। अगले साल इस इंडेक्स का खुलासा होगा, जिसे तैयार करने का जिम्मा मध्य प्रदेश के आनंद विभाग ने उठाया है। आनंद विभाग इस इंडेक्स को आईआईटी खड़गपुर के सहयोग से तैयार कर रहा है, जिससे प्रदेश के नागरिकों की खुशियों को आंकने में मदद मिलेगी।
खुशियों के मापने का नया तरीका
यह परियोजना United States of America और संयुक्त राष्ट्र के मॉडल पर आधारित है, जिसमें खुशी का निर्धारण वैज्ञानिक तरीके से किया जाएगा। विभाग ने इस प्रक्रिया को जनसामान्य से जुड़ने के लिए एक अनूठा तरीका अपनाया है। आनंद विभाग ने एक प्रश्नावली तैयार की है, जो लोगों के भावनात्मक पहलुओं को मापने पर केंद्रित होगी। इस योजना के तहत, मध्य प्रदेश के हर जिले से 50 हजार से अधिक लोग जुड़ेंगे, जिन्हें "आनंदक" नामक वॉलंटियर्स के रूप में चुना गया है।
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पायलट प्रोजेक्ट से होगी शुरुआत
आनंद विभाग के अधिकारियों के मुताबिक, इस खुशी मापने की प्रक्रिया का पायलट प्रोजेक्ट प्रदेश के 20 जिलों में शुरू किया जाएगा। विभाग का मानना है कि इस इंडेक्स के लिए मापदंड सिर्फ संसाधनों पर आधारित नहीं होंगे, बल्कि लोगों के भावनात्मक पहलुओं और उनके मनोविज्ञान पर आधारित होंगे। यह मापने का नया तरीका लोगों की जीवनशैली, मानसिक स्थिति और सामाजिक समृद्धि को सही तरीके से समझने में मदद करेगा।
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आगामी योजनाएं और भविष्य की दिशा
आनंद विभाग का कहना है कि इस इंडेक्स को तैयार करने का कार्य वर्ष के अंत तक पूरा हो जाएगा। इसके बाद, प्रदेश के लोग जान सकेंगे कि वे अपनी खुशी की दृष्टि से कहाँ खड़े हैं और इसके साथ ही, राज्य सरकार को भी यह जानकारी मिलेगी कि प्रदेश में खुशियों के विकास के लिए क्या कदम उठाए जा सकते हैं।
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