सुप्रीम कोर्ट ने MP के पैरामेडिकल कॉलेजों को दी बड़ी राहत, हाईकोर्ट की रोक को हटाया, मिल सकेगा अब प्रवेश

सुप्रीम कोर्ट ने मध्य प्रदेश के पैरामेडिकल कॉलेजों की मान्यता और प्रवेश प्रक्रिया पर हाई कोर्ट द्वारा लगाई गई रोक हटा दी, जिससे पैरामेडिकल कॉलेजों में प्रवेश प्रक्रिया फिर से शुरू होने की संभावनाएं बढ़ गई है।

author-image
Sanjay Dhiman
New Update
supreme court order

Photograph: (the sootr)

Listen to this article
0.75x 1x 1.5x
00:00 / 00:00

मध्यप्रदेश के पैरामेडिकल कॉलेजों को सुप्रीम कोर्ट से एक बड़ी राहत मिली है। सुप्रीम कोर्ट ने पैरामेडिकल कॉलेजों की मान्यता और प्रवेश प्रक्रिया पर मध्य प्रदेश हाई कोर्ट द्वारा लगाई गई रोक को हटा दिया है।

हाई कोर्ट के फैसले के बाद पैरामेडिकल कॉलेजों ने इसे सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी। इस पर सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई की और फैसला लिया कि प्रदेश के पैरामेडिकल कॉलेजों के प्रवेश की प्रक्रिया को फिर से शुरू किया जा सकता है। 

हाई कोर्ट ने यह दिया था आदेश

मध्य प्रदेश हाई कोर्ट ने स्टूडेंट्स लॉ एसोसिएशन के अध्यक्ष और अधिवक्ता विशाल बघेल की जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए प्रदेश के पैरामेडिकल कॉलेजों की मान्यता और प्रवेश प्रक्रिया पर रोक लगा दी थी। इस आदेश में कोर्ट ने यह भी आदेश दिया था कि प्रदेश भर के पैरामेडिकल कॉलेजों के मान्यता आवेदन और निरीक्षण रिपोर्टें कोर्ट में पेश की जाएं। 

यह खबरें भी पढ़ें...

सुप्रीम कोर्ट का अहम फैसलाः ऑफिस जाते-आते हुआ हादसा तो मिलेगा कर्मचारी को मुआवजा

सरकारी कर्मचारियों की रिटायरमेंट की उम्र होगी 61 वर्ष! सुप्रीम कोर्ट ने दी मंजूरी

फर्जी कालेज चलने के थे आरोप

याचिका में यह आरोप लगाया गया था कि मध्य प्रदेश में कई फर्जी नर्सिंग कॉलेजों की तरह पैरामेडिकल कॉलेज भी बिना वैध मान्यता के चल रहे हैं। लगभग 250 पैरामेडिकल कॉलेज पिछले दो वर्षों से बिना मध्यप्रदेश मेडिकल साइंस यूनिवर्सिटी (MPMSU) की संबद्धता के संचालित हो रहे थे। याचिका में यह दावा भी किया गया था कि इन कॉलेजों में छात्रों को बिना सही एफिलिएशन के प्रवेश दिया जा रहा था। 

क्या इफेक्ट होगा सुप्रीम कोर्ट के इस निर्णय का, ऐसे जानें 

MP में तीन साल बाद पैरामेडिकल कॉलेजों को मिलेगी मान्यता, पर नए कॉलेज खुलने  पर कुछ तय नहीं – TV INDIA LIVE

  1. सुप्रीम कोर्ट ने MP के पैरामेडिकल कॉलेजों की मान्यता और प्रवेश प्रक्रिया पर हाई कोर्ट की रोक हटाई।
  2. हाई कोर्ट ने पैरामेडिकल कॉलेजों के मान्यता आवेदन और निरीक्षण रिपोर्टों को कोर्ट में पेश करने का आदेश दिया था।
  3. विशाल बघेल की याचिका के बाद आरोप था कि कई पैरामेडिकल कॉलेज बिना मान्यता के चल रहे थे।
  4. सुप्रीम कोर्ट ने सभी संबंधित संस्थाओं से जवाब मांगा और प्रवेश प्रक्रिया को फिर से शुरू करने का रास्ता साफ किया।
  5. कोर्ट के अगले आदेश का इंतजार किया जा रहा है, हालांकि इस मामले की अंतिम सुनवाई अभी बाकी है।

क्या है सुप्रीम कोर्ट का फैसला 

सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में एक महत्वपूर्ण अंतरिम आदेश जारी किया और मध्यप्रदेश हाई कोर्ट द्वारा लगाए गए प्रतिबंध को हटा दिया। इस आदेश के साथ ही, सुप्रीम कोर्ट ने पैरामेडिकल कॉलेजों में प्रवेश प्रक्रिया को फिर से शुरू करने का मार्ग प्रशस्त किया। हालांकि, यह मामला अभी पूरी तरह से निपट नहीं पाया है, और इसकी अंतिम सुनवाई बाकी है।

सुप्रीम कोर्ट से मिली राहत का महत्व

सुप्रीम कोर्ट का यह निर्णय MP पैरामेडिकल कॉलेज के लिए महत्वपूर्ण है। इस निर्णय के बाद इन कालेजों में छात्र-छात्राओं के एडमिशन का रास्ता भी साफ हो जाता है। इससे हजारों छात्रों को अब उनके अध्ययन के लिए एक मान्य कॉलेज मिल सकेगा। इसके अलावा, यह निर्णय उन कॉलेजों के लिए भी फायदेमंद है जिनकी मान्यता और संचालन पर सवाल उठाए गए थे। 

यह खबरें भी पढ़ें...

भ्रष्टाचार से घिरे अफसर को हाई कोर्ट से मिली राहत, सरकार का सुप्रीम कोर्ट जाने से इनकार

बिहार SIR केस में सुप्रीम कोर्ट का बड़ा फैसला, ड्राफ्ट सूची के प्रकाशन पर रोक लगाने से किया इनकार

अंतिम निर्णय तय करेगा इन कॉलेजों का भविष्य

अब जब कोर्ट ने इस मामले पर रोक हटा दी है, तो मध्य प्रदेश के पैरामेडिकल कॉलेजों के लिए प्रवेश प्रक्रिया पुनः शुरू हो सकती है। हालांकि, मामले की अंतिम सुनवाई का इंतजार किया जा रहा है, यह निर्णय कॉलेजों और छात्रों दोनों के लिए एक राहत की बात है। इसके अलावा, यह उम्मीद जताई जा रही है कि कोर्ट के अगले आदेश के बाद इन कॉलेजों की मान्यता से जुड़ी समस्याओं का समाधान निकल सकेगा। 

FAQ

क्या सुप्रीम कोर्ट का आदेश पैरामेडिकल कॉलेजों के लिए फायदेमंद है?
हां, सुप्रीम कोर्ट का आदेश पैरामेडिकल कॉलेजों के लिए फायदेमंद साबित हुआ है, क्योंकि इससे उनके प्रवेश प्रक्रिया को फिर से बहाल किया गया है। हाई कोर्ट द्वारा लगाए गए रोक को हटाए जाने से छात्रों को अब बिना किसी बाधा के प्रवेश प्रक्रिया में भाग लेने का मौका मिलेगा।
क्या पैरामेडिकल कॉलेजों में बिना मान्यता के प्रवेश लिया जा सकता है?
नहीं, पैरामेडिकल कॉलेजों में प्रवेश केवल तभी वैध होता है जब उन कॉलेजों को मान्यता प्राप्त हो। बिना किसी वैध मान्यता के प्रवेश लेने से छात्रों का भविष्य खतरे में पड़ सकता है, इसलिए यह जरूरी है कि प्रवेश केवल मान्यता प्राप्त कॉलेजों में ही लिया जाए।
मध्य प्रदेश में कितने पैरामेडिकल कॉलेज बिना मान्यता के चल रहे थे?
मध्य प्रदेश में लगभग 250 पैरामेडिकल कॉलेज पिछले दो सालों से बिना मान्यता के चल रहे थे, जिसके कारण छात्रों को बिना एफिलिएशन के प्रवेश दिया जा रहा था। इस मामले में हाई कोर्ट ने रोक लगाई थी, जिसे अब सुप्रीम कोर्ट ने हटा लिया है।

 

thesootr links

सूत्र की खबरें आपको कैसी लगती हैं? Google my Business पर हमें कमेंट के साथ रिव्यू दें। कमेंट करने के लिए इसी लिंक पर क्लिक करें

अगर आपको ये खबर अच्छी लगी हो तो 👉 दूसरे ग्रुप्स, 🤝दोस्तों, परिवारजनों के साथ शेयर करें📢🔃🤝💬👩‍👦👨‍👩‍👧‍👧👩

सुप्रीम कोर्ट मध्यप्रदेश मध्यप्रदेश हाई कोर्ट मध्यप्रदेश मेडिकल साइंस यूनिवर्सिटी बड़ी राहत एडमिशन MPMSU पैरामेडिकल कॉलेज MP पैरामेडिकल कॉलेज