जनता की जेब से बनेंगी सड़कें-नालियां, मुख्यमंत्री जनसहभागिता निर्माण योजना है नाम
मध्यप्रदेश में शहरों की सड़कें और नालियां अब जनता के पैसे से भी बनेंगी। सरकार ने मुख्यमंत्री जनसहभागिता निर्माण योजना को मंजूरी दी है, जिसके तहत नगरीय निकायों (Urban Bodies) को स्थानीय नागरिकों से 50% फंड जुटाना होगा...
मध्यप्रदेश सरकार मुख्यमंत्री जनसहभागिता निर्माण योजना (MP Mukhyamantri Jansahbhagita Nirman Yojana) लागू करने जा रही है, जिसमें सड़कें (Roads), नालियां (Drains), बगीचे (Parks), और बाउंड्रीवॉल (Boundary Walls) जनता की मांग पर बनाए जाएंगे।
मध्यप्रदेश में शहरों की सड़कें और नालियां अब जनता के पैसे से भी बनेंगी। सरकार ने मुख्यमंत्री जनसहभागिता निर्माण योजना को मंजूरी दी है, जिसके तहत नगरीय निकायों (Urban Bodies) को स्थानीय नागरिकों से 50% फंड जुटाना होगा, तभी कोई विकास कार्य शुरू होगा।
खर्च का फॉर्मूला
50% सरकार देगी 2. 50% जनता से लिया जाएगा 3. नगरीय निकायों को जिम्मेदारी दी गई है कि वे स्थानीय लोगों से इस योजना के लिए फंड इकट्ठा करें।
पहले आओ, पहले पाओ: जिन इलाकों से पहले फंड इकट्ठा होगा, वहां निर्माण कार्य पहले होगा। डीपीआर (Detailed Project Report) जरूरी: निर्माण के लिए निकायों को पहले डीपीआर तैयार करनी होगी और उसे स्वीकृति के लिए भेजना होगा।
सरकार अनुदान दो चरणों में देगी। यदि प्रोजेक्ट की लागत ज्यादा होती है, तो अतिरिक्त खर्च नगर निगम, नगर पालिका, या नगर परिषद को उठाना पड़ेगा। निर्धारित समय में कार्य पूरा करना अनिवार्य: यदि तय समय में काम नहीं हुआ, तो फंड किसी और शहर/क्षेत्र को ट्रांसफर कर दिया जाएगा। जनता की सहमति अनिवार्य: बिना नागरिकों की मंजूरी के कोई भी निर्माण कार्य स्वीकृत नहीं होगा।
5 साल में 750 करोड़ का बजट: योजना के लिए सरकार 750 करोड़ रुपए खर्च करेगी। स्थानीय निकायों को मिलने वाली राशि: नगर निगम को 5 करोड़ रुपए प्रति वर्ष। नगर पालिका को 1 करोड़ रुपए प्रति वर्ष। नगर परिषद को 25 लाख रुपए प्रति वर्ष। जनता की भागीदारी से ही विकास कार्य होंगे।
पारदर्शिता और मॉनिटरिंग (Transparency & Monitoring) क्वालिटी मॉनिटरिंग: सरकार स्टेट क्वालिटी मॉनिटर नियुक्त करेगी।
जियो टैगिंग
निर्माण कार्य के हर चरण में जियो टैगिंग और फोटो अपलोडिंग अनिवार्य होगी। मोबाइल लैब से गुणवत्ता जांच: स्थानीय निकायों की मोबाइल लैब से निर्माण कार्यों की टेस्टिंग होगी। सोशल ऑडिट प्रोजेक्ट पूरा होने के बाद जनता स्वयं निरीक्षण कर सकेगी।
FAQ
योजना के तहत किन कार्यों का निर्माण होगा?
इस योजना के अंतर्गत सड़कें, नालियां, बगीचे, बाउंड्रीवॉल आदि का निर्माण किया जाएगा। सभी कार्य जनता की मांग के अनुसार किए जाएंगे।
इसमें सरकार और जनता का योगदान कितना होगा?
योजना के तहत 50% धनराशि सरकार और 50% जनता द्वारा दी जाएगी।
योजना का लाभ उठाने के लिए क्या करना होगा?
नगर निगम, नगर पालिका, या नगर परिषद में आवेदन कर डीपीआर (DPR) जमा करनी होगी। पहले आओ, पहले पाओ के आधार पर मंजूरी मिलेगी।