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Photograph: (THESOOTR)
BHOPAL. फर्जी अंकसूची के सहारे मध्य प्रदेश शिक्षक भर्ती फर्जीवाड़ा किया गया था। इसकी जांच के दौरान STF को बैतूल, गुना, धार और शाजापुर जिलों से भी शिकायतें मिली हैं। इन जिलों से भी अभ्यर्थियों द्वारा शिक्षक बनने के लिए फर्जी अंकसूची और दूसरी डिग्रियों का सहारा लिया था।
शिकायतों के बाद अब एसटीएफ ने इन मामलों की पड़ताल भी शुरू कर दी है। इससे पहले ग्वालियर और चंबल अंचल में डीएड की फर्जी अंकसूची लगाने वाले 34 शिक्षकों पर केस दर्ज कराया जा चुका है। इस कार्रवाई के एक पखवाड़े बाद फिर नई शिकायतें सामने आने से स्कूल शिक्षा विभाग में खलबली मच गई है।
दो दशकों की फाइलों खंगाल रही STF
शिक्षा विभाग में डीएड (डिप्लोमा इन एजुकेशन) की फर्जी डिग्री लगाकर नौकरी कर रहे शिक्षकों के खिलाफ एसटीएफ की जांच और भी तेज हो गई है। जांच के दौरान एसटीएफ के सामने लगातार शिक्षक बनने के लिए किए गए फर्जीवाड़े की परतें खुल रही हैं।
इस दौरान नए-नए तथ्य भी सामने आ रहे हैं। स्कूल शिक्षा विभाग में साल 1996 से लगातार फर्जीवाड़े के सहारे नौकरी हथियाने का खेल जारी है। एसटीएफ को साल 1998, 2001, 2003 और 2006 में हुई शिक्षक भर्ती में धांधली के संबंध में भी शिकायतें मिली हैं। फर्जीवाड़े के सहारे शिक्षक बनने वाले अब प्रदेश के कई जिलों के स्कूलों में नौकरी कर रहे हैं।
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फर्जीवाड़े से शिक्षक बनने वालों में खलबली
एसटीएफ ग्वालियर-चंबल अंचल में डीएड की फर्जी अंकसूची के सहारे शिक्षक बनकर बैठे 34 लोगों पर केस दर्ज कर चुकी है। इससे पूरे प्रदेश में फर्जीवाड़े के सहारे शिक्षक बनने वालों में हड़कंप मच गया है।
इस मामले की जांच कर रही एसटीएफ को अब और भी शिकायतें मिल रही हैं। ग्वालियर एसटीएफ यूनिट द्वारा केस दर्ज करने के बाद अब गुना, धार, बैतूल और शाजापुर जिले से भी फर्जी अंकसूची, जाति प्रमाण पत्रों के सहारे शिक्षक बनने की शिकायतें सामने आई हैं।
अब इन शिकायतों की जांच के लिए एसटीएफ संबंधित जिलों से जानकारी जुटा रही है। वहीं स्कूल शिक्षा विभाग में जमा कराए गए दस्तावेजों के सत्यापन की तैयारी भी कर ली गई है।
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गिरोह के कनेक्शन तक पहुंचने की कोशिश
मध्य प्रदेश एसटीएफ को स्कूल शिक्षा विभाग में साल 1998 से अब तक हुई भर्तियों में बड़ी धांधली की आशंका है। लगातार आ रही शिकायतों को देखते हुए जांच अधिकारियों को इसके पीछे बड़े गिरोह के सक्रिय होने का अंदेशा है।
अब एसटीएफ फर्जीवाड़े में फंसे शिक्षकों से भी जानकारी जुटा रही है। जांच एजेंसी को फर्जी अंकसूची और अन्य दस्तावेजों के जरिए शिक्षक बनाने वाले गिरोह का कनेक्शन जल्द पकड़ में आने की उम्मीद है। वहीं ग्वालियर में दर्ज किए गए मामलों में भी एसटीएफ शिक्षकों की गिरफ्तारी की कोशिशों में जुट गई है।
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