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Photograph: (the sootr)
Alwar. राजस्थान के बहरोड़ और भिवाड़ी में वायु प्रदूषण का स्तर काफी बढ़ गया है। हाल ही में इन क्षेत्रों का एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) 346 तक पहुंच गया, जिससे स्थानीय नागरिकों की चिंता बढ़ गई है। इस बढ़ते प्रदूषण ने आमजन की जिंदगी को मुश्किल बना दिया है और स्वास्थ्य पर नकारात्मक प्रभाव डालने लगा है। इससे निपटने के लिए प्रशासन द्वारा तत्काल उपाय किए जा रहे हैं।
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प्रशासन हुआ अलर्ट
बहरोड़ और भिवाड़ी क्षेत्रों में पिछले कुछ दिनों से वायु प्रदूषण बढ़ रहा है, जिससे नागरिकों को सांस लेने में कठिनाई हो रही है। बुधवार को AQI 346 तक पहुंच गया, जिससे प्रदूषण की गंभीरता का स्तर और बढ़ गया। कुछ दिन पहले AQI 300 के आसपास था, जिसके बाद इसे ग्रेड-3 से ग्रेड-2 में परिवर्तित कर दिया गया था।
एंटी स्मॉग गन का उपयोग
भिवाड़ी के प्रदूषण नियंत्रण विभाग के अधिकारी, अमित जुआल ने बताया कि शहर के विभिन्न इलाकों में प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए 20 पानी के टैंकरों के माध्यम से नियमित रूप से पानी छिड़काव किया जा रहा है। इसके अलावा, दो एंटी स्मॉग गन का उपयोग धूल को नियंत्रित करने के लिए किया जा रहा है।
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सड़क सफाई पर जोर
नगर परिषद की टीम प्रतिदिन 65 किलोमीटर सड़कों की सफाई कर रही है, ताकि धूल को कम किया जा सके और हवा में प्रदूषण का स्तर घट सके। यह प्रयास प्रदूषण को कम करने के लिए किए जा रहे महत्वपूर्ण उपायों में से एक है।
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प्रशासन की सख्त कार्रवाई
प्रदूषण को नियंत्रण में रखने के लिए प्रशासन ने पिछले कुछ दिनों में कड़ी कार्रवाई की है। 11 नवंबर से बहरोड़-भिवाड़ी में ग्रेड-3 प्रदूषण स्तर लागू किया गया था, जिसके तहत संबंधित अधिकारियों को प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए निर्देश दिए गए थे।
कई इकाइयों पर लगाया जुर्माना
अब तक तीन विभागों ने मिलकर प्रदूषण फैलाने वाली इकाइयों पर 14 लाख 50 हजार रुपए का जुर्माना लगाया है। इसके अलावा अधिकारियों ने यह भी सुनिश्चित किया है कि प्रदूषण नियंत्रण के नियमों का पालन किया जाए।
प्रदूषण नियंत्रण के लिए प्रयास
केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र यादव ने प्रदूषण के बढ़ते स्तर को देखते हुए अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए हैं कि अगर कोई भी उद्योग या अन्य स्रोत प्रदूषण फैला रहा है, तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए। हालांकि भिवाड़ी को छोड़कर अन्य स्थानों जैसे बहरोड़, नीमराणा और घीलोट में कार्रवाई की गति धीमी दिखाई दी है।
प्रदूषण नियंत्रण में सहयोग करें
अधिकारियों ने नागरिकों से अपील की है कि वे प्रदूषण के खिलाफ लड़ाई में प्रशासन का सहयोग करें। यदि कोई भी अनियमितता या प्रदूषण फैलाने की गतिविधि देखी जाती है, तो उसे तुरंत रिपोर्ट करें। इस तरह की जागरूकता से ही प्रदूषण की समस्या को प्रभावी ढंग से नियंत्रित किया जा सकता है और जनता को सुरक्षित रखा जा सकता है।
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प्रदूषण नियंत्रण के प्रमुख उपाय
- 20 पानी के टैंकरों का छिड़काव
- 2 एंटी स्मॉग गन का उपयोग
- 65 किलोमीटर सड़कों की सफाई
- 14 लाख 50 हजार रुपए का जुर्माना
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